राष्ट्रीय
बिहार, 28 दिसंबर । बिहार सरकार के हवाई जहाज़ और हेलिकॉप्टर ख़रीदने के फ़ैसले पर राजनीति गर्म होती जा रही है.
बिहार सरकार ने 12 सीटों वाला जेट इंजन विमान और दस सीटों वाला एक हेलिकॉप्टर ख़रीदने का फ़ैसला किया है.
मंगलवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में इस फ़ैसले पर मुहर लगाई गई थी. सरकार के इस फ़ैसले पर विपक्षी भारतीय जनता पार्टी ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है.बीजेपी इसे चुनाव प्रचार करने के लिए सरकारी पैसे का दुरुपयोग बता रही है.
राज्य बीजेपी के प्रवक्ता निखिल आनंद ने ट्वीट किया है, “नीतीश कुमार 2005 से राज्य के मुख्यमंत्री हैं. 17 साल के बाद उनको एहसास हुआ है कि बिहार सरकार को एक दस सीटों वाला जेट इंजन विमान ख़रीदना चाहिए. हम सभी जानते हैं कि वो प्रधानमंत्री बनना चाहते हैं. वो इस विमान से सरकारी ख़र्च पर अपने सहयोगियों के साथ अलग अलग राज्यों का दौरा करेंगे और ख़ुद को प्रधानमंत्री पद के दावेदार के तौर पर पेश करेंगे.”
इस आरोप पर जेडीयू नेता नीरज कुमार ने बीजेपी पर तीख़ा हमला बोला है. नीरज कुमार ने बीबीसी से कहा, “फिर तो ये प्रधानमंत्री जी पर भी लागू होती है. इसका मतलब है कि नरेंद्र मोदी संयुक्त राष्ट्रसंघ का अध्यक्ष बनना चाहते थे कि उन्होंने मंहगे हैलिकॉप्टर ,महंगा कार लिया. बीजेपी जब गठबंधन में हेलिकॉप्टर से उतर गई तो हर फ़ैसले का राजनीतिक मतलब ढूंढ रहे हैं. ये ओछी राजनीति है. अगर पीएम को ज़रूरत हो और केंद्र सरकार ख़रीदे तो ऐसे सवाल पर कोई राजनीति नहीं होती.”
नीरज कुमार के मुताबिक़ पुराने हेलिकॉप्टर की सेवाएं बीजेपी नेताओं ने भी ली है. नई ख़रीददारी की ज़रूरत इसलिए पड़ी है क्योंकि पुराने वालों की स्पीड कम है, उसमें समय ज़्यादा लगता था और वो पुराने हो गए थे.
उन्होंने कहा, "नई ख़रीददारी पूरे पारदर्शी तरीके से की जा रही है. इससे पहले साल 2005 में राज्य सरकार ने विमान ख़रीदा था, जो कि टर्बो प्रॉप इंजन वाला विमान है और इसकी स्पीड 400 से 450 किलोमीटर प्रति घंटा है. जबकि सरकार ने इस बार जो विमान ख़रीदने का फ़ैसला किया है वह जेट इंजन विमान होगा और इसकी स्पीड 800 से 900 किलोमीटर प्रति घंटे की होगी. बिहार सरकार ने इससे पहले 33 साल पहले कोई हेलिकॉप्टर ख़रीदा था." (bbc.com/hindi)


