पीएम आवास राशि का सरपंच, सचिव व आवास मित्र पर गबन का आरोप
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
जगदलपुर, 28 नवम्बर। बस्तर जिले के जनपद पंचायत बकावंड अंतर्गत ग्राम पंचायत मटनार में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत हुई स्वीकृत राशि एक लाख तीस हजार का आहरण सरपंच, सचिव व आवास मित्र के द्वारा गबन करने का आरोप हितग्राही भगवती पांडे ने लगाया है।
इस विषय में कलेक्टर रजत बंसल से ‘छत्तीसगढ़’ ने जानकारी ली तो उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री आवास योजना की शिकायत आपके माध्यम से प्राप्त हुई है, तत्काल इसको प्राथमिकता में लेते हुए जांच करवाया जाएगा और जो भी इसमें कार्रवाई होगी, उसको नियमानुसार किया जाएगा।
हितग्राही भगवती पांडे ने बताया कि वर्ष 2018 में आवास मित्र खिरेंद्र जोशी ने उन्हें बताया कि उनके नाम पर एक आवास स्वीकृत हुआ है और उनके लिए वह मकान बनाया जाएगा। इसके लिए उनसे पासबुक, आधार कार्ड की छाया प्रति मांगा गया और उनसे कहा गया कि आपके नाम पर मकान निकला है यह सब फॉर्मेलिटी पूरी करने पर जल्द से जल्द आपका घर बनाया जाएगा। उन्होंने यह भी बताया कि एक दिन रात को खिरेंद्र जोशी द्वारा घर आकर उनसे कुछ पेपर पर दस्तखत करवाया गया और उनसे पासबुक मांग कर वहां से चले गए। काफी दिन बीत जाने के बाद भी जब उनके लिए मकान नहीं बनाया गया तब उन्होंने इसकी जानकारी आवास मित्र से ली तो उन्होंने आजकल कर टालमटोल कर दिया।
जब इसकी शिकायत लेकर पंचायत में वह गई तो पंचायत के जिम्मेदार लोगों द्वारा भी आज कल कर टालमटोल करने लगे। इसकी शिकायत उन्होंने कई बार पंचायत में की, पर पंचायत के जिम्मेदार लोग एक कान से सुनकर दूसरे कान से निकाल दिए। उन्होंने ये भी बताया कि उनके पास रहने के लिए घर नहीं है और इस विषय को लेकर उन्होंने कहा कि मैं बड़े अधिकारी के पास शिकायत करूंगी, तब आनन-फानन में सरपंच, सचिव व आवास मित्र के द्वारा उन्हें आंगनबाड़ी के रसोई घर में रहने को जगह दी गई और कहा गया कि आपका मकान बनते तक आंगनबाड़ी के रसोई घर में रहिये, जल्द ही आपके लिए आवास का निर्माण किया जाएगा। लेकिन आज 2 साल बीत गए ना तो मकान बना और ना ही कोई व्यवस्था की गई। आज भी वह आंगनबाड़ी के एक छोटे से रसोई घर में रह रही है जहां पर ना तो बिजली है और ना पानी की सुविधा और ना ही शौचालय। पूर्व में उनके पास जीवन यापन के लिए कार्ड के जरिए राशन मिलता था लेकिन किसी कारणवश वह भी नहीं मिल रहा है।
जब इस विषय में उन्होंने सेल्समैन से पूछा तो उन्हें बताया गया कि उनका नाम लिस्ट में नहीं है। इसकी शिकायत कई बार पंचायत को की गई लेकिन किसी प्रकार की मदद नहीं मिली।
कुछ ग्रामीणों ने अपना नाम नहीं छापने के शर्त पर बताया कि सरपंच, सचिव, व आवास मित्र की मिलीभगत से गांव में बने कई ऐसे आवास है जिनका निर्माण अधूरा है और उसकी पूरी राशि निकाल ली गई है। इसी प्रकार पूर्व में कई ऐसे निर्माण कार्य भी हुए है जो सिर्फ कागजों में हैं लेकिन जमीनी स्तर पर कोई कार्य नहीं किया गया है। शासकीय पैसे का दुरुपयोग किया गया है।
इस विषय में मंगतिन कश्यप सरपंच से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि उन्हें इस बात की कोई जानकारी नहीं है। उन्होंने बताया कि यह सब काम आवास मित्र खिरेंद्र जोशी ही देखते थे, वही इसकी जानकारी दे पाएंगे।
इस विषय में पूर्व सरपंच सुखदेव कश्यप से जानकारी ली गई तो उन्होंने बताया कि पंचायत के द्वारा हितग्राही भगवती पांडे को रहने की व्यवस्था आंगनबाड़ी में की गई। राशि का आहरण किया गया है, इसकी मुझे कोई जानकारी नहीं है। यह सब जानकारी आवास मित्र दे पाएंगे क्योंकि वही सब काम देखते थे और आवास मित्र द्वारा ही दस्तख़त करने पर पैसा निकलता था और बैंक का काम भी वही करते थे।
इस विषय में आवास मित्र खिरेंद्र जोशी से जानकारी ली गई तो उनके द्वारा किसी भी प्रकार की जानकारी देने से मना किया गया।