अंतरराष्ट्रीय

ग़ज़ा के सबसे बड़े अस्पताल अल शिफा के अंदर हालात बहुत चिंताजनक हैं.
रविवार को अस्पताल के डॉक्टर मारवान अबुसादा ने बीबीसी को एक वॉइस नोट भेजा.
डॉक्टर ने बताया कि युद्ध की वजह से विस्थापित हुए करीब 55 हजार लोग अस्पताल में मौजूद हैं और कहीं कोई जगह नहीं बची है.
अबुसादा ने कहा, "अस्पताल में मरीजों के आने का सिलसिला रुक नहीं रहा है. इस वीकेंड पर करीब 100 मरीजों को दूसरे अस्पतालों में शिफ्ट किया गया है, लेकिन बहुत ज्यादा मरीज अस्पताल आ रहे हैं. हर आधे घंटे में बड़ी संख्या में घायल लोग इलाज के लिए अस्पताल आ रहे हैं."
वह कहते हैं, "एनेस्थेटिक्स, पेन किलर से लेकर एंटीबायोटिक्स तक की कमी हालात को बहुत कठिन बना रही है. हम इससे ज्यादा नहीं कर सकते हैं."
वहीं इसराइल का दावा है कि हमास का मुख्य कमांड सेंटर अल शिफा अस्पताल के नीचे चलाया जा रहा है, लेकिन हमास ने इसराइल के इस दावे को खारिज किया है.
अस्पताल में काम करने वाले डॉक्टरों ने सुरक्षा की मांग की है.
रविवार को समाचार एजेंसी एपी ने ग़ज़ा शहर के रहने वालों का हवाला देते हुए बताया था कि इसराइली युद्धक विमानों ने अस्पताल के पास रात भर हमले किए थे.
शनिवार को ग़ज़ा में मौजूद बीबीसी संवाददाता रुश्दी अबु अलूफ़ ने बताया था कि अस्पताल के आस-पास की सड़कों को नुकसान पहुंचा है. (bbc.com/hindi)