‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
कवर्धा, 11 जनवरी। कबीरधाम जिले में 108 उपार्जन केंद्रों के माध्यम से समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी किया जा रहा है। जहां पर मूलभूत सुविधाओं का अभाव है।
बताया जाता है कि कुछ केंद्रों पर किसानों के धान में खुलकर कांटा मारी किया जा रहा है, कहीं पर जगह के अभाव के चलते खरीदी करने में उपार्जन केंद्र प्रभारी को भारी दिक्कत भी हो रहा हैं । इन सभी समस्याओं के बावजूद सत्तर- पचहत्तर फीसदी खरीदी पूर्ण हो गई है लेकिन उठाव की स्थिति बेहद खराब है, जिसके चलते किसान और प्रभारी दोनों परेशान हैं।
कबीरधाम जिले में किसानों के धान को खरीदने के लिए 108 उपार्जन केंद्र बनाए गए हैं। जहां पर किसान प्रति एकड़ 21 क्ंिवटल धान बेचने जाते हंै। किसान खरीदी केंद्र में कोई दिक्कत न हो, इसे ध्यान में रखते हुए अपने घर से प्लाटिक बोरी में 41 किलो तौल कर ले जाते हैं, जो जूट के बारदाना में 41 किलो 200- 300 ग्राम आता है जबकि नियमानुसार 40 किलो 700 ग्राम की तौल होना चाहिए। बताया जाता है कि किसानों के मना करने पर उपार्जन केंद्र प्रभारी धान को रिजेक्ट कर देते है या फिर उनसे वजन में और बढ़ा लेते हैं।
उठाव नहीं होने से खरीदी में परेशानी
कबीरधाम जिला के लगभग 80 प्रतिशत उपार्जन केंद्रों में लिमिट से अधिक धान का भंडारण है जिसका उठाव नहीं हो रहा है जिसके चलते धान खरीदी के लिए जगह की दिक्कत बनी हुई है। किसान और उपार्जन केंद्र प्रभारी दोनों परेशान हैं । उठाव के लिए डीओ तो जारी कर दिया गया है जो ऊट के मुंह में जीरा के बराबर है।