बेमेतरा
बेमेतरा, 28 जुलाई। मुख्यमंत्री शाला सुरक्षा कार्यक्रम के अंतर्गत बेरला विकासखंड के शासकीय हाईस्कूल लावातरा में कक्षा 9वीं एवं 10वीं के विद्यार्थियों को सर्पदंश एवं बिच्छू डंक मारने से संबंधित प्राथमिक उपचार की जानकारी विद्यालय के व्याख्याता एवं शाला सुरक्षा कार्यक्रम के राज्य स्तर के मास्टर ट्रेनर्स (राज्य स्त्रोत शिक्षक) भुवन लाल साहू के द्वारा दी गई।
उन्होंने बताया कि बरसात के मौसम में जहरीले कीड़े मकोड़े जैसे सांप या बिच्छू जो कि दरारों या बिलों में रहते है। बरसात में उन दरारों या बिलों में पानी भर जाने के कारण वे बाहर निकल आते हैं। खेतों के फसलों में विभिन्न जहरीले कीटनाशकों के छिडक़ाव के कारण उस स्थान को छोडक़र वे गांव की ओर चले आते हैं। इस कारण बरसात में खास तौर से हमें अधिक सावधानी बरतनी चाहिए। जमीन में सोने से बचना चाहिए। घास फूस, लकड़ी के ढेर, कंडे के ढेर के आसपास अच्छी तरह देख कर बैठना चाहिए या सामान निकालना चाहिए। उसमें जहरीले कीड़े मकोड़े हो सकते हैं। रात में अंधेरे में कहीं जाए तो टॉर्च लेकर जाना चाहिए।
उन्होंने बताया कि सर्प दंश होने की घटना में किसी प्रकार के झाड़ - फूंक या तांत्रिक के चक्कर में आकर बेवजह विलंब नहीं करनी चाहिए। प्राथमिक उपचार करते हुए अतिशीघ्र मरीज को अस्पताल ले जाना चाहिए। सर्पदंश वाली स्थान पर कभी भी मुंह से जहर खींचने का प्रयास नहीं करना चाहिए क्योंकि मुंह में बहुत प्रकार के रोगाणु हो सकते हैं जिससे और अधिक संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है। साथ ही उस स्थान को पानी या बर्फ से नहीं धोना चाहिए।
काटे हुए स्थान पर प्राथमिक उपचार के रूप में एंटीसेप्टिक लोशन या हल्दी का प्रयोग करना चाहिए। बिच्छू डंक मारने की स्थिति में उस स्थान पर साबुन से या निरमा पानी से धोना चाहिए। उनके द्वारा विद्यार्थियों को प्रोजेक्टर के माध्यम से इससे संबंधित वीडियो भी दिखाया गया। साथ ही इसकी जानकारी अपने परिवार के सदस्यों को भी देने हेतु प्रेरित किया गया।


