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नयी दिल्ली, 30 अक्टूबर। दिल्ली उच्च न्यायालय ने बृहस्पतिवार को दिल्ली सरकार को निर्देश दिया कि वह तिहाड़ जेल में जबरन वसूली रैकेट चलाने में कथित रूप से शामिल जेल अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक जांच शीघ्र पूरी करने के साथ ही कार्रवाई करे।
मुख्य न्यायाधीश देवेंद्र कुमार उपाध्याय और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की पीठ ने सरकार के सतर्कता विभाग को दो सप्ताह के भीतर जांच अधिकारी नियुक्त करने का आदेश दिया।
पीठ ने यह आदेश तब पारित किया जब सरकार के अतिरिक्त मुख्य सचिव (गृह) ने अदालत को बताया कि वह सतर्कता विभाग के साथ इस मामले को आगे बढ़ाएंगे और यह सुनिश्चित करेंगे कि जांच के लिए एक अधिकारी नियुक्त किया जाए और जांच यथाशीघ्र पूरी की जाए।
पीठ ने कहा, ‘‘एक बार अधिकारी की नियुक्ति हो जाने के बाद, आरोपपत्र तैयार करने, उसकी मंजूरी और निष्कर्ष जैसी अपेक्षित औपचारिकताएं भी इसी छोटी सी अवधि के भीतर पूरी की जाएंगी।’’
अदालत तिहाड़ जेल में अवैधता, कदाचार और दुर्व्यवहार के बारे में चिंता जताने वाली याचिका पर सुनवाई कर रही थी।
याचिका में आरोप लगाया गया है कि जेल के अंदर कैदियों की मदद से और जेल अधिकारियों की मिलीभगत से जबरन वसूली का रैकेट चलाया जा रहा है। (भाषा)


