राजनांदगांव

शोभायात्रा निकाल ईसर गणगौर का विसर्जन
02-Apr-2025 2:15 PM
शोभायात्रा निकाल ईसर गणगौर का विसर्जन

16 दिनों तक शिव-पार्वती की पूजा में डूबे रहे भक्त

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 2 अप्रैल।
चैत्र शुक्ल पक्ष तृतीया पर 31 मार्च को राजनांदगांव सहित देश के विभिन्न हिस्सों में मनाए जाने वाले गणगौर पर्व का समापन व विसर्जन धूमधाम के साथ शोभायात्रा निकालकर कुंवारी कन्याओं, नव विवाहितों एवं महिलाओं द्वारा मां शीतला मंदिर स्थित बूढ़ातालाब में किया गया।

गणगौर पर्व राजस्थान का मूल पर्व होने के साथ ही देश के विभिन्न हिस्सों में भी श्रद्धा भक्ति के साथ मनाया गया। जिसमें भगवान शंकर व पार्वती के स्वरूप की गणगौर के रूप में पूजा-अर्चना 16 दिनों तक किए जाने के पश्चात चैत्र शुक्ल पक्ष तृतीया 31 मार्च को विशेष महत्व का दिन होने के साथ ही विशेष पूजा-अर्चना की गई। 

सुबह से ही इस पर्व को लेकर कुंवारी कन्याओं, नवविवाहितों व महिलाओं में विशेष उत्साह व पूजन को लेकर श्रद्धा भक्ति व आस्था का भाव दिखाई दिया। घरों, मंदिरों व सामाजिक भवनों में स्थापित की गई शिव व शक्ति के स्वरूप ईसर गणगौर की पूजा-अर्चना विशेष प्रकार के पकवान, श्रृंगार सामाग्री, दुबी व जल के साथ ही कुमकुम, हल्दी, मेहंदी, काजल की बिंदी लगाकर की गई। इस पर्व को मानने वाले लोगों में से बहुत सी विवाहित महिलाएं गणगौर पर्व पर अपने पति की लंबी उम्र की कामना के साथ ही परिवार की सुख-समृद्धि व उन्नति के लिए व्रत रखकर उद्यापन भी करती हंै,  वहीं संध्या विसर्जन पूर्व कुंवारी कन्याएं, महिलाएं व इस पर्व को मानने वाले लोग गणगौर को सिक्के, चांदी व सोने की अंगुठी से भगवान को पानी पिलाकर अपनी मनोकामना पूर्ण करने वरदान मांगती है। इसके पश्चात विशाल शोभायात्रा के रूप में विभिन्न घरों, सामाजिक भवनों व मंदिरों में स्थापित ईसर गणगौर की शोभायात्रा निकाली जाती है। गणगौर का विसर्जन मां शीतला देवालय स्थित बूढ़ा सागर में किया गया।


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