दुर्ग

खारिज किया जाए-राजकुमार गुप्त
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 1 जुलाई। पिछले सालों में घाटा का हवाला देते हुए लाईसेंसी बिजली कंपनी सीएसपीएल ने विद्युत नियामक आयोग के समक्ष याचिका प्रस्तुत किया है और अगले साल विद्युत के टैरिफ में वृद्धि करने का आग्रह किया है इसका विरोध करते हुए छत्तीसगढ़ प्रगतिशील किसान संगठन के संयोजक राजकुमार गुप्त ने प्रक्रिया का सवाल उठाते हुए याचिका को खारिज करने का आग्रह किया है।
किसान संगठन के नेता ने कहा है कि लाईसेंसी बिजली कंपनी सीएसपीडीसीएल ने आयोग के समक्ष दिसम्बर 2024 में याचिका दायर किया था, लाईसेंसी बिजली कंपनी ने इस दौरान अनेक बार याचिका में कांट छांट किया है जबकि न्यायिक प्रक्रिया के अनुसार उन्हें अमेंडमेंट करकै नई याचिका दायर करना था इसके अलावा दिसम्बर में किये गये प्रार्थना को बाद में वापस ले लिया था अत: न्यायिक प्रक्रिया का पालन नहीं करने के आधार पर याचिका खारिज किया जाना चाहिए।
आयोग की निष्पक्षता पर सवाल खड़े करते हुए किसान संगठन के नेता ने कहा कि याचिका पेश करने के 6 माह बाद जनसुनवाई आयोजित किया गया है जिससे संदेह पैदा होता है, जनसुनवाई की सूचना आनन फानन में मात्र 2 दिन के समय में बस्तर और सरगुजा जेसे दूर दराज के उपभोक्ताओं का जनसुनवाई में शामिल होना नामुमकिन है ऐसा लगता है आयोग की मंशा है कि कय से कम संख्या में उपभोक्ताओं की भागीदारी हो,
बिजली टैरिफ वृद्धि करना लाखों बिजली उपभोक्ताओं के साथ अन्याय होगा
किसान संगठन के नेता ने टैरिफ में वृद्धि करने की मांग वाले याचिका का विरोध करते हुए आयोग से कहा है वर्तमान टैरिफ में ही लाईसैंसी बिजली कंपनी को लाभ हुआ था इसलिए भी टैरिफ में वृद्धि किया जाना लाखों बिजली उपभोक्ताओं के साथ अन्याय होगा।
आयोग का ध्यान कृषि और ग्रामीण क्षेत्र में विद्युत आपूर्ति की गुणवत्ता की ओर दिलाते हुए किसान संगठन के नेता ने कहा मांग के अनुरूप ट्रांसफार्मर और कंडक्टर की क्षमता को बदलने की जरूरत है, लाईसेंसी कंपनी कृषि और ग्रामीण क्षेत्र में उपेक्षा और भेदभाव करती है जबकि इस क्षेत्र से बिजली के बिलों की शत प्रतिशत वसूली कंपनी को होती है, सुधार कार्य की कमी और सामग्री उपलब्ध नहीं होने के कारण ब्रेकडाउन की स्थिति में कई दिनों तक सुधार नहीं हो पाता।