बेमेतरा
खुद को कलेक्टर बताया, ऑनलाइन पेमेंट करने की बात पर हुआ शक
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 8 नवंबर। फर्जी तौर पर स्वयं को कलेक्टर बताकर कमीशन के लिए जनप्रतिनिधि के परिजन को फोन लगाने का ऑडियो वायरल होने के मामले पर कलेक्टर ने पुलिस अधीक्षक को जांच के लिए पत्र लिखा है। कलेक्टर जितेन्द्र कुमार शुक्ला में इस तरह के फर्जी कॉल से बचने और कॉल आने पर प्रशासन को सूचना देने के लिए लोगों से अपील किया है।
सोमवार को सोशल मीडिया में कथित तौर पर कलेक्टर बनकर स्वयं का नाम सहित परिचय देते हुए जनप्रतिनिधि से विकास कार्य स्वीकृति कराने के लिए 20 हजार रूपये कलेक्टोरेट में लेकर आने का ऑडियो वायरल हुआ है।
बातचीत के क्लीप में एक पक्ष की ओर से फोन करने वाले ने स्वयं को कलेक्टर बताते हुए पंचायत की मांग के अनुरूप कार्य स्वीकृति के लिए राशि मांगा गया। वहीं दूसरे पक्ष द्वारा फोन करने वाले से पद का नाम व पदस्थ अधिकारी का नाम पूछने पर स्वयं का नाम के तौर पर पदस्थ कलेक्टर का नाम लिया है।
फोन करने वाले की ओर से बार-बार स्वीकृत विकास कार्य की जानकारी मांगी गई, साथ ही प्रस्तुत किये गये आवेदन में निर्माण कार्य के लिए मांगी गई। स्वीकृति को लेकर बात करते हुए नगद राशि के तौर पर खर्च लगने की बात कहते हुए कार्यालय आने की बात कहा गया है।
वहीं जनप्रतिनिधि के परिजन द्वारा कलेक्टर से सी सी रोड ,नाली निर्माण के लिए जनपद मद से काम होना बताया गया, वहीं सभी कार्य को पुराना काम होना बताया गया है। काम कम्पलीट होने की जानकारी अधिकारी को बताया गया। वहीं सुगम सडक़ के लिए, बोर खनन, के लिए स्वीकृत कराने का बात पर चर्चा किया गया।
बातचीत के अंत में फाइल दब जाने और काम नहीं हो पाने की बात कहते हुए फोन बंद किया गया। कमीशन को लेकर कथित तौर पर वायरल हो रहा ऑडियो क्लीप करीब 4 मिनट का है।
सोशल मीडिया में चर्चा का कारण बन रहे ऑडियो की जानकारी लगते ही कलक्टर जितेन्द्र कुमार शुक्ला ने मामले को गंभीरता से लेते हुए पुलिस अधिक्षक को पत्र लिखकर सीडीआर निकालने और प्रकरण की जांच करने की बात कही है।
इस तरह के कॉल आए तो तत्काल सूचना दें, कार्रवाई होगी -कलेक्टर
कलेक्टर जितेन्द्र कुमार शुक्ला ने कहा कि मामले की जांच कराने के लिए पुलिस अधिक्षक को पत्र लिखा गया है। इस तरह का फोन आये तो सूचना दे जिससे तत्काल कार्रवाई किया जा सकेगा। बहरहाल जनप्रतिनिधियो के ग्रुप में वायरल हुआ कथित बातचीत का ऑडियो चर्चा का कारण बना हुआ है।
मैंने लिखित में सूचना दे दी है - प्रदीप
जनप्रतिनिधि के परिजन प्रदीप पाठक ने बताया कि उसके मोबाईल पर ही फोन आया था जिसके बाद वे बताये अनुसार कलक्टर कार्यालय पहुंचा था जहा पर उक्त नंबर पर फोन करने पर आनलाईन पेमेन्ट करने की बात कहा गया था जिस पर उसे शक हुआ। पूरे घटनाक्रम की जानकारी उसके द्वारा कलेक्टर कार्यालय व पुलिस अधिक्षक कार्यालय को लिखित में दे दिया गया है। अधिकारियों से मिलकर जांच करने का गुहार लगाया। कलेक्टर व पुलिस अधीक्षक के पास गया था पर नहीं थे। आवेदक ने भी मामले की जांच कराने की बात कहा है।


