महासमुन्द

पीडि़ताओं ने कहा-फर्जी खाता खोल उनके नाम से निकाले कर्ज
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुंद, 27 नवंबर। शासकीय योजनाओं का लाभ दिलाने के नाम पर पिरदा बसना निवासी एक युवक ने 138 महिलाओं के खातों से लाखों रुपए आहरण कर फरार हो गया। उक्त युवक द्वारा खोले गए खाते में महिलाओं की महतारी वंदन की राशि आती है। जो अब सीधे ठग युवक के पास पहुंच रही है। इस मामले की शिकायत महिलाओं ने अनुविभागीय अधिकारी बसना एवं थाना प्रभारी बसना को 4 अक्टूबर 2024 को की थी। लेकिन माह भर बाद भी पुलिस ने इस मामले में किसी भी तरह की कार्रवाई नहीं की। फलस्वरूप 138 महिलाओं सहित पिरदा सरपंच तथा अन्य ग्रामीण कल कलेक्टर जनदर्शन में इस आशय की शिकायत करने पहुंचे थे। समाचार लिखते तक आरोपी ठग युवक सुदर्शन साहू तथा फायनेंस कर्मी मिथलेश दीवान, मनोज साहू के विरुद्ध प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कराने की मांग की गई है, छानबीन जारी है।
कलेक्टोरेट पहुंची महिलाओं ने बतया कि एक माह वे सभी अनुसूचित जाति वर्ग की हैं और मजदूरी कर मुश्किल से अपने परिवार का भरण पोषण करती हैं। पिछले 2-3 सालों से ग्राम पंचायत पिरदा निवासी सुदर्शन साहू ने बसना के निजी फायनेंस कर्मचारी के कुछ युवकों के साथ मिलकर शासकीय योजनाओं का लाभ दिलाने सभी के अंगूठा का निशान मशीन में लगवाया था। लेकिन हमारे नाम से छोटे व्यवसाय के लिये वह लगातार कर्ज निकालता रहा। उस कर्ज की जानकारी किसी भी महिला को नहीं थी।
उन्होंने बताया कि अधिकांश महिलाओं को शासकीय योजना के नाम पर प्रेशर कुकर तथा टॉर्च देकर प्रलोभन में लिया था। चूंकि महिलाएं कम पढ़ी लिखी थीं। अत: उसके धोखे में आ गई और मशीन में अंगूठा लगा दिया। महिलाओं को इस बात का जरा भी भनक नहीं हुआ कि उनके नाम से लाखों के कर्ज निकाले गए हैं। कंपनी के अन्य कर्मचारी जब वसूली के लिए महिलाओं के पास पहुंचे तब पता चला कि वे ठगी का शिकार हो चुकी हैं।
महिलाओं ने बताया कि इस कर्ज की वजह से अब उनके परिवार में आपसी विवाद शुरू हो गया है। अनेक परिवार टूटने की कगार हैं। परिवार कर्ज में डूब चुका है। अनेक महिलाएं साहूकारों से कर्ज लेकर अपना घर चला रही है। उक्त महिलाओं का अकांउट नंबर ठग के पास है। इसलिए उन्हें शासकीय योजना महतारी वंदन, वृद्धा पेंशन, पुरानी पेंशन योजना का भी लाभ नहीं मिल पा रहा है। उपस्थित महिलाओं का नेतृत्व रजनी देवांगन, कुसुम देवांगन, बसंती यादव, टीना प्रधान, सुमित्रा कर रही थी।