अंतरराष्ट्रीय

बुधवार रात लाल सागर में जेनको पिकार्डी नाम का एक व्यापारिक जहाज़ ड्रोन हमले का शिकार हुआ है.
समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार, अदन के बंदरगाह से क़रीब 100 किलोमीटर दक्षिण में यह हमला हुआ, जिसके बाद भारतीय नौसेना का जंगी बेड़ा आईएनएस विशाखापट्टनम हरकत में आया.
आईएनएस विशाखापट्टनम गाइडेड मिसाइल से लैस एक युद्धपोत है जो 21 नवंबर 2021 में औपचारिक तौर पर भारतीय नेवी का हिस्सा बना था.
पीटीआई ने जानकारी दी है कि जेनको पिकार्डी जहाज़ पर 22 क्रू मेंबर हैं जिनमें से नौ भारतीय हैं.
जेनको पिकार्डी एक अमेरिकी मालवाहक जहाज़ है, जिस पर हूती विद्रोहियों ने हमला किया था.
समाचार एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक़, हूती विद्रोहियों ने बुधवार को कहा था कि उसकी मिसाइलें सीधे अमेरिकी बल्क कैरियर जेनको पिकार्डी से टकराई हैं.
इस जहाज़ को चलाने वाली कंपनी जेनको ने कहा है कि क्रू के किसी भी सदस्य को चोट नहीं आई है और जहाज़ को थोड़ा नुक़सान पहुंचा है.
जिस इलाक़े में इस जहाज़ पर हमला हुआ, वहां पर यमन के हूती विद्रोही सक्रिय हैं और वे व्यापारिक जहाज़ों को निशाना बना रहे हैं.
इस हमले के बाद अमेरिका ने हूती विद्रोहियों के एक और ठिकाने पर जवाबी हमला किया था. अमेरिकी सेना का कहना है कि उसने लॉन्च के लिए तैयार मिसाइलों को निशाने पर लिया है.
इस बीच, हूती विद्रोहियों का कहना है कि इसराइल जब तक ग़ज़ा पर हमले नहीं रोकता, तब तक वह इसराइल आने-जाने वाले जहाज़ों को निशाने पर लेता रहेगा. (bbc.com/hindi)