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मिक्सड मार्शल आर्ट में देश के लिए जीता सिल्वर पदक
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 3 नवम्बर। रायपुर की 19 वर्षीय तनिष्का भंसाली ने तजाकिश्तान दुस्बेन में आयोजित मिक्सड मार्शल आर्ट एशियन चैम्पियनशिप में सिल्वर मेडल जीता है। तनिष्का ने अपनी सफलता का श्रेय अपने गुरु को देते हुए कहा कि इन्होंने मेरे लिए बहुत मेहनत की है। साथ ही मेरे परिवार ने भी मुझे बहुत सपोर्ट किया है।
तनिष्का का कहना है कि स्पोर्ट्स से मेरे अंदर डिसिप्लिन आया, सेल्फ कॉन्फिडेंस बढ़ा व नया विजन क्रिएट हुआ। मेरी पर्सनालिटी और मेरे हुनर को स्पोर्टस ने निखारा। मुझे अपने देश से बहुत लगाव है। मैं चाहती थी कि जब भी मेरी जीत हो तब सब हमारे देश के तिरंगे झंडे और राष्ट्रगान के सम्मान में खड़े हों। सिल्वर मेडल प्राप्त होने पर मुझे खुशी है कि मैं अपने देश के लिए कुछ कर पाई। देश के साथ-साथ अपने प्रदेश छत्तीसगढ़ और अपने शहर रायपुर और परिवार के नाम के साथ ही एकेडमी का नाम ऊंचा कर पाई।
तनिष्का ने कहा कि जब मुझे मेडल पहनाया गया तो बहुत गर्व हो रहा था। तजाकिस्तान से जब रायपुर पहुंची तो एयरपोर्ट पर मेरा पूरा परिवार,मेरे खास दोस्त और मेरे गुरु व मेरी एकेडमी के टीम मेट्स ने जोशीला स्वागत किया। मिक्स मार्शल आर्ट के लिए काफी चैलेंजेस महसूस की। शुरुआत में मेरे अंदर स्ट्रेंथ, फुर्ती, सहनशीलता कम थी,यह स्पोर्ट्स ब्रूटल है, अग्रेसिव गेम है।
तनिष्का ने कहा कि मिक्सड मार्शल आर्ट में बॉक्सिंग, जूडो, कराते, बीजेजे, ताइक्वांडो व रेसलिंग का मिक्सअप है। रायपुर से जब तजाकिस्तान के लिए निकली तो बस एक ही बात सोच रही थी कि मुझे अपना 100 फीसदी देना है। मैंने आज तक जो भी सीखा है उसे वहां जाकर दिखाना है। कभी-कभी नर्वस होती थी,तब मैं अपने गुरुओं से बात करती थी तो मेरा कॉन्फिडेंस बढ़ जाता था, उसके बाद पूरा फोकस गेम पर करती थी।
देश के लिए गोल्ड मेडल से चूकने पर तनिष्का का कहना है कि अफसोस तो होता है लेकिन यह अंत नहीं है। फाइनल मुकाबले में मेरी सबसे बड़ी गलती थी कि मैंने थोड़ा डिफेंसिव होकर खेला, मेरा बेसिक नेचर ऑफ गेम नहीं खेली और इसी का सामने वाली खिलाड़ी को मौका मिला और वह मुझ पर हावी हो गई। जब मैं तजाकिस्तान पहुंची और वहां मैंने देखा तो समझ आया कि मुझे अपने गेम्स में और अधिक मेहनत करनी है। जल्द ही वल्र्ड चैंपियनशिप 2023 में होने की संभावना है, तो मेरी पूरी कोशिश रहेगी कि फिर से भारत का प्रतिनिधित्व करूं और अपने देश का नाम ऊंचा करूं। हलवाई लाइन स्थित भंसाली ज्वेलर्स परिवार की बेटी तनिष्का ने बताया कि वह 4 से 5 घंटे प्रतिदिन कोचिंग में प्रैक्टिस करती है। घर में भी थोड़ा बहुत प्रैक्टिस व कार्डियो करती है और अपने आपको आगे के लिए तैयार कर रही है। अब सिल्वर नहीं गोल्ड पर कब्जा करना है। वॉरियर्स एकेडमी अवंती विहार रायपुर में कोचिंग के दौरान नितिन सिंह , मिलन पटेल और सौरव पटेल काफी सिखाते और समझाते हैं। नितिन सिंह मेरे साथ तजाकिस्तान गए थे।
तनिष्का ने कहा कि उसके दादाजी हमेशा बोलते थे कि लड़कियों को व हर इंसान को मार्शल आर्ट आना चाहिए। बचपन से दादाजी से प्रेरणा मिली थी, इसलिए मैंने मिक्सड मार्शल आर्ट का चयन किया।
तनिष्का ने बताया कि इससे पहले स्कूल में गेम्स में पार्टिसिपेट करती थी तो गेम्स से जुड़ाव बचपन से ही रहा। विधानसभा रोड स्थित एक स्कूल रहते हुए स्विमिंग 4 सालों तक की। इसमें जिला स्तर पर ब्रॉन्ज मेडल भी मिला। इसके बाद फुटबॉल में सीबीएसई नेशनल में पार्टिसिपेट की। ग्यारहवीं क्लास में एमक्यूएन करती थी और इंटर स्कूल डिस्कशन के साथ ही अलग-अलग सब्जेक्ट में इंटरनेशनल-नेशनल लेवल में पार्टिसिपेट करने का मौका मिला। कॉलेज में प्रवेश करते ही मिक्स मार्शल आर्ट ज्वाइन की। एक साल के अंतर्गत ही 19 साल की उम्र में देश के लिए तजकिस्तान में सिल्वर मेडल जीतने का मौका मिला।
तनिष्का ने आर्टस सब्जेक्ट से 12वीं की पढ़ाई की। अभी बीए एलएलबी सेकंड ईयर थर्ड सेमेस्टर एमिटी यूनिवर्सिटी रायपुर की स्टूडेंट है। तनिष्का के पिता अमित भंसाली का ज्वेलर्स और मां विभा भंसाली होममेकर है व छोटी बहन तिथि भंसाली।


