बेमेतरा

सरदा में पेयजल संकट गहराया, समस्या का निराकरण नहीं होने से ग्रामीण नाराज
18-May-2023 2:58 PM
सरदा में पेयजल संकट गहराया, समस्या का निराकरण नहीं होने से ग्रामीण नाराज

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 18 मई।
ग्राम सरदा में पेयजल संकट को लेकर ग्रामीणों में खासी नाराजगी है। आए दिन पावर पंप के जवाब देने से ग्रामीणों को जल संकट का सामना करना पड़ रहा है। जल जीवन मिशन के कार्यों में लेटलतीफी का भी खामियाजा ग्रामीणों को भुगतना पड़ रहा है।

करीब दो साल में जल जीवन मिशन के कार्य पूर्ण नहीं हो पाए हैं। केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी योजना जल जीवन मिशन का उद्देश्य हर घर को नल के माध्यम से शुद्ध पेयजल की आपूर्ति करना है। लेकिन अधिकारी व ठेकेदारों की लेटलतीफी योजना के क्रियान्वयन पर भारी पड़ रही है। इस संबंध में ग्रामीणों ने किसान नेता योगेश तिवारी से शिकायत कर जल संकट के निराकरण की मांग की है। ग्रामीणों ने किसान नेता को बताया कि ग्राम सरदा में विगत 2 महीने से दिनोंदिन जल संकट गहराता जा रहा है। इस सम्बंध में ग्राम पंचायत व पीएचई में बार-बार शिकायत के बावजूद समस्या के निराकरण को लेकर अब तक कोई कदम नहीं उठाए गए।

डेढ़ किमी दूर से पानी ला रहे ग्रामीण 
ग्रामीणों ने बताया कि पेयजल की व्यवस्था के कारण दैनिक दिनचर्या प्रभावित हुई है। पेयजल के लिए अलसुबह और रात में गांव के महिला व पुरुष को करीब डेढ़ किलोमीटर दूर गौठान जाना पड़ता है। महिलाएं सारा काम छोडक़र पानी की व्यवस्था करने में लगी रहती हैं। ऐसी स्थिति में लोगों की प्रशासन के खिलाफ नाराजगी बढ़ती जा रही है। ग्रामीणों के अनुसार पंचायत व जिला प्रशासन पेयजल जैसी मूलभूत सुविधा देने में नाकाम रहा है।

समस्या के निराकरण को लेकर अधिकारी गंभीर नहीं
सरदा की 5 हजार आबादी को 8 पावर पम्पों से जलापूर्ति की जा रही है। ग्रामीणों ने किसान नेता को बताया कि इनमें से ज्यादातर पावर पंप बंद पड़े हैं। जो आबादी के अनुपात में नाकाफी साबित हो रहा है। किसान नेता ने बताया कि सरदा के अलावा ग्राम पाहन्दा, हथपान, सिंगदेही, अतरगड़ी, आन्दू, देवरी, जौंग, भटगांव, साल्हेपुर, रामपुर, खर्रा, कुम्ही समेत अन्य गांवो में भी जल संकट गहराने लगा है। 

किसान नेता ने बताया कि समस्या के निराकरण के लिए सम्बंधित पीएचई के अधिकारियों से फोन पर सम्पर्क करने पर, कॉल रिसीव नहीं किया जाता है। गांव में जलापूर्ति के लिए 8 सरकारी पावर पंप हैं। लगातार गिरते भूजल स्तर के कारण पावर पंप जवाब दे चुके हैं, उनमें से पानी निकलना बंद हो गया है।

गांव की आबादी 5 हजार से अधिक है। वर्तमान में सिर्फ 3 से 4 पावर पंप से जलापूर्ति की जा रही है, जो नाकाफी साबित हो रहा है। ग्रीष्म ऋतु के आगमन से पेयजल संकट और गहराने लगा है। किसान नेता ने जल जीवन मिशन के कार्य जल्द पूर्ण नहीं होने की स्थिति में उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है।

ग्राम सरसंच जनक राम धीवर ने कहा कि मेरी जानकारी में सभी पावर पंप चालू हैं। ग्रामीणों की शिकायत निराधार है। गांव में नियमित पेयजल की आपूर्ति की जा रही है। जल जीवन मिशन के कार्य को जल्द पूर्ण करने पीएचई के अधिकारियों से लगातार संपर्क में है।

 


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