महासमुन्द

महंगाई : चंडी-खल्लारी देवी मंदिरों में ज्योति कलश के दाम भी बढ़े
28-Sep-2021 5:02 PM
महंगाई : चंडी-खल्लारी देवी मंदिरों  में ज्योति कलश के  दाम भी बढ़े

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुंद, 28 सितम्बर।
आगामी 7 अक्टूबर से देवी दुर्गा के अराधना के पर्व नवरात्र की शुरुआत हो रही है। ऐसे में माता के भक्त पूरे 9 दिन तक मां की अराधना करने के लिए कलश स्थापना के साथ नव ज्योति भी प्रज्जवलित करेंगे। लेकिन इस बार मां के भक्तों को माता के समक्ष इस वर्ष मंदिरों में ज्योति कलश प्रज्वलित कराने के लिए 100 रुपए अतिरिक्त भुगतान करना होगा। अब मंदिरों में मनोकामना ज्योति जलाने के लिए भक्तों को 601 और 651 रुपए तक खर्च करना पड़ेगा। पिछले एक साल के अंदर तेल का दाम 1500 रुपए से बढक़र वर्तमान में 2200 रुपए तक पहुंच गया है।

 तेल की लगातार बढ़ती कीमतों का कारण डीजल के दाम में हुई बढ़ोत्तरी को बताया जा रहा है। डीजल की कीमत बढऩे से भाड़ा बढ़ा है और सामान के दाम बढ़ गए हैं। यही कारण है कि मंदिरों ने भी मनोकामना ज्योति स्थापना के लिए ली जाने वाली राशि में वृद्धि की गई है। तेल की कीमतों में हुई वृद्धि के बाद खाने पीने की वस्तुओं में भी लगातार इजाफा देखने को मिल रहा है।

जिले के घुंचापाली चंडी मंदिर बागबाहरा सहित महामाया मंदिर का पूरा खर्च भक्तोंं द्वारा मंदिर में दिए जाने वाले दान, चढ़ावे और प्रतिवर्ष मनोकामना ज्योति से होता है। कोरोना की वजह से इस मंदिर में भक्तों की आवाजाही कम है और तेल का पीपा भी 2200 रुपए है। इसे ध्यान में रखते हुए ज्योति में 100 रुपए तक की वृद्धि की गई है। इसी तरह भीमखोज खल्लारी मंदिर में भी ज्योति कलश स्थापना शुल्क में वृद्धि की की गई है। मंदिर समितियों की मानें तो एक ज्योत में कम से कम तीन किलो तेल लगता है। इस तरह एक टिन तेल में चार.पांच ज्योत जलती है। कोरोना संक्रमण और शासन की ओर से गाइडलाइन जारी नहीं किए जाने से इस बार भी मंदिरों में नवरात्र पर्व के दौरान भंडारे का आयोजन पर संशय है। मंदिर समितियों को सरकारी गाइडलाइन की प्रतीक्षा है। फिलहाल भंडारा के संबंध में समितियों ने भी चर्चा नहीं की है।
 


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