कवर्धा

अध्यक्ष के विरुद्ध पत्रकार लामबंद, हटाने धरना-प्रदर्शन
25-Oct-2024 7:11 PM
अध्यक्ष के विरुद्ध पत्रकार लामबंद, हटाने धरना-प्रदर्शन

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

कवर्धा, 25 अक्टूबर। जिला प्रेस क्लब के सदस्यों ने अपनी 4 सूत्रीय मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन किया। नगर पालिका परिषद कवर्धा के सामने पत्रकारों का हल्ला बोल धरना प्रदर्शन था जिसमें प्रेस क्लब के सदस्यों ने जिला अध्यक्ष प्रकाश वर्मा सहित उनके पदाधिकारियों के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए प्रदर्शन किया। धरना स्थल में जिले के पत्रकार सुबह 10 बजे से लेकर 5 बजे तक डटे रहे। प्रदर्शन के बाद पत्रकारगण धरनास्थल से पैदल मार्च करते हुए कलेक्टर कार्यालय पहुंचे जहां नायब तहसीलदार हुलेश्वर पटेल को कलेक्टर के नाम ज्ञापन सौंपा।

पत्रकारों ने कलेक्टर के नाम अपने ज्ञापन में अपनी मांगों पर 7 दिवस के अंदर कार्रवाई पूरी करने की बात कही है अगर निर्धारित समयावधि में मांग पूरी नहीं की जाती तो जिले सहित प्रदेश के पत्रकारगणों द्वारा उग्र आंदोलन के साथ अनिश्चितकालीन हड़ताल किए जाने की चेतावनी दी है।

उन्होंने यह भी अवगत कराया कि जिला प्रेस क्लब में विवाद की स्थिति से प्रशासन को पहले ही अवगत करा दिया गया है और भवन को सील किए जाने की मांग नगर पालिका से की गई है, किंतु कोई कार्रवाई नहीं की है। अब ऐसी परिस्थिति में पत्रकारों द्वारा स्वयं भवन को सील कर तालाबंदी करने की बात कही है। तालाबंदी के दौरान अगर कोई घटना घटती है तो इसकी पूरी जवाबदारी प्रशासन की होगी।

जिला प्रेस क्लब के सदस्यों ने स्वयंभू अध्यक्ष प्रकाश वर्मा के विरुद्ध अपनी आक्रोश दिखाते हुए नारे लगाए। उन्होंने अध्यक्ष प्रकाश वर्मा द्वारा किए जा रहे अनैतिक व्यवहार और दादागिरी पर जमकर आक्रोश निकाला।

पत्रकार सूर्या गुप्ता ने प्रकाश वर्मा पर भवन पर एकाधिकार कर कब्जा किए जाने का आरोप लगाया। वहीं पत्रकार बसंत नामदेव ने कहा कि जिला प्रेस क्लब को अध्यक्ष ने परिवारवाद बना दिया है। क्लब में अध्यक्ष का परिवार, सचिव का परिवार एवं पदाधिकारियों के परिवार को सदस्य बनाया गया है जबकि जितने भी परिवार/रिश्तेदार सदस्य बनाए गए है उनका पत्रकारिता से कोई लेना देना नहीं है। उन्होंने आगे कहा कि सदस्यता के नाम पर अध्यक्ष सचिव ने कई पत्रकारों से पैसे वसूल की है किंतु उन्हें सदस्यता नहीं दिया गया है।

धरना प्रदर्शन के दौरान आक्रोशित पत्रकारों ने नगर पालिका अध्यक्ष और सीएमओ पर भी अपनी नाराजगी जाहिर की। ज्ञात हो कि 15 दिवस पूर्व ही जिला प्रेस क्लब के सदस्यों ने क्लब के अध्यक्ष एवं पदाधिकारियों के विरुद्ध अविश्वास प्रस्ताव लाते हुए पंजीयक रजिस्ट्रार फर्म एवं सेवाएं रायपुर एवं कलेक्टर को शिकायत पत्र दिया था। अविश्वास प्रस्ताव के बाद जिला प्रेस क्लब भवन में अध्यक्ष और सदस्यों के बैठने पर विवाद की स्थिति निर्मित हो रही थी जिसे ध्यान में रखते हुए सदस्यों ने भवन को सील किए जाने की मांग नगर पालिका से किया गया था। किंतु नगर पालिका ने कोई एक्शन नहीं ली लिहाजा पत्रकार आक्रोशित होकर धरना करने विवश हो गए।

सदस्यों ने धरना के दौरान कहा कि जिला प्रेस क्लब को प्रशासन द्वारा पत्रकारों की सुविधा एवं उचित बैठक व्यवस्था हेतु सुसज्जित भवन बनाकर दिया था। उक्त भवन के कॉन्फ्रेंस हॉल और कॉम्प्लेक्स को अध्यक्ष सचिव ने बिना कोई प्रस्ताव एवं सदस्यों की जानकारी के किराए पर दे दिया गया है। अध्यक्ष सचिव से किराए का हिसाब पूछने पर जानकारी नहीं दी जाती है। उन्होंने बताया कि पत्रकारों की सुविधा के लिए बनाए गए भवन का अनुचित उपयोग किया जा रहा है। भवन को व्यवसायिक परिसर में तब्दील कर दिया गया है। भवन के कॉम्प्लेक्स में चाय दुकान, वाहन रिपेयरिंग का कार्य किया जाता है तो वहीं कॉन्फ्रेंस हॉल को लाइब्रेरी के लिए किराया पर दिया गया है जिससे पत्रकारों को कॉन्फ्रेंस हॉल का लाभ नहीं मिल पा रहा है।

कबीरधाम जिले के कवर्धा में जिला प्रेस क्लब के अध्यक्ष को हटाने चल रहे धरना प्रदर्शन को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल में ट्वीट कर शासन की चुटकी ली। उन्होंने अपने अधिकारिक ट्विटर हैंडल पर धरना का फोटो पोस्ट करते हुए लिखा कि उपमुख्यमंत्री और गृह मंत्री विजय शर्मा के गृह जिले कबीरधाम में अब पत्रकारों को भी धरना देना पड़ रहा है। कानून व्यवस्था संभाल नहीं पा रहे हैं यह तो प्रदेश की जनता ने देख ही लिया। अब पत्रकार कह रहे हैं कि अधिकारियों ने भी सुनना बंद कर दिया। तुमसे न होगा मेरी जान... रहने दो।

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