बिलासपुर

प्रदेश सरकार की स्वास्थ्य व्यवस्था लचर-अटल श्रीवास्तव
03-Sep-2024 7:24 PM
प्रदेश सरकार की स्वास्थ्य व्यवस्था लचर-अटल श्रीवास्तव

कोटा विधानसभा क्षेत्र स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही से मलेरिया, डेंगू, टीका लगाने से हो रही मौतें

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

करगीरोड (कोटा ), 3 सितंबर। टीकाकरण के बाद 2 बच्चों की मौत की जांच के लिए कोटा जनपद पंचायत के ग्राम पंचायत पटैता स्थित कौरीपारा में कांग्रेस की छह सदस्यीय टीम पहुंची।

ज्ञात हो कि कोटा जनपद पंचायत के ग्राम पंचायत पटैता स्थित कौरीपारा में बीते दिनों आंगनबाड़ी केंद्र में टीकाकरण के बाद दो बच्चों की मौत हो गई थी, वहीं 6 बच्चों को कोटा स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया था। बच्चों की हालात गंभीर देखते हुए कोटा स्वास्थ्य केंद्र से बिलासपुर सिम्स रिफर कर दिया गया।

कोटा विधानसभा क्षेत्र के ग्राम पंचायत पटैता कोरी पारा में टीकाकरण के बाद दो बच्चों की मौत की जांच के लिए छह सदस्यीय टीम बनाई गई। कोटा विधायक अटल श्रीवास्तव को सहसंयोजक, मस्तूरी विधायक दिलीप लहरिया, पूर्व विधायक शैलेश पाण्डेय, जिला कांग्रेस कमेटी ग्रामीण जिलाध्यक्ष विजय केशरवानी, कोटा ब्लॉक  कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष आदित्य दीक्षित, महिला कांग्रेस कमेटी से बीना मसीह ग्राम पटैता के कोरीपारा में दोनों बच्चों के घर पहुंचकर शोकाकुल परिजनों से मिलकर गहरी शोक-संवेदना व्यक्त की।

टीकाकरण के बाद दो बच्चों मौत के संबंध में कोटा रेस्ट हाउस में प्रेस कांफ्रेंस में कोटा विधायक अटल श्रीवास्तव ने बताया कि हम लोग घटना स्थल पर पहुंचे। यहां परिवार जनों और ग्रामीणों से पूरी जानकारी ली।

श्री श्रीवास्तव ने कहा कि टीकाकरण के लाट को रखने सावधानी नहीं बरती और न नहीं उचित तापमान में रखा गया, इसके बाद तुरंत बीएमओ ने टीकाकरण इंजेक्शन को सील कर दिया गया है। उन्होंने उच्चस्तरीय जांच की मांग की है।

अटल श्रीवास्तव ने कहा कि लगातार देखा जाए तो कोटा, रतनपुर, खोंसरा में चाहे मलेरिया हो, डेंगू हो या टीकाकरण ें हो, लगातार ऐसे मौतें हो रही हैं। इन सब गंभीर मुद्दे को मैंने विधानसभा सत्र में बताया  था, लेकिन प्रदेश सरकार ने ध्यान नहीं दिया गया, वहीं कोटा के बेलगहना स्वास्थ्य केंद्र में लागातार एक साल से डॉक्टर अनुपस्थित है और यहां जिन डॉक्टर की ड्यूटी लगाई गई है, वे भी वहां पर अनुपस्थित है। इन सब बातों को लेकर पूरी की पूरी स्वास्थ्य विभाग लचर हो गई है।

यह आम आदमी का खासकर कोटा आदिवासी बहुल इलाकों है। यहां के टीकाकरण के लिए समुचित व्यवस्था नहीं है, वहीं प्रदेश सरकार आदिवासी इलाकों में जनमन योजना चला रही है वहीं उनके स्वास्थ्य की प्रति कोई ध्यान नहीं दे रहा है, यह बहुत ही घोर लापरवाही है।

उन्होंने कहा कि परिजनों, ग्रामीणों, डॉक्टर से बात कर उच्चस्तरीय जांच होना चाहिए। यहां पर बच्चों की मौत का कारण अलग-अलग बताया जा रहा है।

 कोरीपारा के ग्रामीणों ने मौके पर पहुंचकर दो बच्चों की मौत के बाद पांच बच्चों को अपनी गाड़ी से स्वास्थ्य केंद्र लाया गया और इनको सरकारी सुविधाएं नहीं मिली, इससे साफ स्पष्ट होता है कि प्रदेश सरकार की स्वास्थ्य व्यवस्था लचर है।

प्रेसवार्ता मेंकोटा विधायक अटल श्रीवास्तव, पूर्व विधायक शैलेश पाण्डेय, जिला ग्रामीण अध्यक्ष विजय केशरवानी, कोटा ब्लॉक कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष आदित्य दीक्षित, महिला कांग्रेस कमेटी से बीना मसीह उपस्थित थे।


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