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10 सालों में पहली बार सितंबर से विदाई
'छत्तीसगढ़' संवाददाता
रायपुर, 13 सितंबर । करीब तीन माह तक बरसे मानसूनी बादलों ने अब विदाई की राह पकड़ ली है।दक्षिण पश्चिम मानसून की विदाई का शुरुआत पश्चिमी राजस्थान से 15 सितंबर से होने की संभावना है। इस वर्ष मानसून की विदाई की शुरुआत पिछले 10 सालों में पहले होने की संभावना बन रही है।
मौसम विभाग के अनुसार एक निम्न दाब का क्षेत्र पश्चिम मध्य बंगाल की खाड़ी और उससे लगे उत्तर पश्चिम बंगाल की खाड़ी उत्तर तटीय आंध्र प्रदेश-दक्षिण तटीय उड़ीसा के ऊपर स्थित है तथा इसके साथ ऊपरी हवा का चक्रीय चक्रवाती परिसंचरण 5.8 किलोमीटर ऊंचाई तक विस्तारित है। इसके पश्चिम उत्तर पश्चिम दिशा में आगे बढ़ते हुए दक्षिण उड़ीसा और उससे लगे उत्तर आंध्र प्रदेश तथा दक्षिण छत्तीसगढ़ में अगले दो दिनों में पहुंचने की संभावना है। मानसून द्रोणिका माध्य समुद्र तल पर श्रीगंगानगर, रोहतक, सिवनी, राजनांदगांव और उसके बाद पश्चिम मध्य बंगाल की खाड़ी में स्थित निम्न दाब के केंद्र तक स्थित है। एक ऊपरी हवा का चक्रीय चक्रवाती परिसंचरण दक्षिण पश्चिम विहार और उससे लगे झारखंड के ऊपर 0.9 किलोमीटर ऊंचाई तक विस्तारित है।
एक द्रोणिका पश्चिम मध्य बंगाल की खाड़ी में स्थित निम्न दाब के केंद्र से उत्तर आंध्र प्रदेश विदर्भ तक छत्तीसगढ़ होते हुए 3.1 किलोमीटर से 5.8 किलोमीटर ऊंचाई तक विस्तारित है। प्रदेश में कल 14 सितंबर को अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा होने अथवा गरज चमक के साथ छींटे पड़ने की संभावना है।
प्रदेश में एक दो स्थानों पर गरज चमक के साथ वज्रपात होने तथा भारी वर्षा होने की संभावना है। भारी वर्षा का क्षेत्र मुख्यतः सरगुजा संभाग के जिले और बस्तर संभाग के जिले संभावित है।