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निर्वाचन आयोग ने देश के 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में मतदाता सूची के गहन पुनरीक्षण यानी एसआईआर के दूसरे फेज़ की घोषणा कर दी है. इस पर राजनीतिक विश्लेषक योगेंद्र यादव ने सवाल उठाए हैं.
मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने कहा कि एसआईआर के पहले फेज़ के तहत बिहार में प्रक्रिया पूरी हो चुकी है.
योगेंद्र यादव ने चुनाव आयोग से 14 सवाल किए हैं. उन्होंने कहा कि आयोग को यह बताना चाहिए कि बिहार में एसआईआर के अनुभव से उन्हें क्या सीख मिली और इन सीखों को ध्यान में रखते हुए एसआईआर के मूल आदेश में क्या संशोधन किए गए.
उन्होंने सवाल किया, "क्या एसआईआर का उद्देश्य अवैध विदेशी नागरिकों को हटाना है? अगर हां, तो चुनाव आयोग को यह जानकारी देनी चाहिए कि बिहार में कितने विदेशी पाए गए और कितने मतदाता सूची से हटाए गए?"
योगेंद्र यादव ने कहा कि चुनाव आयोग को यह भी स्पष्ट करना चाहिए कि वह किस आधार पर 2002/2003 को कटऑफ़ वर्ष मानता है. जबकि 2002/2003 की प्रक्रिया के दौरान नागरिकता को लेकर किसी भी तरह का सत्यापन नहीं हुआ था.
चुनाव आयोग ने सोमवार को इन राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में एसआईआर की घोषणा की है:
अंडमान और निकोबार
छत्तीसगढ़
गोवा
गुजरात
केरल
लक्षद्वीप
मध्य प्रदेश
पुडुचेरी
राजस्थान
उत्तर प्रदेश
पश्चिम बंगाल
तमिलनाडु
इनमें से तीन राज्यों- पश्चिम बंगाल, केरल और तमिलनाडु में 2026 में विधानसभा चुनाव होने हैं. अगले साल असम में भी चुनाव हैं, लेकिन उसे एसआईआर के दूसरे फेज़ में शामिल नहीं किया गया है. (bbc.com/hindi)


