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गाईडलाईन की दरों में 10 से 100% बढ़ोतरी से बेरोजगारी बढ़ेगी, आर्थिक मंदी आयेगी
20-Nov-2025 5:21 PM
गाईडलाईन की दरों में 10 से 100% बढ़ोतरी से बेरोजगारी बढ़ेगी, आर्थिक मंदी आयेगी

भाजपा की सरकार आने के बाद भूमि की सरकारी दर 40 से 130 प्रतिशत बढ़ गयी

छत्तीसगढ़' संवाददाता

रायपुर, 20 नवंबर। प्रदेश कांग्रेस ने जमीनों के गाईड लाइन दर बढ़ाने का कांग्रेस विरोध करती है, यह सरकार का अदूरदर्शी फैसला है। गाईडलाइन की दर बढ़ने से आम आदमी को परेशानी होगी, लोगों का मकान, दुकान, फैक्ट्री बनाने का खर्च बढ़ जायेगा। भूमि की खरीदी-बिक्री बंद हो जायेगी या कम हो जायेगी, बेरोजगारी बढ़ेेगी।

पार्टी के संचार विभाग के प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने मीडिया से चर्चा में कहा कि यह प्रदेश के विकास में बाधा पहुंचाने वाला फैसला है। इस फैसले का कांग्रेस पार्टी विरोध करती है।

पूरे देश में ऐसा कहीं नहीं हुआ कि एक साल में जमीन की गाईडलाईन 130 प्रतिशत तक बढ़ा दी गयी हो।
मुंबई, हैदराबाद, दिल्ली, पुणे जैसे एवं अन्य बड़े शहरों में भी जमीन की गाईडलाईन की दर एक बार में 10 से 15 प्रतिशत ही बढ़ाई जाने की परंपरा रही है।
सरकार पहले भूमि के गाईडलाईन दरों में कांग्रेस सरकार के समय दिये जाने वाले 30 प्रतिशत छूट को समाप्त कर दिया। अब अचानक से जमीनों की सरकारी कीमत 10 से 100 प्रतिशत बढ़ा दिया, मतलब छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार आने के बाद भूमि की सरकारी कीमत 40 से 130 प्रतिशत बढ़ गयी।

पिछले हफ्ते ही सरकार ने निवेश क्षेत्र में कृषि भूमि की रेट की गणना में परिवर्तन किया, यदि एक किसान को एक एकड़ जमीन बेचना है तो शुरूआत के 15 हजार वर्गफीट तक वर्गफीट के हिसाब से स्टांप ड्यूटी देना होगा तथा उसके बाद की जमीन पर हेक्टेयर के दर से स्टांप ड्यूटी देनी होगी। इससे राजधानी के आसपास कृषि जमीने खरीदना महंगा होगा, किसानों की जमीनें बिकना बंद हो जायेगी।

सरकार ने पहले ही 5 डिसमिल से कम जमीनों की रजिस्ट्री पर प्रतिबंध लगा दिया था जिसके कारण गरीब आदमी मकान नहीं बना पा रहा, किसी के पास सिर्फ 1000 या 2000 वर्ग फीट जमीन है तो वह उसमें से आधा नहीं बेच सकता।

ऐसा लगता है सरकार के फैसले जानबूझकर जनता को विशेषकर किसानों गरीबों और रियल स्टेट से जुड़े हुये लोगों को परेशान करने के लिये, लिये गये है।
सरकार के द्वारा जमीन की रजिस्ट्रियों के संबंध में, भूमि के गाईडलाईन के संबंध में सरकार के फैसले जनता के हितों के खिलाफ है। कृषि के बाद सबसे ज्यादा रोजगार रियल स्टेट सेक्टर देता है, सरकार के इस अनुचित फैसले से छत्तीसगढ़ में रियल स्टेट व्यवसाय की कमर टूट जायेगी।

कांग्रेस सरकार ने 5 डिसमिल से कम जमीन की रजिस्ट्री शुरू कर तथा गाईडलाईन की दर में 30 प्रतिशत छूट कर प्रदेश में रियल स्टेट सेक्टर में प्राण फूंका था, यही कारण था कि कोरोना के समय भी छत्तीसगढ़ की अर्थव्यवस्था मजबूत थी। वर्तमान सरकार के निर्णय से बेरोजगारी बढ़ेगी, अर्थव्यवस्था तबाह होगी, रियल स्टेट में गिरावट आयेगी।

सरकार का आर्थिक प्रबंधन फेल हो गया है। सरकार के पास अपनी योजनाओं को चलाने के लिए पैसा नहीं है इसीलिए सरकार विभिन्न मदों में टैक्स बढ़ा कर जनता पर बोझ थोप रही है। इसीलिए जमीन के गाईड लाईन के रेट बढ़ाये गये तथा बिजली के दाम बढ़ाये गये। बिजली बिल में 400 यूनिट छूट को समाप्त किया गया। अब जमीनों की रजिस्ट्री महंगी की जा रही है।

पत्रकार वार्ता में  वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर, सुरेन्द्र वर्मा, प्रवक्ता वंदना राजपूत, नितिन भंसाली, सत्यप्रकाश सिंह, परवेज अहमद, सौरभ साहू, ऋषभ चंद्राकर उपस्थित थे।


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