ताजा खबर
-विष्णु नारायण
बिहार में होने जा रहे स्थानीय निकाय चुनावों में अन्य पिछड़ा वर्ग और अत्यंत पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षण के प्रावधान को पटना हाई कोर्ट ने मंगलवार को 'अवैध' करार दिया है.
चीफ़ जस्टिस संजय करोल और जस्टिस एस कुमार की खंडपीठ ने राज्य निर्वाचन आयोग को ये निर्देश दिया कि अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए चिह्नित की गई सीटों को सामान्य वर्ग के लिए खोले जाने के बाद अधिसूचना जारी करने के बाद ही चुनाव कराए जा सकते हैं.
छुट्टी के दिन दिए गए हाई कोर्ट के इस फ़ैसले की वजह चल रही चुनाव प्रक्रिया में अनिश्चितता आ गई है. बिहार निकाय चुनाव के पहले चरण का चुनाव 10 अक्टूबर को निर्धारित है और इसमें हफ़्ते भर से भी कम समय रह गया है.
इस फ़ैसले के बाद अक्टूबर महीने में होने वाले 'नगर निकाय चुनाव' के संदर्भ में पटना हाई कोर्ट के फैसले पर विवाद छिड़ता नज़र आ रहा है.
सूबे में नगर निकाय चुनाव दो चरणों में 10 और 20 अक्टूबर को होने तय थे, लेकिन इससे पहले सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर पटना हाई कोर्ट के भीतर जारी सुनवाई में मंगलवार को आए फैसले पर जदयू और भाजपा के नेतागण आमने-सामने आते नज़र आ रहे हैं.
हाई कोर्ट ने सूबे के भीतर होने वाले नगर निकाय चुनाव के संदर्भ में फैसला सुनाते हुए कहा कि राज्य निर्वाचन आयोग अत्यंत पिछड़ा वर्ग (ईबीसी) के लिए आरक्षित 20% सीटों को जनरल कर नए सिरे से नोटिफिकेशन जारी करे.
जदयू और भाजपा आमने-सामने
एक तरफ जहां सत्तारूढ़ दल जदयू की ओर से पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा भाजपा पर थोथी और बेईमानी भरा बयान देकर अतिपिछड़ों/पिछड़ों की आंखों में धूल झोंकने का आरोप लगा रहे हैं. साथ ही कह रहे हैं कि यदि कोर्ट यह कह रहा है कि आयोग जातीय पिछड़ापन के आंकड़े और अनुपात की बात कर रहा है, तो उसी के लिए तो जातीय जनगणना की जरूरत है.
वहीं भाजपा के राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी ने कोर्ट के फैसले पर कहा है कि अति पिछड़ों को नगर निकाय चुनाव में आरक्षण से वंचित करने के लिए नीतीश कुमार जिम्मेदार हैं. उन्होंने यह भी कहा कि जातीय गणना से हाई कोर्ट के निर्णय का कोई सम्बन्ध नहीं है.
सुप्रीम कोर्ट में दायर की गई थी याचिका
यहां हम आपको बताते चलें कि सुनील कुमार नामक शख्स ने नगर निकाय चुनाव के भीतर जारी आरक्षण के फॉर्मूले को लेकर सुप्रीम कोर्ट में रिट याचिका दायर की थी. ऐसे में सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर पटना हाई कोर्ट के भीतर सुनवाई चली.
इस संदर्भ में तीन सुनवाई हुईं. पहली और दूसरी सुनवाई 28 और 29 सितंबर को हुई थी, लेकिन तीसरी सुनवाई के बाद कोर्ट ने अपना अंतिम फैसला आज को सुनाया.
सरकार की दलील -चुनाव कराने का फैसला सही
ज्ञात हो कि सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के बाद पटना हाई कोर्ट में इस मामले को लेकर सुनवाई हुई. राज्य की ओर से महाधिवक्ता ललित किशोर के साथ ही सुप्रीम कोर्ट के सीनियर एडवोकेट विकास सिंह सरकार की तरफ से पक्ष रख रहे थे.
वहीं याचिका दाखिल करने वाले पक्ष का कहना था कि नगर निकाय चुनाव में आरक्षण के संदर्भ में सुप्रीम कोर्ट के फैसले की अनदेखी हुई. याचिकाकर्ताओं ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले के हवाले से ही कहा कि नगर निकाय चुनावों में आरक्षण की सीमा 50% से ज्यादा नहीं होनी चाहिए, लेकिन बिहार में ऐसा ही हो रहा है. (bbc.com/hindi)
ईरान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता उन रिपोर्टों को 'बेबुनियाद' बताया है जिनमें ये दावा किया गया था कि यूक्रेन युद्ध में इस्तेमाल के लिए ईरान रूस को ड्रोन की सप्लाई कर रहा है.
आईएलएनए न्यूज़ एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार, विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता नासिर कनानी का ये बयान यूक्रेन के दावे के बाद आया है.
यूक्रेन ने कहा था कि उसने कुछ ईरान निर्मित ड्रोन ज़ब्त किया है जिनका इस्तेमाल रूस ने यूक्रेन के ख़िलाफ़ युद्ध में किया था. कनानी ने कहा, "ईरान का ये मानना है कि यूक्रेन युद्ध में इस्तेमाल के लिए रूस को ड्रोन दिए जाने से संबंधित रिपोर्टें बेबुनियाद हैं."
उन्होंने कहा कि यूक्रेन युद्ध की शुरुआत से ही ईरान का रुख़ जंग के ख़िलाफ़ रहा है. ईरान की नीति तटस्थता की रही है. यूक्रेन के ख़िलाफ़ इस्तेमाल के लिए रूस को ड्रोन देने के आरोपों से ईरान लगातार इनकार करता रहा है.
नासिर कनानी ने युद्ध के राजनीतिक समाधान की अपील करते हुए कहा कि विदेश मंत्री हुसैन आमिर अब्दुल्लाहियान ने कई मौकों पर रूस और यूक्रेन के अपने समकक्षों के साथ मुलाकात के दौरान शांतिपूर्ण हल निकालने की अपील की है.
मुंबई, 4 अक्टूबर। बम्बई उच्च न्यायालय ने महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा दर्ज किये गए धनशोधन के एक मामले में मंगलवार को जमानत दे दी।
अदालत ने हालांकि, ईडी को जमानत के खिलाफ अपील दायर करने के लिए आदेश पर 13 अक्टूबर तक रोक लगा दी।
अदालत ने अपने आदेश में कहा कि देशमुख परिवार द्वारा नियंत्रित ट्रस्ट के खाते में डाली गई दो राशि ‘‘अपराध से अर्जित आय’’ नहीं है, जिस पर ईडी ने संदेह जताया था।
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के नेता देशमुख को दो नवंबर, 2021 को गिरफ्तार किया गया था। वह केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा दर्ज भ्रष्टाचार के एक मामले का भी सामना कर रहे हैं।
न्यायमूर्ति एन. जे. जामदार ने अपने आदेश में कहा कि जमानत याचिका को स्वीकार कर लिया गया है और देशमुख को एक लाख रुपये के मुचलके पर रिहा किया जाएगा। हालांकि, अदालत ने आदेश पर 13 अक्टूबर तक रोक लगा दी, क्योंकि अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल अनिल सिंह ने कहा कि ईडी जमानत आदेश को चुनौती देने के लिए उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाएगी।
शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस की पूर्ववर्ती गठबंधन सरकार में मंत्री रह चुके देशमुख मुंबई के आर्थर रोड जेल में बंद हैं।
मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह द्वारा देखमुख के खिलाफ उगाही के आरोप लगाये जाने के पश्चात केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की ओर से एक मामला दर्ज करने के बाद ईडी ने उनके खिलाफ अपनी जांच शुरू की थी।
ईडी ने दावा किया कि देशमुख ने अपने आधिकारिक पद का दुरुपयोग किया और मुंबई के विभिन्न बार और रेस्तरां से 4.7 करोड़ रुपये एकत्र किए। ईडी ने यह भी आरोप लगाया कि गलत तरीके से अर्जित धन को नागपुर स्थित श्री साई शिक्षण संस्थान को भेजा गया, जो देशमुख के परिवार द्वारा नियंत्रित एक शैक्षणिक ट्रस्ट है।
हालांकि, उच्च न्यायालय ने मंगलवार को अपने आदेश में कहा कि ट्रस्ट के खाते में डाली गई दो राशि ‘‘अपराध से अर्जित आय’’ नहीं है। अदालत ने कहा, ‘‘खाते में (डाली गई) तीसरी राशि सचिन वाजे के बयान पर निर्भर करती है, जिस पर चर्चा के बाद इस अदालत ने माना है कि यह याचिकाकर्ता (देशमुख) के पक्ष में है।’’
न्यायाधीश ने कहा कि वह देशमुख को धनशोधन रोकथाम अधिनियम की धारा 45 के एक प्रावधान का लाभ भी दे रहे हैं। इस प्रावधान के तहत, यदि कोई आरोपी महिला है, या यदि वह बीमार है तो अदालत जमानत दे सकती है।
उच्च न्यायालय ने निर्देश दिया कि रिहा होने पर देशमुख सबूतों से छेड़छाड़ नहीं करेंगे। उसने कहा कि वह हर तारीख को मुकदमे में शामिल होंगे और अपना पासपोर्ट जमा करेंगे।
भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) अधिकारी परमबीर सिंह ने मार्च 2021 में आरोप लगाया था कि तत्कालीन गृह मंत्री देशमुख ने पुलिस अधिकारियों को मुंबई में रेस्तरां और बार से हर महीने 100 करोड़ रुपये वसूलने का लक्ष्य दिया था।
मार्च 2021 में उद्योगपति मुकेश अंबानी के आवास ‘एंटीलिया’ के बाहर एक वाहन में विस्फोटक मिलने के मामले में गिरफ्तार पूर्व सहायक पुलिस निरीक्षक वाजे ने भी इसी तरह के आरोप लगाए थे।
उच्च न्यायालय ने अप्रैल 2021 में सीबीआई को प्रारंभिक जांच करने का निर्देश दिया था। इस जांच के आधार पर सीबीआई ने देशमुख और उनके सहयोगियों के खिलाफ कथित भ्रष्टाचार और आधिकारिक पद के दुरुपयोग के लिए प्राथमिकी दर्ज की।
जिरह के दौरान, देशमुख के वकील विक्रम चौधरी और अनिकेत निकम ने दलील दी कि उनकी उम्र (72), स्वास्थ्य और उनकी कोई आपराधिक पृष्ठभूमि नहीं होने के मद्देनजर उन्हें जमानत दी जानी चाहिए। ईडी ने कहा कि वह जेल अस्पताल में इलाज करा सकते हैं।
उच्चतम न्यायालय ने उच्च न्यायालय को निर्देश दिया था कि वह राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के नेता देशमुख की याचिका पर तेजी से सुनवाई और फैसला करे, क्योंकि अर्जी छह महीने से लंबित है। (भाषा)
नयी दिल्ली, 4 अक्टूबर। देश के शीर्ष आठ शहरों में इस साल जुलाई-सितंबर तिमाही के दौरान घरों की औसत कीमतों में सालाना आधार पर तीन ने 10 प्रतिशत तक की वृद्धि हुई। वहीं संपत्तियों की मांग बढ़ने से कार्यालय स्थल के किराये में 13 प्रतिशत तक की वृद्धि हुई।
संपत्ति सलाहकार नाइट फ्रैंक इंडिया ने की रिपोर्ट ‘भारतीय रियल एस्टेट- कार्यालय और आवास बाजार जुलाई-सितंबर-2022’ में यह निष्कर्ष निकाला गया है।
रिपोर्ट के अनुसार, बेंगलुरु में 2022 कैलेंडर वर्ष की तीसरी तिमाही के दौरान औसत आवास मूल्य के साथ औसत कार्यालय किराये में सबसे अधिक वृद्धि देखी गई।
प्राथमिक आवास बाजार के आंकड़ों के मुताबिक, जुलाई-सितंबर तिमाही में बेंगलुरु में घरों की औसत कीमत 10 प्रतिशत बढ़कर 5,428 रुपये प्रति वर्ग फुट हो गई, जो एक साल पहले की समान अवधि में 4,928 रुपये प्रति वर्ग फुट थी।
वहीं दिल्ली-एनसीआर के बाजार में भी घरों की कीमत आठ प्रतिशत बढ़कर 4,489 रुपये प्रति वर्ग फुट हो गई।
आंकड़ों के अनुसार, मुंबई, पुणे, चेन्नई और हैदराबाद में आवासीय संपत्तियों की औसत कीमत में छह प्रतिशत की वृद्धि हुई। यह क्रमश: 7,170 रुपये प्रति वर्ग फुट, 4,250 रुपये प्रति वर्ग फुट, 4,300 रुपये प्रति वर्ग फुट और 4,977 रुपये प्रति वर्ग फुट हो गई।
कोलकाता में आवास कीमतें चार प्रतिशत बढ़कर 3,350 रुपये प्रति वर्ग फुट हो गईं, जबकि अहमदाबाद में औसत मूल्य तीन प्रतिशत बढ़कर 2,885 रुपये प्रति वर्ग फुट हो गया।
नाइट फ्रैंक की रिपोर्ट के अनुसार, देश के शीर्ष आठ शहरों में इस साल की तीसरी तिमाही में घरों की बिक्री 15 प्रतिशत बढ़कर 73,691 इकाई हो गई। एक साल पहले की समान तिमाही में कुल 64,010 घर बेचे गए थे। वहीं जनवरी-सितंबर के दौरान बिक्री 40 प्रतिशत बढ़कर 2,32,396 पहुंच गई।
रिपोर्ट में कहा गया है कि इस साल अर्थव्यवस्था के खुलने और कर्मचारियों की कार्यस्थल पर धीरे-धीरे वापसी के साथ कार्यालय स्थल की बेहतर मांग से भी किराये में वृद्धि हुई है। (भाषा)
संभल (उत्तर प्रदेश), 4 अक्टूबर। जिले के बहजोई इलाके में रामलीला के दौरान मंच पर अश्लील नृत्य का एक वीडियो वायरल होने के बाद पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज किया है।
पुलिस ने मंगलवार को बताया कि संभल में एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा था जिसमे रामलीला मंच पर अश्लील नृत्य हो रहा है। उन्होंने बताया कि उक्त मामले में पुलिस ने बहजोई थाना क्षेत्र के पंवासा की रामलीला कमेटी के 10 सदस्यों व नर्तकों के खिलाफ मामला दर्ज कर निरोधात्मक कार्यवाही की है।
अपर पुलिस अधीक्षक श्रीश चंद्र ने बताया कि संभल में रामलीला मैदान के मंच पर अश्लील नृत्य का वीडियो वायरल होने के बाद उसपर संज्ञान लिया गया है। उन्होंने कहा, ऐसी सूचना मिली है कि उक्त वीडियो बहजोई थाना क्षेत्र के पंवासा गांव की रामलीला का है।
पुलिस ने बताया कि इस सिलसिले में रामलीला कमेटी के विनोद, सचिन, देवेंद्र, बंटी, गुप्ता, मनोज, सोनू, मोहित, विपिन, देवेंद्र व पुष्पेंद्र तथा अज्ञात नर्तकों के खिलाफ मामला दर्ज कर निरोधात्मक कार्यवाही की गई है साथ ही भविष्य में इसकी पुनरावृति न करने की चेतावनी भी दी गई है। (भाषा)
तिरुवनंतपुरम, 4 अक्टूबर। कांग्रेस अध्यक्ष पद के उम्मीदवार शशि थरूर ने मंगलवार को दावा किया कि पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी से कुछ नेताओं ने आग्रह किया था कि वह उनसे (थरूर से) नामांकन वापस लेने के लिए कहें।
चुनाव प्रचार के लिए केरल पहुंचे थरूर ने संवाददाताओं से यह भी कहा कि राहुल गांधी ने ऐसा आग्रह करने वाले नेताओं से कहा कि वह नामांकन वापस लेने के लिए नहीं कहेंगे क्योंकि चुनावी मुकाबले से पार्टी को फायदा होगा।
तिरुवनंतपुरम से लोकसभा सदस्य ने कहा, ‘‘उन्होंने (राहुल ने) मुझे याद दिलाया कि वह पिछले 10 वर्षों से कह रहे हैं कि पार्टी के अध्यक्ष पद के लिए चुनाव होना चाहिए।’’
थरूर ने दावा किया, ‘‘उन्होंने (राहुल ने) मुझे यह भी बताया कि कुछ लोगों ने उनसे आग्रह किया था कि वह मुझसे नामांकन वापस लेने के लिए कहें। उन्होंने मुझे बताया कि वह ऐसा नहीं करेंगे। राहुल गांधी ने कहा कि मुझे नामांकन वापस नहीं लेना चाहिए और मुकाबले में बने रहना चाहिए।’’
इससे पहले, थरूर ने कहा कि उन्होंने कभी भी पार्टी के बड़े नेताओं से समर्थन की उम्मीद नहीं की थी और अब भी नहीं करते हैं, लेकिन उन्हें सभी लोगों के साथ की जरूरत है।
थरूर ने यह बयान ऐसे समय पर दिया है जब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष के. सुधाकरन ने सार्वजनिक रूप से यह घोषणा की है कि वह थरूर के प्रतिद्वंद्वी मल्लिकार्जुन खड़गे का समर्थन करेंगे।
तिरुवनंतपुरम से लोकसभा सदस्य थरूर ने संवाददाताओं से कहा कि वह चुनाव से पीछे हटकर उन लोगों के साथ विश्वासघात नहीं करना चाहते जो अब तक उनका समर्थन करते आ रहे हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘मैं पार्टी के बड़े नेताओं से किसी तरह के समर्थन की उम्मीद नहीं कर रहा था और अब भी नहीं कर रहा हूं। वास्तव में, पिछले दिनों मैंने नागपुर, वर्धा और हैदराबाद में पार्टी के कार्यकर्ताओं से मुलाकात की थी। कार्यकर्ता मुझसे चुनाव लड़ने और इससे पीछे नहीं हटने के लिए कह रहे हैं।’’
थरूर का कहना था, ‘‘मैंने उन्हें भरोसा दिलाया है कि मैं पीछे नहीं हटूंगा। मैं उन लोगों के साथ विश्वासघात नहीं करूंगा जिन्होंने अब तक मेरा समर्थन किया है। मुझ पर उनका जो विश्वास है वही मुझे आगे बढ़ने की ताकत देता है।’’
कांग्रेस सांसद के अनुसार, उनके ज्यादातर समर्थक युवा नेता हैं और पार्टी कार्यकर्ता हैं, हालांकि उन्हें हर किसी के समर्थन की जरूरत है।
यह पूछे जाने पर कि क्या सुधाकरन की टिप्पणी उन लोगों को हतोत्साहित करने के लिए है जो उनका समर्थन कर रहे हैं, तो थरूर ने कहा, ‘‘हो सकता है। लेकिन मैं ऐसा नहीं कर रहा हूं। मैं यह नहीं बता सकता कि लोगों के दिमाग में क्या चल रहा है। मैं सिर्फ एक चीज कहूंगा कि चाहे कोई कुछ गुप्त रूप से कहे या सार्वजनिक रूप से कहे, मतदान गोपनीय है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘कोई नहीं जान पाएगा कि किसने किसे वोट दिया। लोग अपनी मर्जी और विश्वास के अनुसार मतदान कर सकते हैं। वे फैसला कर सकते हैं कि वे पार्टी को मजबूत करने और भविष्य की चुनौतियों का मुकाबला करने की खातिर इसे तैयार करने के लिए किसे चुनना चाहते हैं।’’
थरूर का यह भी कहना था कि सुधाकरन ने संभवत: अपने निजी फैसले और प्राथमिकता के बारे में बताया है और इसमें कुछ गलत भी नहीं है।
उनके अनुसार, सुधाकरन किसी को निर्देशित नहीं कर सकते क्योंकि पार्टी की ओर से जारी दिशानिर्देश में स्पष्ट किया गया है कि कोई पदाधिकारी किसी उम्मीदवार का प्रचार नहीं करेगा।
कांग्रेस के केंद्रीय चुनाव प्राधिकरण ने सोमवार को जारी दिशानिर्देश में कहा था कि अध्यक्ष पद के चुनाव में यदि पार्टी का कोई पदाधिकारी किसी उम्मीदवार के पक्ष या विरोध में प्रचार करना चाहता है तो उसे पहले संगठन की जिम्मेदारी छोड़नी होगी।
खड़गे और थरूर कांग्रेस अध्यक्ष पद के चुनाव में उम्मीदवार हैं। यदि पार्टी के इन दोनों नेताओं में से कोई भी अपना नामांकन वापस नहीं लेते हैं, तो 17 अक्टूबर को मतदान होगा, जिसमें 9,000 से अधिक डेलीगेट (निर्वाचक मंडल के सदस्य) मतदान करेंगे। मतगणना 19 अक्टूबर को होगी। (भाषा)
नयी दिल्ली, 4 अक्टूबर। राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एनजीटी) ने पर्यावरण मंजूरी (ईसी) शर्त का उल्लंघन कर नोएडा में अतिरिक्त मंजिलें बनाने के लिए एक बिल्डर को 15 करोड़ रुपये का हर्जाना देने का निर्देश दिया है। अधिकरण ने कहा कि बिल्डर के इस कदम से पर्यावरण पर प्रदूषण का अतिरिक्त भार पड़ा है।
अधिकरण ‘एक्सप्रेस बिल्डर्स एंड प्रमोटर्स प्राइवेट लिमिटिड’ द्वारा उत्तर प्रदेश में नोएडा के सेक्टर 77 में ‘एक्सप्रेस जेनिथ’ के निर्माण में ईसी शर्तों के उल्लंघन के खिलाफ दायर याचिका पर सुनवाई कर रहा था।
एनजीटी अध्यक्ष न्यायमूर्ति ए के गोयल की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि यह स्थापित किया गया है कि भूतल व 18 मंजिलों के लिए पर्यावरण मंजूरी दी गई थी, जबकि बिल्डर ने पांच टावरों में भूतल व 19 मंजिलों का निर्माण किया।
पीठ में न्यायमूर्ति सुधीर अग्रवाल और विशेषज्ञ सदस्य ए सेंथिल वेल और अफरोज अहमद भी शामिल थे। पीठ ने कहा कि अतिरिक्त मंजिलों के निर्माण ने पर्यावरण पर प्रदूषण का अतिरिक्त भार डाला और बिल्डर हर्जाना देने के लिए उत्तरदायी है।
पीठ ने बिल्डर को 15 करोड़ रुपये एक महीने के अंदर गौतमबुद्ध नगर जिले के जिलाधिकारी को जमा कराने का निर्देश दिया। (भाषा)
नयी दिल्ली, 4 अक्टूबर। वायुसेना प्रमुख एअर चीफ मार्शल वीआर चौधरी ने मंगलवार को स्पष्ट किया कि भारतीय वायुसेना तीनों शाखाओं की ‘थिएटर’ कमान योजना के विरोध में नहीं है, लेकिन प्रस्तावित संरचनाओं में बल के सैद्धांतिक पहलुओं से समझौता नहीं किया जाना चाहिए।
उन्होंने आठ अक्टूबर को वायुसेना दिवस से पहले एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि यह देखते हुए कि कोई भी एकल सेवा अपने दम पर युद्ध नहीं जीत सकती, वायुसेना ने हाल ही में अपने सिद्धांत को अद्यतन और संशोधित किया है जिससे कि यह प्रासंगिक बना रहे।
एअर चीफ मार्शल चौधरी ने कहा कि भारतीय वायुसेना को तीनों सेवाओं (थलसेना, वायुसेना और नौसेना) की एकीकरण प्रक्रिया के तहत प्रस्तावित संरचनाओं के कुछ पहलुओं के बारे में आपत्ति है, लेकिन वह समग्र योजना का समर्थन करती है जिसका उद्देश्य तीनों सेवाओं में तालमेल सुनिश्चित करना है।
जनरल अनिल चौहान के पिछले हफ्ते नए प्रमुख रक्षा अध्यक्ष (सीडीएस) के रूप में कार्यभार संभालने के साथ यह उम्मीद की जाती है कि तीनों सेवाओं की महत्वाकांक्षी थिएटर कमान प्रक्रिया आगे बढ़ेगी।
योजना पर एक सवाल का जवाब देते हुए चौधरी ने कहा, “हम एकीकरण की किसी भी प्रक्रिया और थिएटर कमान की किसी भी प्रक्रिया का विरोध नहीं कर रहे हैं। संरचनाओं के संबंध में हमारी कुछ आपत्तियां हैं।”
वर्तमान में थलसेना, नौसेना और वायुसेना के पास अलग-अलग कमान हैं। शुरू में एक वायु रक्षा कमान और समुद्री थिएटर कमान बनाने के लिए योजना तैयार की गई थी। एक आम धारणा रही है कि भारतीय वायुसेना थिएटर कमान योजना को लेकर बहुत उत्सुक नहीं है।
एअर चीफ मार्शल चौधरी ने कहा कि साइबर और अंतरिक्ष सहित भविष्य की चुनौतियों को ध्यान में रखते हुए नए ढांचे का निर्माण किया जाना चाहिए और निर्णय लेने की प्रक्रिया पर स्पष्टता होनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि नए ढांचे के तहत निर्णय लेने के चरणों में कमी होनी चाहिए।
एअर चीफ मार्शल ने कहा, “हम एकीकरण प्रक्रिया का पूरी तरह से समर्थन कर रहे हैं, हम केवल कार्यप्रणाली और जिस तरह की संरचनाओं को भविष्य के लिए तैयार करने की आवश्यकता है, उस पर जोर दे रहे हैं।”
उन्होंने कहा, “प्रत्येक सेवा का एक सिद्धांत होता है। भारतीय वायुसेना के सैद्धांतिक पहलुओं से किसी भी तरह से समझौता नहीं किया जाना चाहिए।”
वायुसेना प्रमुख ने कहा कि उनके बल को वैश्विक ‘एयरोस्पेस’ शक्ति में बदला जा रहा है।
उन्होंने कहा, “वायुसेना में स्वतंत्र रणनीतिक संचालन के साथ-साथ सहयोगी सेवाओं और राष्ट्रीय सुरक्षा तंत्र की अन्य शाखाओं के साथ समन्वय में संचालन करने की अनूठी क्षमता है।"
एअर चीफ मार्शल चौधरी ने कहा कि भारतीय वायुसेना भविष्य के युद्धों में संयुक्त योजना और क्रियान्वयन की अनिवार्यता को समझती है और यह तीनों सेवाओं के प्रयासों को एकीकृत करने की इच्छुक है।
वायुसेना प्रमुख ने कहा, “हम मानते हैं कि एकीकरण का जो प्रारूप हम अपनाते हैं वह भविष्य के लिए तैयार होना चाहिए, इसमें निर्णय लेने के स्तरों को कम करना चाहिए, और तीनों सेवाओं की ताकत का अधिकतम उपयोग किया जाना चाहिए।”
उन्होंने कहा, “हमें एक ऐसे संगठनात्मक ढांचे की जरूरत है जो भारतीय परिस्थितियों और हमारी भू-राजनीतिक अनिवार्यताओं के लिए सबसे उपयुक्त हो।”
भारत के प्रथम सीडीएस जनरल बिपिन रावत थिएटर कमान मॉडल के क्रियान्वयन की जिम्मेदारी देख रहे थे लेकिन पिछले साल आठ दिसंबर को तमिलनाडु में एक हेलीकॉप्टर दुर्घटना में उनकी मौत के बाद यह प्रक्रिया अटक गई थी।
वायुसेना प्रमुख ने कहा, “परंपरागत रूप से, युद्ध जमीन, समुद्र और हवा में लड़े जाते हैं। आज साइबर और अंतरिक्ष जैसे नए आयाम पारंपरिक क्षेत्रों में भी संचालन को प्रभावित कर रहे हैं।”
उन्होंने कहा, “इन बदलावों का आत्मसात करने के लिए वायुसेना परिवर्तन की राह पर है जिससे हम कल के युद्ध लड़ व जीत सकें।” (भाषा)
इंदौर, 4 अक्टूबर । भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने मंगलवार को यहां दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ तीसरे और अंतिम टी20 अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच में टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया।
भारत ने इस मुकाबले के लिए विराट कोहली और लोकेश राहुल को आराम दिया है जबकि अर्शदीप सिंह की पीठ में तकलीफ है। इन तीनों की जगह श्रेयस अय्यर, उमेश यादव और मोहम्मद सिराज को अंतिम एकादश में जगह मिली है।
दक्षिण अफ्रीका ने एनरिच नोर्किया को आराम देते हुए ड्वेन प्रिटोरियस को टीम में शामिल किया है।(भाषा)
नयी दिल्ली, 4 अक्टूबर। दूरसंचार कंपनी रिलायंस जियो पांच अक्टूबर यानी दशहरा से देश के चार शहरों में 5जी सेवा का ‘बीटा परीक्षण’ शुरू करेगी। ये चार शहर हैं...दिल्ली, मुंबई, कोलकाता और वाराणसी।
कंपनी ने मंगलवार को बयान में कहा कि अभी यह सेवा आमंत्रण आधार पर होगी। यानी मौजूदा जियो ग्राहकों में से कुछ चुनिंदा उपयोगकर्ताओं को इस सेवा का इस्तेमाल करने के लिये आमंत्रण भेजा जाएगा।
कंपनी अपने ग्राहकों को इसके साथ शुरुआती पेशकश करेगी। इसके तहत उपयोगकर्ताओं को एक जीबीपीएस (गीगाबिट प्रति सेकंड) तक की गति और असीमित 5जी डेटा मिलेगा।
जियो ने कहा, ‘‘कंपनी दशहरा से ट्रू-5जी सेवा के बीटा परीक्षण करने जा रही है। यह सेवा चार शहरों...मुंबई, दिल्ली, कोलकाता और वाराणसी में शुरू होगी।’’
बयान के अनुसार, आमंत्रित ग्राहकों को शुरुआती पेशकश के तहत अपना मौजूदा जियो सिम नहीं बदलना होगा। बस उसका मोबाइल 5जी होना चाहिए। जियो ट्रू 5जी सेवा स्वत: काम करने लगेगी।
कंपनी के अनुसार, नेटवर्क के स्तर पर जैसे-जैसे शहर तैयार होते जाएंगे, वहां ‘बीटा परीक्षण’ सेवा शुरू करने की घोषणा की जाएगी। उपयोगकर्ता इस ‘बीटा परीक्षण’ का लाभ तबतक उठा पाएंगे जबतक कि शहर का ‘नेटवर्क कवरेज’ पर्याप्त रूप से मजबूत नहीं हो जाता।
रिलायंस जियो इन्फोकॉम के चेयरमैन आकाश अंबानी ने कहा, ‘‘... जियो ने भारत जैसे बड़े देश के लिए सबसे तेज 5जी के क्रियान्वयन की योजना तैयार की है। यह दुनिया का सबसे अत्याधुनिक 5जी नेटवर्क होगा, जिसे भारतीयों ने, भारतीयों के लिये बनाया है।’’ उन्होंने कहा, “5जी एक ऐसी सेवा नहीं हो सकती जो कुछ विशेषाधिकार प्राप्त लोगों के लिए या सिर्फ बड़े शहरों तक उपलब्ध हो। यह पूरे भारत में हर नागरिक, हर घर और हर व्यवसाय के लिए उपलब्ध होनी चाहिए। तभी हम अपनी पूरी अर्थव्यवस्था में उत्पादकता, कमाई और जीवन स्तर में मूलभूत बदलाव ला सकते हैं।’’ (भाषा)
इंदौर, 4 अक्टूबर। भारत और दक्षिण अफ्रीका के बीच टी20 मैच से एक दिन पहले इंदौर नगर निगम ने बकाया करों के भुगतान को लेकर मध्यप्रदेश क्रिकेट संघ के कार्यालय पर छापा मारा है जबकि पदाधिकारियों का दावा है कि मैच के मुफ्त पास लेने के लिये यह हथकंडे अपनाये गए हैं ।
एमपीसीए के अध्यक्ष अभिलाष खांडेकर ने पीटीआई को बताया ,‘‘आईएमसी टीम सोमवार की सुबह हमारे कार्यालय पहुंची और बकाया करों के भुगतान की मांग करके अकाउंट्स विभाग में खूब हंगामा किया । वे रोड सेफ्टी सीरिज के मैचों के लिये मनोरंजन कर जमा करने की मांग कर रहे थे जिनका आयोजन एमपीसीए ने नहीं किया था ।’’
उन्होंने कहा कि छापे की कार्रवाई ऐसे समय पर की गई क्योंकि नगर निगम के अधिकारी और मुफ्त पास चाहते थे ।
उन्होंने कहा ,‘‘ हमने उन्हें 25 मुफ्त पास दिये और उन्हें और भी चाहिये । यही वजह है कि इतने अहम अंतरराष्ट्रीय मैच से एक दिन पहले उन्होंने छापा मारा ।’’
इंदौर नगर निगमायुक्त लता अग्रवाल ने हालांकि कहा कि एमपीसीए ने ने पिछले पांच साल से कचड़े और पानी का कर नहीं भरा है ।
उन्होंने कहा ,‘‘ हमारे सहायक राजस्व अधिकारी उन्हें पिछले दो महीने से उन्हें बारबार याद दिला रहे हैं लेकिन उन्होंने कर भरा नहीं ।’’
मुफ्त पास के लिये छापे के एमपीसीए के आरोप पर उन्होंने कहा कि नगर निगम शहर की आधी आबादी के लिये टिकट खरीद सकता है और इसके लिये एमपीसीए को धमकाने की जरूरत नहीं है ।
खांडेकर ने कहा कि संपत्ति कर भरने का समय 31 मार्च 2023 तक है लेकिन एमपीसीए ने सोमवार को ही 32 लाख रूपये जमा कर दिये थे ताकि आगे कोई विवाद नहीं हो ।
अग्रवाल ने भी इसकी पुष्टि की कि एमपीसीए ने सोमवार को उनकी टीम के पहुंचने के बाद 32 लाख रूपये संपत्ति कर भरा। (भाषा)
नयी दिल्ली, 4 अक्टूबर। दिल्ली उच्च न्यायालय ने कहा है कि निष्पक्ष सुनवाई संवैधानिक लक्ष्य और प्रत्येक व्यक्ति का मूलभूत अधिकार है, जिससे आरोपी को अपना बचाव करने का अवसर मिलता है।
उच्च न्यायालय ने यह भी कहा कि सच्चाई का पता लगाना और किसी सही व न्यायसंगत निर्णय पर पहुंचना प्रत्येक अदालत का संवैधानिक कर्तव्य है ताकि किसी पक्ष को उचित अवसर न मिलने के कारण न्याय से वंचित न होना पड़े।
अदालत ने यौन अपराध के मामले में एक आरोपी की याचिका पर ये टिप्पणियां कीं। याचिका में निचली अदालत के उस आदेश को चुनौती दी गई है, जिसमें पीड़िता समेत दो गवाहों से दोबारा पूछताछ करने की आरोपी की याचिका खारिज कर दी गई थी।
आईपीसी की धारा 376, 506 और यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) की धारा 6 के तहत कथित अपराधों के लिए मुकदमे का सामना कर रहे याचिकाकर्ता ने कहा कि उसका वकील दो गवाहों से जिरह नहीं कर पाया और यह बात उसके लिए पूर्वाग्रह पैदा कर रही है क्योंकि इससे मामले का परिणाम प्रभावित होगा।
याचिकाकर्ता ने कहा कि पीड़िता की आयु को लेकर विवाद है। आरोपी ने मामले को पॉक्सो अधिनियम के दायरे में नहीं लाने और निचली अदालत के आदेश को रद्द करने की अपील की।
न्यायमूर्ति स्वर्ण कांता शर्मा ने याचिकाकर्ता को दिल्ली उच्च न्यायालय अधिवक्ता कल्याण कोष में 5,000 रुपये जमा कराकर गवाहों से जिरह कराने की अनुमति दे दी और कहा, “सत्य का पता लगाने और न्यायसंगत व सही निर्णय पर पहुंचने के लिए किसी भी व्यक्ति के पास “पूछताछ, जांच और दोबारा पूछताछ कराने के लिए व्यापक विवेकाधीन शक्तियां” है लेकिन इसे विवेकपूर्ण तरीके से इस्तेमाल किया जाना चाहिए न कि मनमाने ढंग से।”
अदालत ने अपने हालिया आदेश में कहा, “सच्चाई का निर्धारण करने और एक सही व न्यायसंगत निर्णय तक पहुंचना प्रत्येक न्यायालय का संवैधानिक कर्तव्य है ताकि किसी पक्ष को उचित अवसर न मिलने के कारण न्याय से वंचित न होना पड़े। यदि मामले से संबंधित किसी सबूत को पेश करने की मांग की जाती है, तो सीआरपीसी की धारा 311 के तहत शक्तियों का इस्तेमाल किया जाना चाहिए। निष्पक्ष सुनवाई संवैधानिक लक्ष्य और प्रत्येक व्यक्ति का मूलभूत अधिकार है। (भाषा)
जम्मू, 4 अक्टूबर। जम्मू-कश्मीर के जेल महानिदेशक हेमंत के. लोहिया की हत्या के आरोपी की डायरी में हाल में लिखी गईं बातों से पता चला है कि वह “अवसाद में” था। उसकी डायरी में “मैं अपने जीवन से नफरत करता हूं” और “ऐ मौत मैं तेरा इंतजार करता हूं” जैसी बातें लिखी हुईं मिलीं हैं। साथ ही गम और अंतिम विदाई से जुड़े बॉलीवुड के गीत भी लिखे मिले हैं।
रातभर चली तलाश के बाद लोहिया के घरेलू सहायक यासिर लोहार (23) को गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस के अनुसार ऐसा प्रतीत होता है कि वह अपनी जिंदगी से तंग आ गया था।
लोहार ने अपनी डायरी में हिंदी और टूटी-फूटी अंग्रेजी में कुछ वाक्य लिखे हैं जैसे: “आई वांट टू री-स्टार्ट माय लाइफ, जिंदगी तो बस तकलीफ देती है, सुकून तो मौत ही देती है और “एवरी डे स्टार्ट्स विद एक्सपैक्टेशन बट एंड्स विद बैड एक्सपीरिएंस”।
लोहार ने अपनी डायरी में बॉलीवुड फिल्म “आशिकी-2” का लोकप्रिय गीत “भुला देना मुझे, है अलविदा तुझे” भी लिखा है, जिसमें जुदाई और विदाई को बयां किया गया है।
आरोपी ने लिखा है कि उसका जीवन “99 प्रतिशत गमगीन” है, लेकिन फिर भी “100 फीसदी झूठी मुस्कान” दिखानी पड़ती है।
लोहार ने लिखा है, “मैं 10 प्रतिशत खुश हूं। जीवन में प्यार एकदम जीरो फीसदी और 90 फीसदी तनाव है। मैं अपनी जिंदगी से नफरत करता हूं जो केवल दर्द देती है । नए जीवन के लिए मृत्यु की प्रतीक्षा करता हूं।”
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (जम्मू क्षेत्र) मुकेश सिंह ने बताया कि 1992 बैच के भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) के अधिकारी लोहिया (52) शहर के बाहरी इलाके में अपने उदयवाला निवास पर मृत मिले और उनका गला रेता गया था।
उन्होंने कहा, “लोहार करीब छह महीने से इस घर में काम कर रहा था।”
उन्होंने कहा, “शुरुआती जांच में पता चला कि वह काफी उग्र मिजाज का व्यक्ति था और अवसाद में भी था।”
उन्होंने कहा कि घटना स्थल की प्रारंभिक जांच से संकेत मिलता है कि लोहिया ने अपने पैर में तेल लगाया होगा, जिनमें सूजन दिखाई दे रही थी। उन्होंने कहा कि हत्यारे ने लोहिया का गला काटने के लिए ‘केचप’ की टूटी हुई बोतल का इस्तेमाल किया और बाद में शव जलाने की भी कोशिश की।
उन्होंने कहा, “जब वह (लोहिया) अपने पैरों पर बाम लगा रहे थे तो संदिग्ध ने कमरे को अंदर से बंद कर दिया था। उसने लोहिया पर नुकीली चीज से ताबड़तोड़ हमला किया और शव को आग लगाने के लिए एक जलता हुआ तकिया भी उसकी ओर फेंक दिया।” (भाषा)
भोपाल, 4 अक्टूबर। मध्य प्रदेश मंत्रिमंडल ने स्वीकृति दी। नर्मदा बचाओ आंदोलन के अंतर्गत समझौतों को रद्द करने के लिए इस परियोजना से विस्थापित होने वाले 61 गांव प्रभावित पिछले ढाई दशक से संघर्ष कर रहे थे।
एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में गत 27 सितंबर को उज्जैन में मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान ने महेश्वर जल विद्युत परियोजना के सम्बंध में निजी परियोजनाकर्ताओं के साथ हुए सभी समझौतों को रद्द करने घोषणा की। यहां आयोजित मंत्रीमंडलिय बैठक में इस परियोजना के तहत किए गए समझौतों को रद्द करने की स्वीकृति दी गई। राज्य मंत्रिमंडल ने महेश्वर जल विद्युत परियोजना के संबंध में इन समझौतों के रद्द करने की स्वीकृति प्रदान की- 11 नवंबर 1994 - विद्युत क्रय समझौता, 27 मई 1996 - विद्युत क्रय समझौता संसोधन, 27 मई 1996 - इम्प्लीमेंटेशन एग्रीमेंट, 24 फरवरी 1997 - पुनर्वास व पुनर्स्थापना समझौता, 16 सितंबर 2005 - अमेंडेटेरी एंड रीस्टेटेड एग्रीमेंट। साथ ही इन समझौतों से जुड़ी राज्य सरकार की सभी गारंटियों और काउंटर गारंटियों को भी रद्द कर दिया गया है। ध्यान रहे कि महेश्वर परियोजना के खिलाफ नर्मदा बचाओ आन्दोलन के अंतर्गत इस परियोजना से होने वाले प्रभावित पिछले 25 वर्षों से लगातार संघर्ष कर रहे थे। प्रभावितों के साथ लगातार संघर्षरत नर्मदा आंदोलन के वरिष्ठ कार्यकर्ता आलोक अग्रवाल ने डाउन टू अर्थ को बताया कि यह हमारे संघर्ष की ऐतिहासिक जीत है। आखिर सरकार को यह मानना पड़ा कि हम सही थे, वे गलत थे।
महेश्वर जल विद्युत परियोजना के तहत नर्मदा नदी पर मध्य प्रदेश के खरगोन जिले में एक बड़ा बांध बनाया जा रहा है। 400 मेगवाट क्षमता वाली इस बिजली परियोजना को निजीकरण के तहत 1994 में एस कुमार समूह की कंपनी श्री महेश्वर हायडल पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड को दिया गया था। राज्य सरकार ने कंपनी के साथ सन 1994 में विद्युत क्रय समझौता और सन 1996 में संशोधित विद्युत क्रय समझौता किया था। इस जनविरोधी समझौते के अनुसार बिजली बने या न बने और बिके या न बिके फिर भी जनता का करोड़ों रुपया 35 वर्ष तक निजी परियोजनाकर्ता को दिया जाता रहना था। इस परियोजना की डूब में 61 गांव प्रभावित हो रहे थे।
इस परियोजना पर लगातार बीते सालों में लगातार अनिमितता के आरोप लगते रहे। इस परियोजना पर सीएजी तक ने अपनी रिपोर्ट इस बात का जिक्र किया है। इस संबंध में नर्मदा बचाओ आंदोलन की वरिष्ठ कार्यकर्ता चित्तरूपा पालित ने बताया कि इस परियोजना में तमाम वित्तीय अनियमितताएं हुईं और इसके कारण बार-बार परियोजना का कार्य बंद हुआ, परियोजना स्थल की कुर्की हुई और पिछले 12 वर्षों से परियोजना का काम ठप्प पड़ा था। सीएजी ने वर्ष 1998, 2000, 2003, 2005 और 2014 की पांच रिपोर्टों में महेश्वर परियोजना के संबंध में गंभीर भ्रष्टाचार का खुलासा किया है, 2014 की रिपोर्ट में सीएजी ने तो यहां तक लिखा कि सरकार क्यों नहीं महेश्वर परियोजना का समझौता रद्द करती।
इसके अलावा भारतीय औद्योगिक वित्त निगम (आईएफसीआई) ने अपनी 2001 के रिपोर्ट में भी स्पष्ट कहा था कि परियोजनाकर्ता एस. कुमार्स ने तमाम बैंक व सरकारी संस्थायों से महेश्वर परियोजना के लिए लिये गये 106.4 करोड़ रुपये को उसी ग्रुप की अन्य कम्पनी को डाइवर्ट कर दिया था। इस कारण नर्मदा बचाओ आन्दोलन ने बार-बार यह मांग की थी कि परियोजना के लिए आये सार्वजनिक पैसे का फोरेंसिक ऑडिट किया जाए।
400 मेगावाट क्षमता की महेश्वर जल विद्युत् परियोजना से मात्र 80 करोड़ यूनिट बिजली पैदा होना प्रस्तावित है। अभी जारी आदेश में स्वीकार किया गया है कि इसकी बिजली की कीमत 18 रूपये प्रति यूनिट से अधिक होगी। मध्य प्रदेश में वर्तमान में बिजली प्रदेश की समूची मांग पूरी करने के बाद भी 3,000 करोड़ यूनिट अतिरिक्त है और वर्त्तमान में बिजली 2.5 रु/ यूनिट की दर पर उपलब्ध है। अतः महेश्वर की बिजली बनती भी तो खरीदी नहीं जा सकती थी। परन्तु महेश्वर परियोजनाकर्ता से हुए विद्युत क्रय समझौते के अनुसार बिजली न खरीदने पर भी सरकार को निजी परियोजनाकर्ता को लगभग 1,200 करोड़ रुपया प्रतिवर्ष, 35 वर्ष तक देना पड़ता। अतः साफ है कि 35 वर्ष में बिना बिजली खरीदे 42,000 करोड़ों रुपए मध्य प्रदेश की जनता की जेब से जाते। अतः परियोजना रद्द होने से जनता के यह 42,000 करोड़ रुपए लुटने से बच गये। मध्य प्रदेश के जबलपुर स्थित बरगी बांध विस्थापित संघ के सदस्य राजकुमार सिन्हा ने बताया कि महेश्वर परियोजना निजीकरण के नाम पर जनता की लूट का एक वीभत्स उदाहरण है। शुरू से ही इस परियोजना का उद्देश्य जनता के पैसे की लूट था, जिसे विस्थापितों के आन्दोलन ने लगातार भयावह दमन सहते हुए पूरी ताकत से उठाया।
विजयादशमी का अर्थ संदेश शिवप्रकाश की कलम से
रायपुर, 4 अक्टूबर। विजयदशमी के पर्व पर शस्त्रों का पूजन, सीमाल्लंघन एवं नए कार्यों के शुभारंभ की परम्परा भी है। भारतीय संस्कृति में वीरत्व एवं पराक्रम भाव को सामाज में जागृत करने के लिए शस्त्र पूजन का विशेष महत्व है। शस्त्र सन्नद्धता के इसी महत्व को प्रकट करने के लिए सभी देवी देवता अपने हाथ में शस्त्र धारण किए हुए हैं। धर्म संस्थापना के उद्देश्य से अवतरित धनुर्धर भगवान श्रीराम एवं श्री कृष्ण के सुदर्शन चक्र से सम्पूर्ण विश्व परिचित हैं। चाणक्य ने कहा कि "शस्त्रेंण रक्षिते राष्ट्रे, शास्त्र चिन्ता प्रवर्तते।" (शस्त्रों से सुसज्जित राष्ट्र में ही शास्त्रों की चिंता संभव है।) विश्व के श्रेष्ठतम ज्ञान की उदात्त धरोहर होने के बाद भी आवश्यक शस्त्र शक्ति न होने के कारण हमारी पराजय हुई, इसका इतिहास गवाह है। मुगल आक्रमणकारियों के आक्रमण से लेकर चीन के साथ हुए युद्ध इसी बात के साक्षी हैं।
1964 में भारतीय जनसंघ के पटना अधिवेशन में पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी ने भारत परमाणु शक्ति से युक्त होना चाहिए, यह प्रस्ताव रखा था । अपने पड़ोसी देशों के शत्रुता पूर्ण व्यवहार को देखकर उन्होंने कहा था कि "भारत में सभी देवी देवता शस्त्रधारी हैं, धर्म संस्थापक भगवान श्री कृष्ण सुदर्शन चक्र धारी हैं तब भारत माता भी परमाणु बम धारी होनी चाहिए ।" 1974 में प्रथम परमाणु विस्फोट एवं प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई जी के नेतृत्व में 1998 के द्वितीय परमाणु विस्फोट के बाद हम विश्व में परमाणु शक्ति से युक्त शक्तिशाली राष्ट्र बने । वर्तमान में प्रधानमंत्री मोदी जी के नेतृत्व में भारत आधुनिक सैन्य शक्ति से सुसज्जित हो रहा है । तीनों सेनाओं में समन्वय, राफेल, तेजस जैसे लड़ाकू विमान सेना को उपलब्ध कराना, आत्मनिर्भरता के माध्यम से स्वदेशी रक्षा शास्त्रों का निर्माण, रक्षा क्षेत्र में आयात निर्भरता से हटकर निर्यातक देश बनना, सैनिक कल्याण के अनेक निर्णयो ने सेना में विश्वास जगाया है। सीमा सुरक्षा के लिए आवश्यक कठोर निर्णय करके एवं सर्जिकल स्ट्राइक के माध्यम से हमने विश्व में एक संदेश भी छोड़ा है । सैन्य क्षेत्र की इस उपलब्धि के कारण दुनिया हमको जिम्मेदार एवं सम्मानित राष्ट्र के रूप में देख रही है। देश के समस्त नागरिकों को अपनी सुरक्षा की प्रति गंभीरता का होना भी आवश्यक है। सभी युवक एवं युवतियो में आत्मसुरक्षा के कुछ प्रयोग सीखने से उनमें भी आत्मविश्वास का संचार होगा। सजग रहते हुए हमको यह प्रयास आगे भी जारी रखने होंगे। शस्त्र पूजा का यही संदेश है।
विजयदशमी से पूर्व 9 दिन तक जगत -जननी आदिशक्ति मां के पूजन की परंपरा भी है। हमारे शास्त्रों में नारी शक्ति के महत्व को प्रकट करते हुए कहा है कि "यत्र नार्यस्तु पूज्यंते रमंते तत्र देवता:"। हमने स्त्री को पूजनीय मानकर देवी का रूप प्रदान किया । पतन अवस्था के कारण हमारे ही समाज में दासी जैसा व्यवहार भी देखने को मिला । समाज में मां की पूजा के अवसर पर यह संकल्प लेना होगा कि समाज में स्त्री को समान स्थान मिले। प्रगतिशीलता एवं आधुनिकता की होड़ में संस्कार का पक्ष पीछे न छूट जाए, इसका प्रयास करना होगा । भारत सहित संपूर्ण विश्व में नारी सशक्तिकरण के प्रयास चल रहे हैं । शिक्षा, आर्थिक एवं राजनीतिक क्षेत्र में समान भागीदारी, जागरूकता के प्रयास, तकनीकी ज्ञान, नौकरियों में समान अवसर सभी में समानता आवश्यक है। परिवार के निर्णयों में समान सहभागिता प्रकट होनी चाहिए । कुरीतियों से मुक्त समाज का वातावरण ऐसा निर्माण हो कि स्त्री कहीं भी किसी भी समय अपने को सुरक्षित अनुभव करे । कुदृष्टि रखने वालों पर कानूनी कठोर कार्यवाही आवश्यक है। ईरान, अफगानिस्तान सहित अनेक देशों में महिला स्वतंत्रता के लिए चलने वाले आंदोलन की सार्थकता सिद्ध होनी चाहिए। नारी शक्ति की प्रगतिशीलता की बात करने वाले संगठनों को इस विषय पर मौन होने के बजाय सक्रियता दिखानी चाहिए । प्रधानमंत्री सुकन्या समृद्धि जैसी केंद्र सरकार की योजना सराहनीय है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी सरकार का तीन तलाक पर निर्णय महिला सशक्तिकरण की सराहनीय पहल है । मां के प्रति श्रद्धा एवं सम्मान का भाव समाज में निर्माण करने से नव दुर्गा पूजा सार्थक होगी ।
नवदुर्गा में उपवास की परंपरा हमारे भक्ति भाव को प्रकट करती है। हमारी मान्यता है कि "भक्ति में ही शक्ति है।” नए अन्न के आगमन से पूर्व व्रत रखकर शरीर को सिद्ध करना है यह औषधीय विज्ञान हैं। आंतरिक सुचिता शरीर के लिए आवश्यक है आंतरिक स्वच्छता बढ़ाते हुए शरीर की प्रतिरोधक क्षमता का विकास हमको अनेक रोगों से लड़ने का सामर्थ्य प्रदान करता है। जिसके कारण आत्म शक्ति का विकास होता है यह शक्ति ही हमको आंतरिक एवं बाह्य शत्रुओं से लड़ने की सामर्थ प्रदान करती है।
लोकतंत्र में जन शक्ति ही वास्तविक शक्ति है। वनवासी समाज को साथ लेकर रावण पर विजय का संदेश स्वीकार करते हुए हमें समाज के झुग्गी, झोपड़ी, ग्रामों एवं वनवासी क्षेत्रों में रहने वाले पिछड़े, गरीब समाज की सुप्त शक्ति को जागृत करना होगा । समाज को तोड़ने वाले विध्वंसक तत्वों को परास्त करना होगा । एकता एवं एकजुटता का भाव जागृत करते हुए सर्वत्र भारत माता के जय के उद्घोष को जगाना होगा । समरस, जागरूक सक्रिय समाज शक्ति ही देश की आधार शक्ति बनेगी ।
धर्म की अधर्म पर, सत्य की असत्य पर, मानवता की दानवता पर विजय का यह सिद्धांत ही हमारी संस्कृति का मूल तत्व है । “सत्यमेव जयते” के रूप में मुखरित होने वाला मंत्र ही हमारी प्रेरणा है ।
रायपुर 4 अक्टूबर। तिल्दा के अल्दा हाईस्कूल में पदस्थ एक महिला व्याख्याता ने अपना इस्तीफा दे दिया है। 28 सितंबर को भेजे अपने इस्तीफे में महिला व्याख्याता ने इस्तीफे की वजह को निजी कारण बताया है। हालांकि इसके पीछे की वजह फर्जी प्रमाण पत्र को भी बताया गया है।
व्याख्याता (LB) ने 28 सितंबर को अपना इस्तीफा दे दिया। इस्तीफे की पुष्टि शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने की है।
मिली जानकारी के मुताबिक व्याख्याता पिछले 10 सालों से बतौर शिक्षिका स्कूल में पदस्थ थी । जानकारी के मुताबिक 2013 में भर्ती हुई व्याख्याता के ग्रेजुएशन और पोस्ट ग्रेजुएशन के सर्टिफिकेट में फर्जीवाड़े की शिकायत मिली थी। महिला व्याख्याता के खिलाफ कुछ जांच भी चल रही थी, साथ ही प्रमाण पत्र को लेकर भी शिकायत की गयी थी, जिसके बाद अब महिला व्याख्याता ने अपना इस्तीफा दे दिया है। हाईस्कूल के प्राचार्य को दिये इस्तीफे की सूचना बीईओ और डीईओ कार्यालय को भेज दी गयी है।
साल 2022 के नोबेल पुरस्कार की घोषणा शुरू हो गई है. फिजिक्स में इस साल का नोबेल पुरस्कार संयुक्त रूप से तीन वैज्ञानिकों को मिला है. इनमें एलेन एस्पेक्ट, जॉन एफ क्लॉसर और एंटोन ज़िलिंगर शामिल हैं.
साल 2021 में भी फिजिक्स के क्षेत्र में संयुक्त रूप से तीन वैज्ञानिकों को नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था.
नोबेल पुरस्कार देने वाली संस्था ने ट्वीट कर इस बार के सम्मान की घोषणा की.
अपने ट्वीट में संस्था ने लिखा, "रॉयल स्वीडिश एकेडमी ऑफ साइंसेज ने ने एलेन एस्पेक्ट, जॉन एफ क्लॉजर और एंटोन ज़िलिंगर को भौतिकी में 2022 के नोबेल प्राइज़ से सम्मानित करने का निर्णय लिया है."
तीनों वैज्ञानिकों को ये पुरस्कार "क्वैंटम मेकैनिक्स" के क्षेत्र में बेहतर प्रयोग और काम के लिए दिया गया है.एलेन एस्पेक्ट जहां फ्रांस के रहने वाले हैं, वहीं जॉन एफ क्लॉजर अमेरिका और एंटोन ज़िलिंगर ऑस्ट्रिया के हैं.
इससे पहले सोमवार को मेडिसिन के क्षेत्र में स्वीडन के वैज्ञानिक स्वांते पाबो को नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया.
क्यों दिया जाता है नोबेल पुरस्कार?
डायनामाइट के आविष्कारक और स्वीडेन के एक धनी व्यवसायी अल्फ्रेड नोबेल ने इस पुरस्कार की स्थापना की थी. 1896 में अपनी मृत्यु से एक वर्ष पहले उन्होंने अपनी वसीयत में इसकी व्यवस्था की. जिसके बाद साल 1901 से हर साल विज्ञान, साहित्य और शांति जैसे क्षेत्रों में उपलब्धियों के लिए यह पुरस्कार दिया जाता है. बाद में अर्थशास्त्र को भी इसमें शामिल किया गया. (bbc.com/hindi)
रायपुर। प्रदेश भाजपा प्रवक्ता केदार गुप्ता ने कांग्रेस की पदयात्रा पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा है कि कांग्रेस कितनी भी यात्रा निकाल ले, अब इसका छत्तीसगढ़ सहित पूरे देश में अंत सुनिश्चित है। कांग्रेस खुद तो चल नहीं पा रही है और देश जोड़ने निकली है।कांग्रेस का राष्ट्रीय नेतृत्व जहां से चला, वहीं आकर रुक गया। कितना हास्यास्पद है कि कांग्रेस नेतृत्व ने राजस्थान के मुख्यमंत्री को आदेश किया जो उन्होंने मानने से इंकार करते हुए मुख्यमंत्री की कुर्सी को कांग्रेस के अध्यक्ष पद से बड़ा मान लिया। कांग्रेस में राष्ट्रीय नेतृत्व का सम्मान नहीं बचा है।
गुप्ता ने कहा कि कांग्रेस छत्तीसगढ़ में जो पदयात्रा कर रही है, वह भी भटकाव का शिकार है। अगले साल कांग्रेस को सत्ता से सड़क पर आना ही है, इसके लिए कांग्रेस में चार दिशाओं से महाभारत छिड़ी हुई है। यहां कांग्रेस की पदयात्रा का निहितार्थ सरकार की विफलता और कांग्रेस की कलह से ध्यान हटाने की कोशिश मात्र है।
भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि प्रदेश के दूसरे नंबर के मंत्री टी एस सिंहदेव जी की चिट्ठी यह बताने के लिए पर्याप्त है कि कांग्रेस शासन में जनता तो छोड़िए कांग्रेसियों तक को न्याय नहीं मिल रहा है। और आने वाले समय में कांग्रेस लगातार छोड़ने वालों की संख्या बढ़ रही है इससे बेचैन होकर कांग्रेसी अब छत्तीसगढ़ में कांग्रेस खोजने निकले हैं।
यात्रियों ने युवक को बंधक की तरह रायपुर तक लाया
'छत्तीसगढ़' संवाददाता
रायपुर, 4 अक्टूबर। दिल्ली से आ रही गोंडवाना एक्सप्रेस के एसी कोच बी-1 में महिला के साथ छेड़छाड़ करने वाले युवक को रायपुर में पुलिस के हवाले किया गया। युवक नागपुर से चढ़ा था। और थोड़ी देर बाद उसकी हरकतें चालू हो गई। महिला और सहयात्रियों ने युवक को काफी समझाया, लेकिन युवक की हरकतें थम नहीं रही थी।
रेलवे पुलिस के अनुसार युवक महिला के साथ अभद्र व्यवहार कर रहा था। इस पर यात्रियों ने काफी समझाया, लेकिन वह सुधरने का नाम नहीं ले रहा था। युवक कोच कंडक्टर की हिदायतों को भी नहीं मान रहा था। कोच कंडक्टर ने भी अपने वरिष्ठ अधिकारियों के इसकी सूचना दी, और फोर्स का इंतजाम किया गया। आरोपी युवक मोहसिन मलिक राजनांदगांव स्टेशन चौक क्षेत्र का रहने वाला है। वह मोबाइल और मोबाइल एसेसरीज का कारोबारी हैं और अक्सर दिल्ली आता जाता रहता है। यात्रियों की भीड़ से उसे एक बंधक की तरह घेरकर रायपुर लाई, और फिर यहां जीआरपी आरपीएफ उसे अपने कब्जे में लिया। दोनों ही बलों के दर्जनों जवानों ने एसी कोच को घेरे हुए थे। महिला दिल्ली से भाटापारा जा रही थी। रायपुर आने के बाद आरपीएफ के पोस्ट इंचार्ज एस. मिश्रा और जीआरपी थाना प्रभारी राजपूत ने महिला से एफआईआर या शिकायत दर्ज कराने कहते रहे। लेकिन महिला विवाद को आगे बढ़ाना नहीं चाहती थी इसलिए रिपोर्ट नहीं कराई। अंतत: जीआरपी ने एहतियातन मोहसिन को थाने लाकर 151 के तहत एफआईआर किया। इस घटना को लेकर ट्रेन के रायपुर पहुंचने तक रेलवे पुलिस हल्कों में तरह-तरह की खबरें चलने लगी थी। कुछ ने कहा कि हवाला से जुड़ा एक युवक लाखों की राशि बैग में लेकर सफर कर रहा, तो एक खबर यह भी चली कि ट्रेन में दो धर्म के युवक-युवती के बीच प्रेम प्रसंग को लेकर युवती के परिजनों ने राजनांदगांव में युवक के साथ मारपीट की। पुलिस ने इन सभी खबरों से इंकार किया।
रायपुर, 4 अक्टूबर। राज्यपाल सुश्री अनुसुईया उइके ने मंगलवार को शारदीय नवरात्रि के महानवमी के अवसर पर राजभवन के उपासना कक्ष में पूजा-अर्चना और हवन कर देश-प्रदेश वासियों के सुख-समृद्धि और खुशहाली की कामना की। राज्यपाल ने इस पावन अवसर पर शक्ति स्वरूपा कन्याओं की पूजा की और कन्याभोज भी कराया।
कन्याभोज और हवन के अवसर पर राज्यपाल के सचिव अमित खलखो, राज्यपाल के परिसहाय मेजर सिद्धार्थ सिंह, नियंत्रक हरवंश मिरी सहित अधिकारी-कर्मचारी और कन्याएं उपस्थित थी।
उत्तराखंड, 4 अक्टूबर। उत्तरकाशी हिमस्खलन में दो मौतों की पुष्टि हो गई है। एसडीआरएफ़ की डीआईजी रिद्धिम अग्रवाल ने बीबीसी हिंदी से बातचीत में बताया कि एनआईएम (नेहरू पर्वतारोहण संस्थान) ने दो महिला प्रशिक्षकों की मौत की पुष्टी कर दी है।
उन्होंने बताया कि एसडीआरएफ़ की टीम निम के बेस कैंप में पहुंच गई है। वहां से एयरफोर्स के हेलीकॉप्टर की मदद से उन्हें दुर्घटनास्थल तक पहुंचाया जाएगा।
एसडीआरएफ डीआईजी ने यह भी बताया कि एयरफोर्स के हेलीकॉप्टर भी उत्तरकाशी पहुंच गए हैं और क्षेत्र की रेकी कर रहे हैं।
इसके अलावा केंद्रीय गृह मंत्रालय ने एनडीआरएफ और आईटीबीपी को भी इस रेस्क्यू ऑपरेशन में मदद करने को कहा है।
उत्तराखंड के उत्तरकाशी स्थित द्रौपदी का डांडा-2 पर्वत चोटी पर हिमस्खलन होने के कारण नेहरू पर्वतारोहण संस्थान, उत्तरकाशी के 29 प्रशिक्षार्थी पर्वतारोही फंस गए हैं।
नेहरू पर्वतारोहण संस्थान (एनआईएम) का डोकरानी बामक ग्लेश्यिर में बीते 22 सितंबर से बेसिक/एडवांस का प्रशिक्षण चल रहा था।
बेसिक प्रशिक्षण 97 प्रशिक्षार्थी, 24 प्रशिक्षक और एनआईएम के एक अधिकारी समेत कुल 122 लोग शामिल थे। एडवांस कोर्स में 44 प्रशिक्षणार्थी और 9 प्रशिक्षक समेत कुल 53 लोग शमिल थे। (bbc.com/hindi)
बेटे ने कहा- कांग्रेस नेताओं की धमकी से पिता थे परेशान
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बिलासपुर, 4 अक्टूबर। सरकंडा इलाके में एक व्यवसायी ने बीती रात घर के बाहर एक पेड़ पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उसकी जेब से एक सुसाइड नोट मिला है। परिवार के लोगों ने उसकी मौत के लिए कांग्रेस के दो नेताओं को जिम्मेदार बताया है, जो जमीन विवाद को लेकर उसे धमकियां देते थे।
सरकंडा पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार मृतक का नाम रज्जब अली है। उसका घर चांडीटीह में है। वह कांग्रेस से जुड़ा था। रपटा के पास ही उसकी दुकान है। सोमवार की रात में उसने अपने परिवार के साथ खाना खाया। इसके बाद सभी लोग अपने कमरे में सोने के लिए चले गए। सुबह उसके बेटे हमाम अली ने देखा कि घर के बाहर पेड़ पर उसके पिता का शव फांसी पर लटका है। इसकी सूचना तुरंत पुलिस को दी गई। पुलिस ने पहुंचकर जांच शुरू की तो मृतक की जेब से एक सुसाइड नोट मिला । इसमें उसने आत्महत्या के लिए अपने परिवार से माफी मांगी है। उसने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से अपने परिवार की सुरक्षा की मांग की है।
व्यवसायी के बेटे हमाम ने बताया है कि कांग्रेस नेता अकबर खान और तैय्यब हुसैन उसे धमकी देते थे। उन्होंने मृतक रज्जब अली की दुकान के बगल की जमीन का सौदा किया है। जमीन के सीमांकन के लिए वे बड़ी संख्या में युवकों को लेकर आए थे। वे इसके बाद रज्जब की जमीन पर कब्जा करने की कोशिश कर रहे थे। इसके चलते मृतक परेशान रहता था। बेटे हमाम अली के अनुसार जमीन को लेकर परिवार में भी विवाद चल रहा है। मामला कोर्ट में लंबित है।
कांग्रेस नेता अकबर खान ने इस मामले में कहा कि रज्जब अली से उसका पुराना संबंध है। वे कांग्रेस के अच्छे कार्यकर्ता हैं। जमीन को लेकर चल रहे विवाद से उनका दूर-दूर तक कोई संबंध नहीं है। रज्जब के परिवार के लोग दूसरों के बहकावे में आकर बयान दे रहे हैं। पूरा मामला पुलिस जांच से सामने आएगा।
पत्ते और शाखाएँ तोड़ रहे हैं, तना हाथ लगते ही जड़ सहित उखाड़ फेंकेगे आनलाईन बेटिंग - एसपी डॉ. अभिषेक पल्लव
पंद्रह दिन में ताबड़तोड़ कार्रवाई, हर दिन कर रही नया खुलासा
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
भिलाई नगर, 4 अक्टूबर। दुर्ग जिले से शुरू हुआ महादेव और रेडी अन्ना आनलाइन बेटिंग नेटवर्क मध्यप्रदेश, कोलकाता, दिल्ली, पंजाब, उत्तर प्रदेश, उड़ीसा, राजस्थान, हरियाणा, महाराष्ट्र और गोवा सहित दीगर राज्यों में भी संचालित होने लगा है। इस अवैध कारोबार में जल्द अमीर बनने की ख्वाहिश में देश के करोड़ोंं युवा आईडी ले मैच की हर गेंद पर बेटिंग कर रहे हैं। दुर्ग जिले में लगातार कार्रवाई के बाद ऐप के मुख्य संचालक और पार्टनर कब दुबई में जा बैठे पुलिस के नेटवर्क को इसकी भनक नहीं लग पाई। लगभग सौ से ज्यादा युवा बाकायदा ट्रेनिंग लेने के बाद दुबई में रिक्रूट हो हब सेंटर से पूरे भारतवर्ष में आनलाईन बेटिंग करवा रहे हैं। दुर्ग जिले से ही महादेव बेटिंग ऐप के संचालक ताल्लुक़ रखते हैं और 7 मुख्य आरोपियों के खिलाफ लुकआउट नोटिस के बावजूद इन तक पहुंच पाना आज तक नामुमकीन लग रहा है। हालांकि ईडी के सक्रिय होने से काफी उम्मीद जगी है और राज्य के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी इस अवैध कारोबार से छत्तीसगढ़ को बचाने संजीदा हैं।
जब आईफा अवार्ड आबूधाबी में बजा महादेव ऐप का डंका
जून 2022 में दूबई आबूधाबी में हुए आईफा अवार्ड में हर तरफ महादेव ऐप का बैनर और इनके संचालक जो कि दुर्ग जिले से हैं, का रैम्प वॉक और रसूख देखने को मिला। प्रसारण बाद सोशल प्लेटफार्म पर इस अवार्ड सेरेमनी के वीडियो में महादेव ऐप की जमकर एडवरटाइजिंग और संचालकों का कैट वॉक छाया रहा। तब पुलिस महकमा की जानकारी पुख्ता हो गई कि अब इन्हें जिले या अन्य राज्यों में तलाशना निरर्थक है। चूंकि परिजन अब भी जिले में हैं इसलिए पुलिस अधिकारियों को उम्मीद जरूर है कि देर सबेर उन तक निश्चित पहुंचेंगे और उन्हें सीखचों के पीछे जरूर धकेल देंगे।
बड़ा और कडा़ नेटवर्क, जीतने का लालच बनता जा रहा बिजनस अपार्चुनिटी
कुछ रूपये देकर आईडी लेने के बाद लिमिट तय होता है। जहां युवा मोबाईल पर आसानी से आनलाईन बेटिंग कर बड़ी जीत की संभावना में हर मैच की हर गेंद पर दांव लगाने लगे हैं वहीं 20 लाख का पैनल खरीद कई लोग इसे बेहतर व्यवसाय का रूप दे चुके हैं। पैनल लेने के बाद कंट्रोल सेंटर से आईडी के लिए कन्वेंस करने एक बड़ी टीम लग जाती है। आइडेंटीफाई लेबर क्लास को महज 2 हजार देकर उनके नाम अलग अलग बैंक में मल्टीपल एकाउंट खुलवा बेटिंग के रूपये का लेन देन होता रहा है। बेरोजगारी के आलम का पूरा फायदा भी इस अवैध कारोबार में लगे लोग आसानी से उठा रहे हैं। सैकडो़ं युवाओं का काम एटीएम से विथड्राल और मल्टीपल एकाउंट में डिपाजिट होता है। इसके लिए उन्हें कमिशन दिया जाता है।
मिनटों में होता है काम, सायबर टीम पकड़े भी तो साक्ष्य का आधार नदारद
महादेव और रेडी अन्ना ऑनलाइन बेटिंग के लिए व्हाट्सएप, टेलीग्राम एप्लीकेशन और वेबसाइट के माध्यम से इंटरनेट प्लेटफार्म पर लिंक प्रोवाइड कर ग्रुप एडमिन पैनल बेटिंग सुविधा उपलब्ध करा रहा है। पुलिस से बचने के लिए तमाम हाईटेक तरीके अपना रहे हैं, इस धंधे में वर्क लोड और टीम पावर डिसेंट्रलाईज होने से बीच की कड़ी तक पुलिस पहुंची भी तो सबूत का आधार कमजोर हो जाता है। पुलिस की नजर से बचने के लिए टेलीग्राम पर सट्टा खिलाने वाली ऐप की लिंक भेजी जाती और लिंक सोर्स सर्चिंग के दौरान मैच खत्म होते ही ग्रुप डिलिट कर दिया जाता है।
जीएसटी रजिस्ट्रेशन के प्रयास में लगे हैं बेटिंग ऐप संचालक, रोकना जरूरी
खबर यह भी है कि आनलाईन पेड गेमिंग की आड़ में महादेव और रेड्डी अन्ना सहित कई बेंटिंग ऐप इस व्यवसाय को रजिस्टर्ड करने और जीएसटी नंबर लेने का प्रयास कर रहे हैं। अगर किसी अन्य रास्ते से भ्रमित कर जीएसटी नंबर मिलता है तो यह गोरख अवैध कारोबार पूर्णत: कानूनी मान्यता ले लेगा और उसके बाद अब तक हुई तमाम सैकडो़ं कार्रवाईयों पर पानी फिर जाएगा। शासन स्तर पर इसे रोकने के प्रयास भी किए जा रहे हैं। दरअसल आनलाईन गेम ऐप की आड़ में स्पोर्ट्स से संबंधित ऐप तैयार कर इसे आनलाईन व्यवसाय का रूप दिया जा रहा है फिर इस तरह के गेमिंग ऐप ग्रुप तैयार कर उनमें काम्पीटिशन करवाते हैं, कुछ समय में गोल्डन बैच या मेम्बरशिप का ईनाम रख लोगों का इन्वाल्वमेंट बढा़ते हैं।
नेचर आफ क्राईम मूवेबल होने से एक्शन मुश्किल जरूर है, असंभव नहीं
एसपी डॉ. अभिषेक पल्लव ने बताया कि इस कारोबार में ऐप बनाने वाला, ऐप का संचालक, डिपॉजिट ले रहे लोग, पैसा लेकर बाद में वापस करने वाली एजेंसी, पैनल खरीददार, आईडी देने वाले, आईडी लेने लोगों को तैयार करने वाली कन्वेसिंग टीम, आईडी ले बेटिंग करने वाले, आनलाईन रूपये लेने और पेमेंट देने मल्टीपल एकाउंट के लिए अलग कन्वेंसिग टीम, खाताधारक अलग और अलग अलग आपरेटिंग टीम, दीगर राज्यों में कंट्रोल सेंटर पर विभागीय साइबर टीम की वेब मॉनिटरिंग और नेचर आफ क्राईम मूवेबल होने से फिजिकल टीम को पहुंच कर कार्रवाई करना काफी मुश्किल जरूर है लेकिन असंभव नहीं। सीमित संसाधनों और फोर्स के बीच सामंजस्य बनाते हुए हम लगातार अभियान चला रहे हैं। मक़सद इस नेटवर्क को सामाजिक तौर पर सामने लाना और ब्रांचेज तोड़ कर रूट खत्म करना है।
छत्तीसगढ़ सहित कई राज्यों में महादेव और रेड्डी अन्ना ने बना लिया है कंट्रोल सेंटर
डॉ पल्लव ने बताया कि छत्तीसगढ़ सहित अन्य राज्यों में भी 15 से 20 कंट्रोल सेंटर होने की जानकारी हमें मिली है। आईडी लेकर ऑनलाइन बेटिंग करने वालों से आह्वान किया जा रहा है कि आईडी लेकर पूर्व कभी बेटिंग किए हैं तो तत्काल आईडी डिलीट कर दें। जो लोग पैनल खरीद रखें हैं उन तक पहुंचना हमारा मकसद है। कुछ लोगों ने डेढ़ से दो वर्ष के भीतर इस व्यवसाय से जमीन, आलिशान मकान और संपत्ति खरीदी है, उनकी भी जानकारी मिली है, जब हम ठोस एविडेंस दिखाएंगे तो ईडी का इंवाल्व हो बड़ी कार्रवाई संभव हो सकेगी। मनी लांड्रिंग के रास्ते तलाश कर कानूनी रूप से हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। चूंकि गैंबलिंग एक्ट में यह प्रावधान है कि इनकी प्रोसीड से अगर कुछ लिया गया है तो उसे जब्त करने की कार्यवाही की जा सकती है इसलिए आईडी आबंटित करने वाले, डिपॉजिट लेने वाले, जिनके अकाउंट में पैसा आ रहा है उन पर कड़ी नजर रखी जा रही है। राज्य शासन द्वारा कोई स्पेशल एक्ट लाया जाता है तो बड़ी कार्रवाई हो सकेगी।
अभियान चला टीम के साथ खुद फिल्ड में उतर कर रहे हैं कार्रवाई-एसपी
एसपी ने कहा कि इस कारोबार से जुड़े लोगों पर लगातार कार्रवाई होगी तो पैनल लेने वालों का प्रॉफिट कम होगा, आईडी लेने वालों में भी कार्रवाई का डर होगा। प्रॉफिट कम होने से नए लोग पैनल नही खरीदेंगे और पैनल चला रहे इन लीगल गेम वाले लोग लीगल गेम में कन्वर्ट हो जाएंगे। कई इंजीनियरिंग, मेडिकल छात्र, हाई एजुकेटेड युवाओं का इंवाल्वमेंट सामने आया है, इस पर भी काम कर रहे हैं। चूंकि मेन आपरेटर दुर्ग के हैं तो यहां के युवाओं का इंवाल्वमेंट अधिक है और वो लोग अन्य राज्यों में छिप कर मानिटरिंग कर रहे हैं। पूर्व में आनलाईन बेटिंग की कोई बात थी नहीं इसलिए आईटी ऐक्ट अबेडमेंट में आनलाईन बेटिंग को लेकर कोई प्रावधान नहीं है। हाई कोर्ट का निर्देश है कि गेम आफ स्किल एलाउड है, गेम आफ चांस गैर कानूनी है। भिलाई दुर्ग से कई नाम मिले हैं जो अन्य राज्यों में नेटवर्क बढा़ रहे हैं, उन तक पहुंचने का प्रयास हो रहा है। जुआ, सट्टा, कबाड़, अवैध शराब ऐसे कारोबार सदियों से होते रहे हैं, इन्हें पूर्णत: खत्म करना संभव न भी हो तो लगातार कार्रवाई से इनको कम किया जा सकता है। इन्हें दबा कर रखने से कई अपराध पर अंकुश संभव होता है इसलिए पारदर्शिता से वे स्वयं टीम के साथ फिल्ड में जा रहे हैं और अभियान चला एविडेंस के साथ हरसंभव प्रयास कर रहे हैं।
एक खाते से 84 लाख फ्रीज
महादेव एप में इस्तेमाल होने वाले एक बैंक खाते से 84 लाख से ज्यादा राशि फ्रीज की जा चुकी है। बैंक खातों से पहले ही एक करोड़ से अधिक फ्रीज किए गए हैं। एप के इस्तेमाल किए गए अन्य बैंक खातों का ब्यौरा मिलने के बाद और राशि फ्रीज होने की संभावना है।
नई दिल्ली, 4 अक्टूबर । गुड़गांव के मेदांता अस्पताल ने एक बयान जारी कर कहा है कि समाजवादी पार्टी के नेता और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव को दोबारा से आईसीयू में एडमिट किया गया है.
विशेषज्ञ डॉक्टरों की एक टीम मुलायम सिंह यादव का इलाज कर रही है.
समाजवादी पार्टी ने अपने ट्विटर हैंडल से मेदांता अस्पताल का बयान जारी करते हुए कहा है, "हम सभी आदरणीय नेताजी के जल्द स्वस्थ और दीर्घायु होने की कामना करते हैं."
इससे पहले सोमवार को मेदांता अस्पताल ने बताया था कि मुलायम सिंह यादव क्रिटिकल केयर यूनिट में भर्ती हैं.
82 वर्षीया सपा नेता पिछले कुछ दिनों से मेदांता अस्पताल में भर्ती थे लेकिन रविवार को स्थिति बिगड़ने के बाद उन्हें आईसीयू में दाखिल कराया गया था.
मुलायम सिंह यादव इस समय लोकसभा में मैनपुरी के सांसद हैं.
इसी साल जुलाई में मुलायम सिंह यादव की पत्नी साधना गुप्ता का निधन हो गया था. (bbc.com/hindi)
जम्मू-कश्मीर, 4 अक्टूबर । केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने राजौरी में एक रैली में मंगलवार को ये एलान किया कि गुज्जर, बकरवाल और पहाड़ी समुदाय को जल्द ही आरक्षण का लाभ दिया जाएगा.
उन्होंने कहा, "अनुच्छेद 370 खत्म किए जाने के बाद आरक्षण देने का रास्ता साफ़ हो गया है. जस्टिस शर्मा आयोग ने अपनी रिपोर्ट में गुज्जर, बकरवाल और पहाड़ी समुदाय को आरक्षण देने की सिफारिश की थी. उन्हें जल्द ही आरक्षण दिया जाएगा."
जम्मू-कश्मीर दौरे के दूसरे दिन आज गृह मंत्री अमित शाह ने राजौरी में एक सार्वजनिक सभा को संबोधित किया.
यहां विपक्षी पार्टियों को निशाने पर लेते हुए शाह ने कहा, ''जम्मू-कश्मीर में आज की ये रैली, मोदी..मोदी के नारे उन लोगों के लिए जवाब है, जो कहते थे कि अनुच्छेद 370 हटेगा तो आग लग जाएगी और खून की नदियां बह जाएंगी.''
''मोदी जी ने 5 अगस्त 2019 को एक महत्वपूर्ण फैसला दिया और जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 और 35A को हटा दिया. अगर अनुच्छेद 370 और 35A नहीं हटता तो क्या जम्मू-कश्मीर में ट्राइबल रिजर्वेशन नहीं मिलता?''
''अनुच्छेद 370 और 35A हटने से यहां पिछड़ों, दलितों, आदिवासियों और पहाड़ियों को अपना अधिकार मिलने वाला है.''
इसके अलावा शाह जम्मू-कश्मीर की तीन मुख्य क्षेत्रीय पार्टियों पर भी बरसे. शाह ने कहा, जम्मू-कश्मीर में तीन परिवारों ने भ्रष्टाचार करने में कोई कसर नहीं छोड़ी थी। आज मोदी जी पूरे जम्मू-कश्मीर के 27 लाख परिवारों को पांच लाख तक का स्वास्थ्य का पूरा खर्च उठा रहे हैं, 70 साल में इन तीन परिवारों ने दिया क्या?
शाह मंगलवार सुबह 10 बजे सबसे पहले वैष्णो देवी के मंदिर पहुंचे. यहां उनके साथ जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह भी मौजूद रहे. इसके बाद राजौरी में ही एक एकलव्य मॉडल आवासीय विद्यालय का शिलान्यास किया गया.
शाह जम्मू-कश्मीर के तीन दिवसीय दौरे पर हैं. (bbc.com/hindi)