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अवैध धान के परिवहन पर नजर
रायपुर, 13 नवम्बर। दो दिन बाद 15 तारीख से प्रारंभ हो रही धान खरीदी की तैयारियों की समीक्षा कलेक्टर डॉ. गौरव सिंह ने गुरुवार कलेक्ट्रेट स्थित रेडक्रॉस सभाकक्ष में की। बैठक में उन्होंने सभी धान खरीदी प्रभारियों को निर्देश दिए कि जिले के सभी उपार्जन केंद्रों में आवश्यक व्यवस्थाएँ समय पर पूर्ण कर ली जाएँ, ताकि किसानों को धान विक्रय में किसी प्रकार की असुविधा न हो।
कलेक्टर डॉ. सिंह ने कहा कि प्रत्येक उपार्जन केंद्र में मानक आकार के अनुसार धान का स्टैक निर्माण, किस्मवार स्टैकिंग, पुराने बारदाने का मिलान, डेटा एंट्री ऑपरेटर की व्यवस्था, पेयजल, शौचालय तथा कम्प्यूटर जैसी सभी मूलभूत सुविधाएँ उपलब्ध कराई जाएँ। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि किसी भी स्तर पर लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
उन्होंने बताया कि धान खरीदी का कार्य सुबह 10 बजे से प्रारंभ किया जाएगा। बड़े किसानों को 20 प्रतिशत तथा लघु सीमांत किसानों को 80 प्रतिशत टोकन वितरित किए जाएँगे, ताकि छोटे एवं सीमांत किसानों को प्राथमिकता के साथ धान विक्रय का अवसर मिल सके। उन्होंने पटवारियों और ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी को समिति प्रबंधन बनाया गया है। साथ ही नए डेटा एंट्री ऑपरेटर की भी नियुक्ति की गई है।
कलेक्टर ने कहा कि धान खरीदी प्रक्रिया पारदर्शी एवं सुचारू रूप से संचालित हो, किसानों को भुगतान समय पर प्राप्त हो, और धान की गुणवत्ता पर विशेष ध्यान दिया जाए। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि अवैध धान विक्रय एवं परिवहन पर सतत निगरानी रखी जाए तथा उल्लंघन की स्थिति में सख्त कार्रवाई की जाए।
उन्होंने सभी उपार्जन केंद्रों में हेल्पडेस्क स्थापित कर संपर्क नंबर प्रमुख स्थानों पर प्रदर्शित करने और कॉल सेंटर से निरंतर समन्वय बनाए रखने के निर्देश दिए। साथ ही यह भी कहा कि धान का उठाव समय पर और किस्मवार स्टैकिंग के अनुसार सुनिश्चित किया जाए।
खरीफ विपणन वर्ष 2025-26 के लिए जिले में लगभग 1 लाख 33 हजार किसान पंजीकृत हैं और लगभग 1 लाख 24 हेक्टेयर क्षेत्र में धान की खेती की गई है। जिले में कुल 139 उपार्जन केंद्र संचालित होंगे। बैठक में जिला पंचायत सीईओ कुमार विश्वरंजन, अपर कलेक्टर कीर्तिमान सिंह राठौड़, खाद्य नियंत्रक भूपेंद्र मिश्रा सहित सम्बंधित अधिकारी-कर्मचारी उपस्थित रहे।


