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4 दिन से कबीरधाम में टिड्डी दल, कीटनाशक छिड़काव से तितर-बितर
19-Jun-2020 2:19 PM
4 दिन से कबीरधाम में टिड्डी दल, कीटनाशक छिड़काव से तितर-बितर

'छत्तीसगढ़' संवाददाता                                
बोड़ला, 19 जून।
मध्यप्रदेश व महाराष्ट्र से होते हुए चार दिनों से कबीरधाम में टिड्डियों का दल डेरा जमाए हुए हंै। आज लोहारा, पंडरिया में टिड्डी दल नजर आ रहे हैं। कीटनाशक के छिड़काव से टिड्डी दल तितर-बितर हो गए हैं।

मंगलवार की शाम से मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के बॉर्डर में बोड़ला विकासखंड के खारा के आसपास नचनिया गांव के लगभग 5 किमी के दायरे में टिड्डियों ने डेरा जमाए हुए हंै। वहां से टिड्डी दल लोहारा, पंडरिया व बोड़ला ब्लॉक में प्रवेश कर चुके हैं। इन्हें भगाने के लिए जिला प्रशासन का ऑपरेशन जारी है। दमकल की गाड़ी में कीटनाशक दवाई का छिड़काव लगातार किये जाने से ये अलग-अलग दलों में तितर-बितर हो गए हैं। टिड्डियों का दल रेंगाखार जंगल की ओर से होते हुए धानी खूंटा घाट की तरफ से लोहारा ब्लॉक की ओर तथा कुछ पंडरिया ब्लॉक के कुई कुकदूर, कोडवागोदान  की तरफ बढ़ गए हैं।

कृषि विभाग के अधिकारी ने बताया कि इन्हें भगाने के लिए कृषि विभाग की टीम मंगलवार से लगी हुई है। अन्य जिलों की टीम की मदद से कीटनाशक दवाई का छिड़काव किया जा रहा है। लगभग 1 लाख लीटर कीटनाशक दवाओं का छिड़काव किया गया है, साथ ही ट्रैक्टर के साइलेंसर को निकाल कर आवाज किया जा रहा है। डीजे के साउण्ड से भी हल्ला मचा जा रहा था, जिससे टिड्डियों के दल को भगाया जा सके।                                                 

गन्ने की फसलों को नुकसान की आशंका                     
विशेषज्ञों के अनुसार कबीरधाम जिले में टिड्डियों के पहुंचने से जिले में गन्ने व उद्यानिकी के फसलों को भारी नुकसान पहुंच सकता है, फिलहाल यह वनांचल क्षेत्रों में है, जहां से यह मैदानी क्षेत्र में पहुंच रहा है, फलस्वरूप वहां लगे गन्ने की फसल को भारी नुकसान पहुंचा सकते हैं।

नमी वाले क्षेत्रों में ज्यादा खतरा                             
बताया जा रहा है कि मादा टिड्डी रेत में अंडे देती हैं, लेकिन जब यह अंडों को फोड़कर बाहर निकलते हैं तो भोजन की तलाश में नमी वाली जगह की तरफ बढ़ते हैं, इससे नमी वाले इलाकों में टिड्डियों का खतरा ज्यादा है और जिले में खेतों में जोताई का काम चल रहा है ऐसे में वे भूरभूरी मिट्टी में अंडे दे सकती हैं। एक टिड्डी एक बार मे 200 से 250 अंडे देती है ऐसे में जिले में टिड्डियों का खतरा मंडरा रहा है।                                      

पंजाब, राजस्थान और एमपी में फसलों को तबाह कर चुका है
टिड्डियों का यह दल मध्यप्रदेश, राजस्थान, पंजाब में फसलों को तबाह कर दिया है। पाकिस्तान से राजस्थान होते हुए टिड्डियों के दलों ने भारत के कई राज्यों में धावा बोल दिया है, इनका प्रकोप कई राज्यों में बढ़ता ही जा रहा है। राजस्थान, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश के साथ हरियाणा और पंजाब के कुछ हिस्सों में इन टिड्डियों के किये गए नुकसान को देखा जा रहा है और यह दल अब कबीरधाम में है।


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