रायपुर
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 23 नवंबर। प्रदेश में चल रहा मतदाता सूची के विशेष पुर्नरीक्षण अभियान का चौतरफा विरोध तेज हो रहा है। तीन दिन पहले सत्तारूढ़ भाजपा के नेताओं ने सीईओ यशवंत कुमार से मिलकर फिल्ड में आ रही दिक्कतों और खामियों से अवगत कराया था। और अब प्रमुख विपक्षी दल कांग्रेस आप पार्टी लगातार अभियान की खामियां उजागर कर रही है। आम आदमी पार्टी कर्मचारी विंग के प्रदेश अध्यक्ष विजय कुमार झा ने बताया कि निर्वाचन आयोग जल्दबाजी में एसआईआर की प्रक्रिया संपादित कर रही हैं। अभी छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव 3 वर्ष शेष है। फिर इतनी हड़बड़ी में एस आई आर करने का औचित्य समझ से परे है। झा ने कहा कि इसमें दो पीढिय़ों की जानकारी मांगी जा रही है। जो 20 वर्ष पूर्व की जानकारी याद रखना,संरक्षित रखना, मुश्किल है। वर्ष 2003 के मतदाता सूची की जानकारी मांगी जा रही है। जबकि इस स्थिति या इसके बाद जन्म लिए छत्तीसगढ़ के नागरिक आज मतदाता है। विधानसभा, लोकसभा, पार्षद, महापौर चुनाव में मताधिकार का उपयोग कर चुके हैं। इस पूरी प्रक्रिया में आम जनता मतदाता एवं ड्यूटी करने वाले कर्मचारी सभी परेशान हैं। यह तिथि आगे बढ़ाई जानी चाहिए। श्री झा ने बताया है कि अभी प्रदेश में चुनाव व मतदान के लिए 3 वर्ष का समय बाकी है। ऐसी स्थिति में एसआईआर के लिए समय बढक़र 1 जनवरी 26 की स्थिति में मतदाता सूची को अद्यतन करना चाहिए। बीएलओ व चुनाव कार्यालय आदि में संपर्क करने पर यह अवगत करा रहे हैं कि जिनके द्वारा फार्म नहीं भरा जाएगा उसका नाम मतदाता सूची से कट जाएगा। 2003 में जन्मे व वर्तमान में मतदाता को अपने दिवंगत माता-पिता एवं मतदान, मतदाता सूची की जानकारी मांगी जा रही है, जो 23 वर्षों में याद रखना व सुरक्षित रखना संभव नहीं है। प्रदेश अध्यक्ष गोपाल साहू, कार्यकारी अध्यक्ष उत्तम जायसवाल, सूरज उपाध्याय, नंदन कुमार सिंह,मिहिर कुर्मी, दुर्गा झा, अजीम खान, एम एम हैदरी, संतोष कुशवाहा, नवनीत नंदे, वीरेंद्र पवार, कलावती मार्को,आरएस ठाकुर, इमरान खान, कशिफ गांधी, नरेंद्र ठाकुर, विजय लक्ष्मी तिवारी, आदि नेताओं ने तत्काल एस आई आर की अवधि आगामी वर्ष 1 जनवरी 26 तक बढ़ाए जाने की मांग की है।
मतदाताओं को फोटो देना अनिवार्य नहीं, बीएलओ खुद खींच सकेंगे फोटो
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 23 नवंबर। छत्तीसगढ़ के सीईओ (निर्वाचन) ने मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) को लेकर एक महत्वपूर्ण आदेश जारी किया है। यह आदेश मतदाताओं के फोटो को लेकर है। आयोग ने स्पष्ट किया है कि एसआईआर के लिए मतदाताओं को फोटो देना अनिवार्य नहीं है। जरूरत पडऩे पर बूथ स्तर अधिकारी सीधे मोबाइल ऐप के माध्यम से ही फोटो खींचकर अपलोड कर सकेंगे। सभी मतदाताओं को फोटो स्वत: उपलब्ध कराने की जरूरत नहीं पड़ेगी। भारत निर्वाचन आयोग के निर्देशों के तहत यह पुनरीक्षण 1 जनवरी 2026 की अहर्ता तिथि को ध्यान में रखते हुए किया जा रहा है। आदेश में बताया गया है कि आयोग के निर्धारित कार्यक्रम के तहत 4 दिसंबर 2025 तक बीएलओ घर-घर जाकर मतदाताओं से भरा हुआ गणना पत्रक प्राप्त करेंगे। यदि किसी मतदाता की नई फोटो उपलब्ध नहीं है या पुरानी फोटो धुंधली या अस्पष्ट है, तो बीएलओ मतदाता का नया फोटो ले सकेगा।
इस आदेश में यह स्पष्ट किया गया है कि जिन मतदाताओं का फोटो उपलब्ध नहीं है, उन्हें बीएलओ के माध्यम से ही फोटो अपडेट कराने की सुविधा दी जाएगी। इसी के साथ जिलों को निर्देश दिया गया है कि वे ईआरओ/बीएलओ के साथ समन्वय कर राजनीतिक दलों को स्थिति से अवगत कराएं।
मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी ने निर्देश की प्रति सभी संबंधित अधिकारियों को भेजते हुए कहा है कि मतदाताओं को किसी भी तरह की भ्रांतियों से दूर रखा जाए और सभी जिलों में संशोधित कार्यक्रम की जानकारी समय पर पहुंचाई जाए।
हर मतदाता दिमागी परेशानी से गुजर रहा- दीपक बैज
रायपुर, 23 नवंबर। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा कि जब से प्रदेश में एसआईआर शुरू हुआ है प्रदेश का हर मतदाता मानसिक रूप से परेशान है। लोग पहले की मतदाता सूचियों में अपने परिजनों का नाम ढूंढ रहे है, बीएलओ से अपना प्रपत्र देने की गुहार कर रहे, गणना प्रपत्र मिल भी गया तो उसको भरने और जमा करने के लिए परेशान हो रहे है। ऐसा लग रहा कि एसआईआर आम आदमी को परेशान करने का जरिया सरकार ने बना दिया है। हर आदमी अपनी नागरिकता बचाने की कवायद में लगा हुआ है। बैज ने कहा कि आयोग कहता है कि 97 प्रतिशत मतदाताओं तक गणना प्रपत्र पहुंच गया है, धरातल पर गणना पत्रक 25 प्रतिशत घरों तक नहीं पहुंची है। जिनके घरों तक गणना पत्रक पहुंची है उसमें ये भी एक दो सदस्यों का गणना पत्रक मिल नहीं रहा है। एक ही घर में कई सदस्यों के गणना पत्रक अब तक नहीं पहुंचे है, चुनाव आयोग कागजी दावा कर रहे है। आरक्षित सीटों की संख्या कम करने आरक्षित वर्गो के नाम मतदाता सूची में काटने की साजिश से मतदाता चिंतित है। बीएलओ को भाजपा नेता कार्यकर्ता ठीक से काम करने नहीं दे रहे है। ऐसी शिकायत जगह-जगह से आ रही है। भाजपा के नेता बीएलओ पर अनुचित दबाव डाल रहे है।
78 लाख से अधिक गणना प्रपत्रों का डिजिटाइजेशन कार्य पूर्ण
रायपुर, 23 नवंबर। छत्तीसगढ़ राज्य में अर्हता तिथि 01 जनवरी 2026 के लिए मतदाता सूचियों के विशेष गहन पुनरीक्षण कार्य का संचालन दिनांक 04 नवम्बर 2025 से पूरी गंभीरता एवं पारदर्शिता के साथ जारी है। प्रदेशभर में पंजीकृत मतदाताओं को गणना प्रपत्र का वितरण लगभग पूर्ण हो चुका है तथा इन प्रपत्रों के संग्रहण और डिजिटाइजेशन का कार्य तेजी से प्रगति पर है। आज 22 नवम्बर 2025 तक प्रदेश में लगभग 78 लाख से अधिक गणना प्रपत्रों का डिजिटाइजेशन पूर्ण हो चुका है, जो प्रदेश के 2 करोड़ 12 लाख 30 हजार 737 पंजीकृत मतदाताओं का लगभग 37 प्रतिशत है।


