अंतरराष्ट्रीय
इस्लामाबाद, 6 दिसंबर| पाकिस्तान में एक ईसाई लड़की को महज इसलिए मार दिया गया, क्योंकि उसके माता-पिता ने उसके लिए एक मुस्लिम व्यक्ति द्वारा भेजे गए शादी के प्रस्ताव को ठुकरा दिया था। पुलिस ने रविवार को यह जानकारी दी। एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, रावलपिंडी के कोरल पुलिस स्टेशन के अधिकारियों ने दावा किया कि फैजान नाम के एक आरोपी को गिरफ्तार किया गया है, जबकि प्रमुख संदिग्ध शहजाद की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है।
बताया जा रहा है कि शहजाद की मां ने भी अपने बेटे की शादी का प्रस्ताव पीड़ित सोनिया के लिए भेजा था, लेकिन उसके माता-पिता ने इनकार कर दिया, क्योंकि उसे दूसरे लड़के से शादी करनी थी, जिसकी पहचान फैजान के रूप में हुई है।
पुलिस के अनुसार, घटना के दिन, लड़की फैजान के साथ हाईवे पर यात्रा कर रही थी, जब शहजाद ने उस पर गोलियां चलाईं।
पुलिस ने कहा कि प्रारंभिक जांच के अनुसार, हत्या व्यक्तिगत आक्रोश से की गई है।
हालांकि, पुलिस उप महानिरीक्षक (डीआईजी) ने कहा कि पुलिस सभी पहलुओं की जांच कर रही है। (आईएएनएस)
काबुल, 6 दिसम्बर| अफगानिस्तान के कांधार प्रांत में 18 आतंकवादी मारे गए हैं। एक समय कांधार तालिबान आतंकवादी समूह का गढ़ हुआ करता था। अफगान रक्षा मंत्रालय ने रविवार को एक बयान जारी कर आतंकवादियों के मारे जाने की पुष्टि की।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ के मुताबिक सेना द्वारा चलाए गए अभियान में मारे गए आतंकवादियों के पास से भारी मात्रा में विस्फोटक, बारूदी सुरंग, बंदूकें और गोला बारूद बरामद किया गया है।
कांधार में सक्रिय तालीबान आतंकवादियों ने हालांकि इसे लेकर कोई टिप्पणी नहीं की है। (आईएएनएस)
बेलग्रेड, 6 दिसंबर। सर्बिया में कोविड-19 मामलों की कुल संख्या बढ़कर 213,843 हो गई है। वहीं अधिकारी गंभीर मामलों की बढ़ती संख्या को देखते हुए क्षमताओं का विस्तार करने की जुगत में लगे हुए हैं। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, स्वास्थ्य मंत्रालय ने शनिवार की दोपहर में पिछले 24 घंटों में 18,232 लोगों के टेस्ट के पश्चात 6,903 संक्रमण सामने आने की पुष्टि की। इसी अवधि में सर्बिया में कोविड -19 से और 57 लोगों की मौत हो गई, जिससे मृत्यु संख्या 1,891 हो गई।
सर्बिया में 19 नवंबर के बाद से कोविड संक्रमण की संख्या ने 100,000 का आंकड़ा पार कर लिया, जिसके साथ देश में संक्रमण के कुल मामले दोगुने हो गए।
देशभर के अस्पताल कोरोनावायरस संक्रमण के 7,988 रोगी भर्ती हैं, वहीं 279 वेंटिलेटर पर हैं।
स्वास्थ्य मंत्रालय में राज्य सचिव, मिरसाद जेरलेक ने शुक्रवार को कहा कि 2021 की पहली तिमाही में सामान्य आबादी के वैक्सीनेशन होने की संभावना है। वहीं डॉक्टर, पुलिसकर्मी और सैनिकों को इस साल के अंत से पहले वैक्सीन दिए जाने की उम्मीद है।
महामारी से त्रस्त कई देश वैक्सीन लाने की तैयारी में हैं। इनमें जर्मनी, फ्रांस, चीन, रूस, यूनाइटेड किंगडम और संयुक्त राज्य अमेरिका सहित कई देश शामिल हैं।
विश्व स्वास्थ्य संगठन की वेबसाइट के अनुसार, 26 नवंबर तक दुनिया भर में 213 कोविड-19 उम्मीदवार वैक्सीन विकसित कर रहे थे, और उनमें से 49 क्लिनिकल ट्रायल में थे।
अब तक सर्बिया में परीक्षण के लिए दो प्रकार के वैक्सीन जमा किए गए हैं, जिसमें स्पुतनिक-5 और फाइजर-बायोएनटेक वैक्सीन शामिल है। (आईएएनएस)
लंदन, 6 दिसंबर | ब्रिटेन में 15,539 और लोगों का कोविड-19 परीक्षण पॉजिटिव आया है, जिसके बाद अधिकारिक आंकड़ों के अनुसार देश में मामलों की कुल संख्या 17,05,971 हो गई है। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के मुताबिक ब्रिटेन में कोरोनावायरस के कारण 397 नई मौतें दर्ज हुईं, जिसके बाद कुल मृत्यु संख्या बढ़कर 61,014 हो गई है।
ब्रिटेन के मुख्य चिकित्सा अधिकारियों ने शनिवार को चेतावनी दी थी कि भले ही वैक्सीन को लेकर उन्हें खासी उम्मीदें हैं लेकिन आने वाली सर्दियां स्वास्थ्य सेवाओं के लिए 'विशेष रूप से कठिन' होंगी।
इंग्लैंड, स्कॉटलैंड, वेल्स और उत्तरी आयरलैंड के अधिकारियों ने अपने सहयोगियों को लिखे एक पत्र में कहा, "हालांकि, टीकों के बारे में आ रहीं खबरें आशाजनक हैं और हम 2021 को लेकर अधिक उम्मीदें कर सकते हैं लेकिन वैक्सीन आने के अगले 3 महीनों में हम स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर आंकड़ों में बहुत कम अंतर ही देखेंगे।"
विशेषज्ञों ने जनता से विशेष रूप से क्रिसमस तक संयम और आत्म-अनुशासन रखने का आग्रह किया है।
बता दें कि इंग्लैंड वर्तमान में कोरोनावायरस प्रतिबंधों के एक नए 3-टियर सिस्टम के तहत है। इससे पहले बुधवार को ही यहां 1 महीने का लॉकडाउन खत्म हुआ है।(आईएएनएस)
-टॉम ब्राडा
साल 2015 में सैम ने अपनी सर्जरी करवाई. इसके ज़रिए उन्होंने अपनी लंबाई पांच फीट चार इंच से पांच फीट सात इंच बढ़ाई
टांगों को लंबा करवाने की ये प्रक्रिया कई तरह के रिस्क भी साथ लेकर आती है और स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि कुछ लोगों को इस कारण लंबे वक़्त तक समस्या बनी रहती है.
मिडल स्कूल में पढ़ाई के दौरान सैम बैकर अपनी क्लास में सबसे लंबे बच्चे थे लेकिन हाई स्कूल के अंत तक उनके साथी उनसे काफ़ी लंबे हो चुके थे.
सैम बताते हैं, "जब मैं कॉलेज गया तो मुझे महसूस हुआ कि मैं लंबाई में बहुत लड़कों से छोटा हूँ और यहाँ तक कि लड़कियों से भी छोटा हूं."
वो कहते हैं, "ये बात आपकी ज़िंदगी को प्रभावित करती है. सच कहूँ तो महिलाएँ अपने से लंबाई में छोटे लड़कों को डेट नहीं करतीं. सबसे मुश्किल तब था जब मुझे लगता था कि मुझे कभी जीवनसाथी नहीं मिल पाएगी."
न्यूयॉर्क में रहने वाले 30 साल के सैम को तब भी उम्मीद थी कि शायद उनकी लंबाई बढ़ जाएगी लेकिन कहीं ना कहीं वो ये बात जानते थे कि उनकी लंबाई जितनी बढ़ सकती थी, बढ़ चुकी है.
वो कहते हैं, "मुझे हमेशा लगता था कि लंबे होने और सफल होने के बीच कोई रिश्ता है. इसलिए मुझे इसका हल खोजना था."
क्या मैं कभी चल पाऊँगा?
सैम ने अपने विकल्प तलाशने शुरू किए लेकिन ऊँची एड़ी के जूते या स्ट्रेचिंग एक्सरसाइज़ जैसे अस्थायी हल को लेकर वो ख़ुश नहीं थे.
जब उन्हें टांगों की लंबाई बढ़ाने की सर्जरी के बारे में पता चला तो उन्हें इसमें दिलचस्पी हुई. अपनी माँ से बात करने के बाद और सारे रिस्क के बारे में सोचने के बाद उन्होंने फ़ैसला किया कि उनकी समस्याओं का हल ऑपरेशन में ही है.
साल 2015 में उन्होंने सर्जरी करवाई और उनकी लम्बाई पाँच फुट चार इंच से बढ़ कर पाँच फुट सात इंच हो गई.
उन्होंने बताया, "डॉक्टर ने पहली बातचीत में ही मुझे स्पष्ट कर दिया था कि ये सर्जरी कितनी मुश्किल होने वाली है. मैं इस चिंता में था कि तीन इंच बढ़ने के बाद मैं क्या कर पाऊँगा. क्या मैं चल पाऊँगा? क्या मैं दौड़ पाऊँगा?"
"ऑपरेशन के बाद मेरी फ़िज़िकल थेरेपी हुई. हफ़्ते में तीन-चार दिन कुछ घंटों के लिए थेरपी होती थी. ये लगभग छह महीने तक चली. ये आपके स्वभाव को नम्र कर देने वाला अनुभव था.''
DR S. ROBERT ROZBRUCH
सर्जरी के पहले और बाद का, सैम के टांगों का एक्स-रे जिसमें मेटर रॉड स्पष्ट देखे जा सकते हैं.
''ये पागलपन भी था कि अपनी दोनों टाँगे तोड़ कर फिर से चलना सीखो. देखने में तो ये एक कॉसमेटिक सर्जरी है लेकिन इसने मेरे मानसिक स्वास्थ्य के लिए बहुत कुछ किया."
सर्जरी के पहले और बाद का, सैम के टांगों का एक्स-रे जिसमें मेटर रॉड स्पष्ट देखे जा सकते हैं.
टांगें लंबी करवाने की सर्जरी एक दर्जन से ज़्यादा देशों में होती है और कई मरीज़ इसके ज़रिए पाँच इंच तक अपनी लंबाई बढ़वा पाते हैं. ये कहना तो मुश्किल है कि हर साल कितने लोग ये सर्जरी करवाते हैं लेकिन क्लिनिकों का कहना है कि इसकी लोकप्रियता बढ़ रही है. बीबीसी ने दुनिया के कई ऐसे क्लिनिक्स से सम्पर्क किया और जानना चाहा कि वे ऐसे कितने ऑपरेशन करते हैं.
ये संख्या अलग-अलग है. अमेरिका, जर्मनी और दक्षिण कोरिया के बड़े क्लिनिक्स में हर साल 100-200 ऐसे ऑपरेशन होते हैं. स्पेन, भारत, तुर्की और इटली में हर साल 20-40 ऐसे ऑपरेशन होते हैं. ब्रिटेन में ये संख्या क़रीब 15 है. जितने भी क्लिनिक्स में बीबीसी ने बात की, उन सभी में हर साल ये सर्जरी करवाने वालों की संख्या बढ़ी है.
ब्रिटेन में ये सर्जरी कम ही प्राइवेट क्लिनिकों में ही होती है और इसे केयर क्वॉलिटी कमीशन देखता है. यहाँ इस सर्जरी की क़ीमत 50 हज़ार पाउंड है. वहीं, अमेरिका में इसकी क़ीमत 75 हज़ार डॉलर से 2,80,000 डॉलर तक रहती है.
ये सर्जरी लंबी चलने वाली, महंगी और दर्दनाक है. इस सर्जरी की खोज करने वाले सोवियत डॉक्टर गेव्रिल इलिज़ारोव थे जो द्वितीय विश्व युद्ध से लौट रहे घायल सैनिकों का इलाज किया करते थे. बीते 70 साल में ये सर्जरी बेहतर हुई है लेकिन इसके कई मूल सिद्धांत अब भी पहले जैसे ही हैं.
टांग की हड्डियों में छेद करके उन्हें दो हिस्सों में तोड़ा जाता है. फिर सर्जरी से एक धातु की रॉड को हड्डी के अंदर लगाया जाता है और कई पेचों की मदद से उसे टिकाया जाता है. इस रॉड को हर दिन एक एक मिलीमीटर लंबा किया जाता है और तब तक किया जाता है जब तक मरीज़ की मनचाही लंबाई ना हो जाए और हड्डियाँ पूरी तरह न जुड़ जाएँ.
इसके बाद मरीज़ को कई महीनों तक चलने की रोज़ कोशिश करनी होती है. इस सर्जरी में कई जटिलताएं भी सामने आ सकती हैं जैसे किसी नस को नुक़सान पहुँच सकता है, खून के थक्के बन सकते हैं और हो सकता है कि हड्डियाँ फिर से जुड़ें ही ना.
मैंने अपनी लंबाई तीन इंच बढ़ाई
इस बात को बार्नी बहुत अच्छे से समझते हैं. साल 2015 में उन्होंने इटली में ये सर्जरी करवाई थी जिसके बाद उनकी लम्बाई तीन इंच बढ़ गई थी. दरअसल, उन्हें एक समस्या हुई थी जिसमें उनकी टांगों को सीधा करने की ज़रूरत थी. तो उन्होंने इसके इलाज के साथ-साथ टांगों को लंबा करवाने का भी फ़ैसला किया.
उन्हें आश्वस्त किया गया कि दोनों सर्जरी साथ में हो सकती हैं और रिकवरी का वक़्त भी प्रभावित नहीं होगा. लेकिन सर्जरी के बाद से अब तक वह समस्या झेल रहे हैं.
उनका कहना है, "अगर मैं 16 साल का होता तो शायद इतनी समस्या ना होती. लेकिन ऑपरेशन के वक़्त मैं 46 साल का था."
"मेरी टांगों को खींचा गया लेकिन मेरी हड्डियाँ फिर पहले जैसी नहीं हो पायी. उनमें तीन इंच का गैप है- दो हड्डियाँ और उनके बीच में एक धातु की प्लेट है."
बार्नी उस प्रक्रिया के दौरा के शारीरिक दर्द के बारे में भी बताते हैं. वो कहते हैं "ऐसा लग रहा था जैसे टांगों की नसें खींची जा रही थी. ऐसा वक़्त भी था जब आप दर्द से ध्यान हटा ही नहीं सकते. ये बहुत कष्टदायी था."
बार्नी की हड्डियों में गैप होने के बावजूद, शरीर का भार लेने में सक्षम रॉड की वजह से वे चल-फिर तो पाते हैं लेकिन ये भी सच है कि उनकी स्थिति गम्भीर है.
"ऐसा भी एक पल था जब मुझे लगा कि मैं फँस गया हूँ. मैं ख़ुशक़िस्मत था कि मेरा परिवार और बॉस बहुत अच्छे हैं. लेकिन ये समस्या जब बढ़ जाती है तो सहयोग की ज़रूरत पड़ती है. एक बार जब चीज़ें बिगड़ती हैं तो वो और बिगड़ती चली जाती हैं."
ये सर्जरी प्राइवेट क्लिनिक पर ही उपलब्ध है. कितने लोगों को सर्जरी के बाद इन जटिलताओं का सामना करना पड़ता है, इसे लेकर कम ही जानकारी मौजूद है.
लेकिन ब्रिटिश ओर्थोपिडिक एसोसिएशन के प्रोफ़ेसर हमीश सिंपसन ने इस सर्जरी के संभावित ख़तरों के बारे में बताते हैं.
वो कहते हैं, "पिछले दशकों में ये तकनीक काफ़ी बेहतर हुई है जिसकी वजह से सर्जरी भी सुरक्षित हुई है. लेकिन हड्डी बढ़ाने के साथ-साथ माँसपेशियां, नसें, रक्तवाहिनियाँ और त्वचा भी बढ़ानी पड़ती हैं जिसकी वजह से ये एक जटिल प्रक्रिया है और जटिलता पैदा होने की दर भी ज़्यादा है."
दिमाग़ की सर्जरी होती रही और मरीज़ ड्रम बजाता रहा
ब्रिटेन के ओर्थोपिडिक सर्जन डॉक्टर डेविड गुडियर ने कहा कि वे ऐसी सर्जरी करवाने की चाह रखने वाले जिन लोगों से मिले हैं, उनमें मानसिक समस्याएँ देखने में आयी हैं. उनका कहना है कि जैसे-जैसे ज़्यादा लोग इस सर्जरी के विकल्प को अपना रहे हैं, उन्हें डर है कि लोग अपनी सेहत से ज़्यादा पैसे को प्राथमिकता ना देने लगें.
उन्होंने कहा, "जब लोगों के सामने ये विकल्प होगा कि वे सर्जिकल विशेषज्ञता वाले के पास जाएँ या सस्ती सर्जरी वाले के पास तो मुझे नहीं लगता कि लोगों को स्पष्ट तौर पर बताया जाएगा कि उनके साथ क्या ग़लत हो सकता है."
"क्या होगा अगर आप कहीं बाहर से सर्जरी करवा आएँ और ब्रिटेन वापस आकर आपको सर्जरी की जटिलता का सामना करना पड़े? तो आप नैशनल हेल्थ सर्विस के ज़रिए मेरे जैसे डॉक्टर के पास आएँगे और हमें ही फिर आगे का देखना होगा."
जिस दिन हमारी मुलाक़ात हुई, उससे अगले दिन ही बार्नी की टांग की हड्डी से धातु की प्लेट निकाली जानी थी, यानी सर्जरी के पाँच साल बाद. दर्द, ख़र्च और कई सालों की कोशिश के बाद भी उन्हें कम ही पछतावा है.
"बहुत से लोग होते हैं जिनके लिए सर्जरी सफल साबित होती है, वे चुपचाप अपनी ज़िंदगी जी रहे होते हैं. मेरी रिकवरी में अभी वक़्त लगेगा लेकिन मुझे लगता है कि मेरे लिए ऑपरेशन सही था. इसकी वजह से मुझे अपनी ज़िंदगी दोबारा बनाने का मौक़ा मिला, ख़ुद को उस पूर्वाग्रह से आज़ादी मिली जो ठिगने लोग अनुभव करते हैं." (bbc.com)
वाशिंगटन, 6 दिसंबर । अमरीकी राज्य नेब्रास्का में एक 61 वर्षीय महिला ने अपनी ही पोती को जन्म दिया है।
वो अपने समलैंगिक बेटे और उनके पति के लिए सरोगेट बनी थीं। बच्ची के जन्म के बाद से परिवार की खुशी का ठिकाना नहीं है।
सेसिल एलेग ने अपने बेटे मैथ्यू एलेग और उनके पति एलियट डफ़र्टी की बेटी को अपनी कोख में रखा और पिछले हफ़्ते बेबी उमा लुईस को जन्म दिया।
सेसिल बताती हैं कि उन्होंने सरोगेट बनने की पेशकश तब की थी जब उनके बेटे और एलियट ने पहली बार परिवार शुरू करने की बात कही थी।
सेसिल बीबीसी से कहती हैं, बिल्कुल, वो हंस रहे थे।
उस वक्त उनकी उम्र 59 साल थी। वो बताती हैं कि पहले परिवार ने उनके सुझाव को गंभीरता से ना लेकर मज़ाक के तौर पर लिया।
सेसिल के लिए उनके बेटे के पति एलियट डफ़र्टी कहते हैं, उनकी तरफ़ से आया ये एक बहुत ही सुंदर भाव लगा। वो एक निस्वार्थ महिला हैं।
लेकिन सेसिल के घर के नज़दीक ही रहने वाले मैथ्यू और एलियट ने जब अपने बच्चे को जन्म देने के लिए विकल्पों की तलाश करनी शुरू की तो एक डॉक्टर ने उन्हें कहा कि ये एक अच्छा विकल्प हो सकता है।
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अपनी बेटी के जन्म के दिन मैथ्यू और एलियट
डॉक्टर ने सेसिल से बातचीत की और उनके कई टेस्ट किए गए, इस सब के बाद सरोगेसी के लिए हरी झंडी मिल गई।
वो कहती हैं, मैं सेहत का बहुत ध्यान रखती हूं। इस बात पर संदेह करने का कोई कारण नहीं था कि मैं बच्चे को अपनी कोख में रख सकती हूं।
मैथ्यू ने अपना स्पर्म दिया और एलियट की बहन ली एग डोनर बनीं।
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सेसिल एलेग अपनी पोती उमा के साथ
हेयर ड्रेसर के तौर पर काम करने वाले एलियट कहते हैं, स्ट्रेट कपल आईवीएफ को अंतिम उपाय मान सकते हैं, लेकिन उनके लिए बायोलॉजिकल बच्चे के लिए उनकी ये एकमात्र आशा थी।
एक स्कूल में पढ़ाने वाले मैथ्यू कहते हैं, हम हमेशा से जानते थे कि हमें सबसे अलग होना होगा और इसे लेकर कुछ अलग सोचना होगा।
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उमा की एग डोनर और एलियट की बहन ली य्रीबे, एलियट, सेसिल और मैथ्यू
सेसिल कहती हैं कि गर्भावस्था में कोई जटिलता नहीं हुई, हालांकि उनके अपने तीन बच्चों के दौरान की प्रेगनेंसी के मुकाबले आम लक्षण थोड़े से ज़्यादा थे
उनकी उम्र का सबसे स्पष्ट संकेत तब दिखा जब सेसिल की कोख में भूण इम्प्लांट करने के कुछ ही दिन बीते थे।
एक हफ्ते से भी कम का वक़्त हुआ था और मैथ्यू और एलियट प्रेगनेंसी टेस्ट किट ले आए। ताकि देख सकें कि भ्रूण सफलतापूर्वक ट्रांस्फर हुआ है या नहीं।
सेसिल हंसते हुए कहती हैं, हमसे कहा गया था कि अभी टेस्ट ना करें। लेकिन लड़के इंतज़ार नहीं कर पा रहे थे।
सेसिल ने टेस्ट किया और ये देख कर टूट गईं कि नतीजा नेगेटिव आया है। लेकिन जब मैथ्यू मां को संभालने के लिए उस दिन शाम में घर आए तो कुछ ऐसा देखा जिसे वो नहीं देख पाई थीं। टेस्ट पर एक दूसरी गुलाबी रेखा दिख रही थी। जिससे प्रेगनेंसी की पुष्टि हो रही थी।
सेसिल कहती हैं कि लड़के हंसते हुए कहने लगे, मां तुम्हारी आंखों की रोशनी कम हो गई है। वो कहती हैं, वो बहुत ही खुशी का पल था।
सेसिल मैथ्यू और एलियट की बात याद करती हैं, वो कुछ देख नहीं सकती हैं, लेकिन बच्चे को जन्म ज़रूर दे देंगी।
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जब मैथ्यू और एलियट अपनी बेटी उमा से मिले
सेसिल कहती हैं कि उनकी प्रेगनेंसी को लेकर ज़्यादातर प्रतिक्रियाएं सकारात्मक थीं, लेकिन लोग हैरान भी हुए। ख़ासकर उनके अपने बच्चे और मैथ्यू के भाई-बहन।
उन्होंने कहा, जब सब को पूरी बात पता चली तो सबने समर्थन दिया।
लेकिन इस प्रेगनेंसी ने नेब्रास्का में एलजीबीटी परिवारों के ख़िलाफ़ भेदभाव को सामने ला दिया।
अमरीकी राज्य नेब्रास्का में गे शादियों को क़ानूनी मान्यता मिली हुई है। 2015 में सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फ़ैसले के बाद से ऐसी शादियां हो रही हैं। लेकिन नेब्रास्का में सेक्शुअल ओरिएंटेशन के आधार पर होने वाले भेदभाव पर प्रतिबंध लगाने वाला कोई क़ानून मौजूद नहीं है।
सेसिल कहती हैं कि उन्हें अपनी प्रेगनेंसी पर होने वाले ख़र्च के लिए बीमा कंपनी से लडऩा पड़ा। जिसका कवर उन्हें अपने ख़ुद के बच्चों के जन्म पर मिलता। लेकिन इस लड़ाई में वो असफल रहीं।
और क्योंकि क़ानून जन्म देने वाले शख़्स को बच्चे की मां मानता है, इसलिए उमा के जन्म प्रमाणपत्र पर सेसिल और उनके बेटे का नाम है। जबकि एलियट का नाम नहीं है।
मैथ्यू कहते हैं, ये उन चीज़ों का महज़ एक छोटा सा उदाहरण है जो हमारे सामने रोड़े खड़े करती हैं।
मैथ्यू चार साल पहले भी सुर्खियों में रहे थे जब उन्हें स्कूल की नौकरी से निकाल दिया गया था, क्योंकि उन्होंने स्कूल के प्रशासन को जानकारी दी थी कि वो और एलियट शादी करने की योजना बना रहे हैं।
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मैथ्यू के साथ हुए व्यवहार ने उनके समुदाय में ग़ुस्सा भर दिया। जिसके बाद परिजनों, पूर्व और मौजूदा छात्रों ने एक ऑनलाइन पिटीशन चलाई और मैथ्यू और भविष्य के फेकेल्टी के खिलाफ एम्प्लॉयमेंट भेदभाव को ख़त्म करने की मांग की।
पिटीशन को 102,995 लोगों का समर्थन मिला।
सेसिल कहती हैं कि आम तौर पर कोई परिवार एलजीबीटी से जुड़े लोगों और परिवारों के खिलाफ नफरत वाले उदाहरणों को काउंटर करने के लिए अपनी कहानी साझा करता है और संदेश देता है कि कहीं ना कहीं हमेशा उम्मीद होती है।
अपने और अपने परिवार के लिए आ रही नकारात्मक प्रतिक्रियाओं पर मैथ्यू कहते हैं, अब मैं सीख रहा हूं कि इन्हें व्यक्तिगत तौर पर ना लूं। अंत में तो हमारे पास एक परिवार है, दोस्त हैं और बड़ा समुदाय है जो हमें सपोर्ट करता है।
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सेसिल कहती हैं, इस बच्ची के आस-पास कई लोग इसे समर्थन करने के लिए मौजूद हैं। ये एक प्यारे परिवार में बड़ी होने वाली है।
आखिर में वो कहती हैं, ये सब ऐसे ही होना तय था। (bbc.com)
अर्जेंटीना, 6 दिसंबर । लातिन अमेरिकी देश अर्जेंटीना ने कोरोना वायरस महामारी को देखते हुए एक नया संपत्ति क़ानून पास किया है जिसके तहत देश के पूंजीपतियों पर एक ख़ास टैक्स लगया जाएगा।
सरकार का कहना है कि इससे इक_ा किए धन का इस्तेमाल दवा और जरूरी चीजों को खरीदने में और राहत कार्य में किया जाएगा।
शुक्रवार को सीनेटरों ने लखपतियों पर टैक्स कहे जा रहे इस विशेष संपत्ति कर के प्रस्ताव को 42 मतों से पारित कर दिया। इसके विरोध में 26 मत पड़े।
इस नए कानून के अनुसार ये टैक्स एक बार ही लगाया जाएगा। ये उन लोगों पर लागू होगा जिनके पास 20 करोड़ पेसो यानी 25 लाख डॉलर से अधिक की संपत्ति है। देश में करीब 12,000 ऐसे लखपति हैं जिन्हें इस टैक्स के तहत सरकार को कर देना होगा।
अर्जेंटीना में अब तक कोरोना संक्रमण के 15 लाख मामले दर्ज किए जा चुके हैं जबकि 40,000 लोगों की मौत इस वायरस के कारण हुई है।
अक्तूबर के महीने में यहां कोरोना संक्रमितों की संख्या 10 लाख हो गई थी। मात्र 4।5 करोड़ की आबादी वाला ये देश कोरोना से बुरी तरह प्रभावित देशों की सूची में दुनिया का पाँचवा और सबसे छोटा देश बन गया था।
पहले से ही बेरोजगारी, गरीबी और सरकारी कर्ज की समस्या से जूझ रहे इस मुल्क की अर्थव्यवस्था के लिए कोरोना के कारण लगाए गए लॉकडाउन ने और मुश्किलें खड़ी कर दीं। 2018 से ही अर्जेंटीना आर्थिक मंदी की मार झेल रहा है।
कानून का समर्थन कर रहे एक मंत्री का कहना है कि इस नए टैक्स क़ानून का असर केवल देश के 0।8 फीसदी करदाताओं पर पड़ेगा। जो लोग इसके दायरे में आएंगे उन्हें देश के भीतर मौजूद संपत्ति पर 3।5 फीसदी और देश के बाहर मौजूद संपत्ति पर 5।25 फ़ीसदी टैक्स देना होगा।
बचे धन में से 20 फीसदी छोटे और मझोले कारोबार को राहत पहुंचाने के लिए, 20 फीसदी छात्रों को स्कॉलरशिप देने के लिए, 15 फीसदी सामाजिक विकास के लिए और बाकी 25 फीसदी का इस्तेमाल प्राकृतिक गैस से जुड़े उद्योगों में किया जाएगा।
मध्यमार्गी-वामपंथी राष्ट्रपति अल्बेर्टो फर्नान्डेज़ की सरकार को उम्मीद है कि इस नए टैक्स की मदद से वो 300 अरब पेसो तक इक_ा कर सकेगी।
हालांकि विपक्षी गुटों का कहना है कि एक तरफ़ इससे विदेशी निवेशकों को निराशा होगी तो दूसरी तरफ ये एक बार लगने वाला टैक्स बन कर नहीं रहेगा।मध्यमार्गी-दक्षिणपंथी पार्टी के यून्तोस पोर एल कैम्बियो का कहना है कि एक तरह से व्यक्ति की संपत्ति जब्त करने जैसा है।(bbc.com)
बीजिंग, 6 दिसम्बर | चीन में एक कोयला खदान में हुई दुर्घटना में मरने वालों की संख्या बढ़कर 23 हो गई है। अधिकारियों ने रविवार को ये जानकारी दी। समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, होंगचुआन जिले की योंगचुआन जिले में काफी समय से बंद डियाओसुयॉन्ग कोयला खदान में शुक्रवार शाम को यह हादसा हुआ था, जब 24 मजदूर यहां काम कर रहे थे।
शनिवार को, फंसे श्रमिकों में से एक को सफलतापूर्वक बचाया गया।
खदान को दो महीने पहले बंद कर दिया गया था।
दुर्घटना के कारणों की आगे जांच की जा रही है।
--आईएएनएस
पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज़ शरीफ़ को भ्रष्टाचार के एक मामले में सात साल क़ैद की सज़ा सुनाने वाले नेशनल एकाउंटीबिलिटी ब्यूरो (नैब) के पूर्व जज अरशद मलिक की कोरोना से मौत हो गई है.
अख़बार एक्सप्रेस के अनुसार जज अरशद मलिक पिछले 25 दिनों से इस्लामाबाद के एक निजी अस्पताल में भर्ती थे और पिछले पाँच दिनों से वेंटिलेटर पर थे. शुक्रवार को उनका निधन हो गया.
जज अरशद मलिक ने दिसंबर 2018 में नवाज़ शरीफ़ को सात साल की सज़ा सुनाई थी. जुलाई 2019 में नवाज़ शरीफ़ की बेटी और मुस्लिम लीग (नवाज़ गुट) पार्टी की उपाध्यक्ष मरियम नवाज़ ने एक वीडियो सार्वजनिक किया था जिसमें दावा किया गया था कि जज अरशद मलिक ने दबाव में फ़ैसला सुनाया था.
सुप्रीम कोर्ट ने इसका संज्ञान लेते हुए अरशद मलिक को नैब के जज की कुर्सी से हटा दिया था और उन्हें ज़िला सेशन जज बना दिया गया था.
बाद में लाहौर हाईकोर्ट की एक कमेटी ने भी उन्हें वीडियो स्कैंडल में दोषी पाया था और उन्हें ज़िला सेशन जज के पद से भी बर्ख़ास्त कर दिया गया था. अरशद मलिक ने अपनी बर्ख़ास्तगी को लाहौर हाईकोर्ट में चुनौती दी थी जिस पर अभी तक फ़ैसला नहीं आया था. (bbc)
बीजिंग, 5 दिसंबर | अमेरिकी उपभोक्ता समाचार और व्यापार चैनल (सीएनबीसी) की वैश्विक मुख्य वित्तीय अधिकारी समिति ने हाल ही में चौथी तिमाही की सर्वेक्षण रिपोर्ट जारी की। इसमें ग्लोबल मल्टीनेशनल कॉरपोरेशन के मुख्य वित्तीय अधिकारियों ने चीन के आर्थिक संभावना स्तर को उन्नत किया और माना कि चीन कदम-ब-कदम कोरोना वायरस महामारी के प्रभाव को दूर कर आर्थिक वृद्धि साकार कर रहा है। सीएनबीसी वैश्विक मुख्य वित्तीय अधिकारी समिति बड़ी सीमा-पार कंपनियों के सीएफओ से गठित है। सर्वेक्षण परिणाम के मुताबिक उत्तरदाताओं ने चीनी आर्थिक संभावना स्तर को तीसरी तिमाही के 'स्थिर स्तर' से 'हल्के सुधार' तक उन्नत किया।
इस संस्था ने अमेरिका, कनाडा और ब्रिटेन की आर्थिक संभावना को 'हल्की गिरावट' से 'स्थिर' स्तर तक उन्नत किया। जापान, अन्य एशियाई देशों व क्षेत्रों, तथा यूरो क्षेत्रों की आर्थिक संभावना को 'स्थिर' स्तर तक बनाए रखा गया, वहीं अफ्रीका, मध्य-पूर्व, लातिन-अमेरिका और रूस की संभावना फिर भी 'हल्की गिरावट' पर बरकरार है।
-- आईएएनएस
बीजिंग, 5 दिसंबर | संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने 3 दिसंबर को शांति स्थापना और सतत शांति: सुरक्षा क्षेत्र में सुधार विषय पर एक वीडियो सम्मेलन आयोजित किया। संयुक्त राष्ट्र में चीन के स्थायी प्रतिनिधि चांग च्युन ने इसमें भाग लेकर चीन का रुख स्पष्ट किया। उन्होंने कहा कि स्थायी शांति और सतत विकास हासिल करने के लिए सुरक्षा क्षेत्र में सुधार करना एक महत्वपूर्ण आधार है। हर देश को अपनी राष्ट्रीय परिस्थितियों के मुताबिक अपना सुधार करना चाहिए, और हर देश की अपनी नीति होनी चाहिए।
चांग च्युन ने कहा कि संघर्ष-उपरांत देशों को आतंकवाद, हिंसक चरमपंथ, जातीय मुठभेड़, नेटवर्क सुरक्षा और अंतरराष्ट्रीय संगठित अपराध जैसे जोखिमों का सामना करना पड़ता है। इसलिए उनकी पूर्व चेतावनी, आपात प्रतिक्रिया और आतंकवाद विरोधी क्षमताओं में सुधार किए जाने की जरूरत है। इसके साथ संघर्ष-उपरांत देश अभी भी अपने यहां तैनात विदेशी सैनिकों की गंभीर आपराधिक चुनौतियों का सामना कर रहे हैं। उन्हें कानून के शासन में सुधार कर विभिन्न आपराधिक कृत्यों को न्यायिक दायरे में लाने की आवश्यकता है।
-- आईएएनएस
इस्लामाबाद, 5 दिसंबर | इस्लामाबाद हाईकोर्ट ने पाकिस्तानी सरकार द्वारा जारी किए गए सोशल मीडिया के नए नियमों को लेकर सवाल उठाए हैं। शनिवार को यह जानकारी दी मीडिया को दी गई। द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक, कोर्ट ने शुक्रवार को हाल ही में स्वीकृत नियमों के खिलाफ पाकिस्तान बार काउंसिल (पीबीसी) द्वारा दायर याचिका पर सुनवाई की, जिसका शीर्षक 'रिमूवल एंड ब्लॉकिंग ऑफ अनलॉफूल ऑनलाइन कंटेंट (प्रोसिजर, ओवरसाइट एंड सेफगार्ड्स) रूल्स 2020' है।
पीबीसी का कहना है कि इन नियमों ने संविधान द्वारा प्रदत्त अधिकारों का उल्लंघन किया है।
इस्लामाबाद हाईकोर्ट ने चीफ जस्टिस अतहर मिनल्लाह ने अपनी असहमति जताते हुए कहा कि यदि नए नियमों ने आलोचनाओं को हतोत्साहित किया है, तो यह जवाबदेही को भी हतोत्साहित करेगा।
उन्होंने आगे कहा, "लोकतंत्र के लिए आलोचना बेहद महत्वपूर्ण है।" साथ में उन्होंने यह भी कहा कि पाकिस्तान दूरसंचार प्राधिकरण (पीटीए) द्वारा इसे प्रोत्साहित किया जाना चाहिए।
इस्लामाबाद हाईकोर्ट ने पीबीसी द्वारा उठाई गईं आपत्तियों को ध्यान में रखते हुए पीटीए को निर्देश जारी किए हैं और 18 दिसंबर को अगली सुनवाई की तारीख रखी है।
सरकार ने पिछले महीने मानवाधिकार कार्यकर्ताओं और संगठनों द्वारा आलोचना किए जाने के बावजूद सोशल मीडिया के नियमों को मंजूरी दे दी थी।(आईएएनएस)
बैंकॉक, 5 दिसम्बर | थाईलैंड के नाखोन सी थामाराट प्रांत में अचानक आई बाढ़ के कारण 13 लोगों के मारे जाने की खबर है। आपदा प्रबंधन अधिकारियों ने शनिवार को यह जानकारी दी।
डिपार्टमेंट ऑफ डिजास्टर प्रीवेंशन एंड मिटिगेशन की रिपोर्ट के अनुसार नाखोन में बीते कुछ दिनों से हो रही मूसलाधार बारिश के कारण आई बाढ़ में 13 ग्रामवासी मारे गए हैं।
पिछले महीने से लगातार हो रही बारिश के कारण थाईलैंड के 6 दक्षिणी राज्यों में भयानक बाढ़ आई हुई है। इसके कारण 66 जिलों के 2680 गावों के 321,057 परिवार प्रभावित हुए हैं।(आईएएनएस)
इस्लामाबाद, 5 दिसंबर| पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा है कि उनकी सरकार इनाम और सजा की एक नई प्रणाली शुरू कर रही है, जिसके तहत भ्रष्टाचार और अनियमितताओं में लिप्त पाए जाने पर सिविल सेवकों को स्थानांतरित नहीं किया जाएगा, बल्कि बर्खास्त किया जाएगा। डॉन न्यूज ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री हाउस में पाकिस्तान सिटीजन पोर्टल के दो साल पूरे होने पर आयोजित एक समारोह को संबोधित कर खान के हवाले से कहा, "हम भ्रष्ट नौकरशाह का अब स्थानांतरण नहीं करेंगे, बल्कि उसे बर्खास्त कर देंगे।"
प्रधानमंत्री ने 2 साल में 30 लाख शिकायतों को दर्ज करने के लिए पाकिस्तान सिटीजन पोर्टल की सराहना की। साथ ही लोगों से आग्रह किया कि वे अधिकारियों को जबावदेह बनाए रखने और अपने सशक्तीकरण के लिए इस मंच का उपयोग करें।
खान ने कहा, "मैं चाहता हूं कि ज्यादा से ज्यादा लोग इस सिटीजन पोर्टल का उपयोग करें। हम पोर्टल को और मजबूत करेंगे क्योंकि यह नागरिकों के लिए शिकायत दर्ज करने का सबसे अच्छा तरीका है। वहीं एक प्रधानमंत्री के रूप में मेरे लिए यह जानना भी आसान है कि कौन सा मंत्री या विभाग अच्छा काम कर रहा है और कौन सा नौकरशाह खराब प्रदर्शन कर रहा है।"
आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, 28 अक्टूबर, 2018 को लॉन्च होने के बाद से लगभग 30 लाख लोगों ने पोर्टल पर अपना पंजीकरण कराया है और इस पर 27 लाख शिकायतें दर्ज हुईं हैं, जिनमें से 25 लाख का समाधान किया जा चुका है। (आईएएनएस)
बीजिंग, 5 दिसम्बर| चीन की एक खदान में कार्बन मोनोऑक्साइड का स्तर खतरनाक स्तर पर पहुंचने के कारण 18 लोगों की मौत हो गई जबकि एक आदमी को बचा लिया गया है। अधिकारियों ने शनिवार को इसकी जानकारी दी।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ के मुताबिक यह दुर्घटना शुक्रवार को शाम पांच बजे योंगचुआन जिले के बंद पड़े डियाओसुइदोंग कोल माइन में घटी।
घटना के समय कामगार गड्ढे में उपकरणों को खोल रहे थे। उस समय गड्ढे में 24 मजदूर थे।
इस खदान को दो महीने पहले बंद कर दिया गया था।
बचाव कार्य जारी है जबकि दुर्घटना के कारणों का पता लगाने की कोशिश जारी है। (आईएएनएस)
वाशिंगटन, 5 दिसंबर | अमेरिका में कोविड-19 मामलों को लेकर एक भयावह रिकॉर्ड बना है, यहां महज 24 घंटों में 2,25,201 मामले दर्ज हुए हैं। जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी के मुताबिक, महामारी शुरू होने के बाद से ये अब तक के सबसे बड़े एक-दिवसीय मामले हैं।
यूनिवर्सिटी के सेंटर फॉर सिस्टम साइंस एंड इंजीनियरिंग (सीएसएसई) ने शनिवार को अपने नए आंकड़ों में बताया कि शुक्रवार को देश में कुल मामलों की संख्या 14,343,430 हो गई है। वहीं इन्हीं 24 घंटों के दौरान देश में 2,506 नई मौतें भी हुईं, इसके बाद देश में कोरोना के कारण कुल मौतों की संख्या 2,78,605 हो गई है। दुनिया में मामलों और मौतों, दोनों की संख्या में अमेरिका शीर्ष पर है।
बुधवार को यहां 1,96,227 मामले दर्ज होने के साथ एक-दिवसीय मामले की सबसे बड़ी संख्या का विश्व रिकॉर्ड बना था। इसके अलावा रोगियों के अस्पताल में भर्ती होने की संख्या भी 100,000 से अधिक हो गई।(आईएएनएस)
न्यूयॉर्क 5 दिसंबर| न्यूयॉर्क में 2,08,297 कोविड-19 परीक्षण हुए जिनमें से 11,271 पॉजिटिव आए, जिनका प्रतिशत 5.41 है। मामलों के पॉजिटिव आने की यह दर एक दिन पहले के 4.84 प्रतिशत से ऊपर है। यह जानकारी गर्वनर एंड्रयू क्यूमो ने ट्वीट करके दी है।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने शुक्रवार को बताया कि मई के बाद पहली बार दर 5 प्रतिशत से अधिक हुई। क्यूमो ने कहा कि राज्य की माइक्रो-क्लस्टर रणनीति के तहत फोकस क्षेत्रों में कोविड-19 परीक्षणों के पॉजिटिव आने की दर गुरुवार को 7.35 प्रतिशत थी जो कि बुधवार के 5.91 प्रतिशत से काफी ज्यादा थी। इन फोकस क्षेत्रों को छोड़कर राज्यव्यापी पॉजिटिवी दर गुरुवार को 4.79 प्रतिशत रही, जबकि एक दिन पहले यह 4.49 प्रतिशत थी।
वहीं गुरुवार को अस्पताल में 4,222 लोग थे, वहीं बुधवार को 4,063 लोग थे। क्यूमो ने चेतावनी दी थी कि मौजूदा हालातों को देखते हुए कुछ हफ्तों में यह आंकड़ा 6 हजार तक पहुंच सकता है।
गवर्नर ने एक अन्य ट्वीट में कहा, "कांग्रेस को पुनर्विचार करने से पहले राज्यों को मदद देने के लिए कोविड राहत बिल देना चाहिए। यह वो समय है जब वाशिंगटन को आगे आकर राहत देनी चाहिए।"
जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी में सेंटर फॉर सिस्टम साइंस एंड इंजीनियरिंग के मुताबिक शुक्रवार दोपहर तक न्यूयॉर्क राज्य में कोरोनावायरस के कारण 34,793 मौतें हो चुकी थीं, जो देश में सबसे ज्यादा हैं।
यूएस हाउस की स्पीकर नैन्सी पेलोसी और सीनेट माइनोरिटी लीडर चक शुमर ने बुधवार को एक कांट-छांट किए गए कोविड-19 राहत बिल को सहमति देने की इच्छा का संकेत दिया है और सीनेट के मेजोरिटी लीडर मिच मैककोनेल से बातचीत में शामिल होने का आग्रह किया है।
डेमोक्रेट्स-नियंत्रित प्रतिनिधि सभा ने अक्टूबर की शुरूआत में 2.2 खरब डॉलर का राहत बिल पारित किया, लेकिन सीनेट रिपब्लिकन ने अब 500 अरब अमेरिकी डॉलर के पैकेज के लिए जोर देना शुरू किया है। (आईएएनएस)
बीजिंग, 4 दिसंबर| चीनी राष्ट्रीय अंतरिक्ष ब्यूरो से मिली खबर के अनुसार 3 दिसंबर की रात को 11 बजकर 10 मिनट पर छांगअ-5 एस्सेंडर ने चंद्रमा की सतह पर प्रज्वलन किया। तीन हजार न्यूटन वाले इंजन के 6 मिनट तक काम करने के बाद उसने सुचारु रूप से चंद्रमा से मिट्टी लाने वाले एस्सेंडर को चांद की कक्षा में भेजा। जिससे चीन ने पहली बार पृथ्वी को छोड़कर अन्य खगोलीय पिंड पर सफलतापूर्वक उड़ान भरी।
विशेषज्ञों के अनुसार यह पृथ्वी पर उड़ान भरने की तरह नहीं है, छांगअ-5 के चांद की सतह पर टेकऑफ के लिये परिपक्व लॉन्च टॉवर सिस्टम मौजूद नहीं है। इसलिये लैंडर एस्सेंडर के अस्थायी टॉवर की भूमिका अदा करता है। टेकऑफ के दौरान शायद कुछ अप्रत्याशित समस्याएं पैदा होंगी। इसके अलावा क्योंकि चांद पर कोई नेविगेशन सैटेलाइट नहीं है, इसलिये भूमि पर स्थित निगरानी व नियंत्रण यंत्र की सहायता से उसे विशेष सेंसर के माध्यम से खुद पोजिशनिंग करनी पड़ती है।
उड़ान भरने से पहले लैंडर-एस्सेंडर संयोजन ने चांद की सतह पर चीन का राष्ट्रीय झंडा फहराया। फिर लैंडर व एस्सेंडर को अलग किया गया। यह पहली बार है कि चीन ने चांद की सतह पर अपने राष्ट्रीय झंडे का स्वतंत्र प्रदर्शन किया है। पृथ्वी पर वापस भेजे गये फोटो व वीडियो में यह देखा जा सकता है कि चीनी राष्ट्रीय झंडे का रंग लाल व आकर्षक है। (साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग) (आईएएनएस)
न्यूयॉर्क, 4 दिसंबर | भारतीय मूल के पूर्व अमेरिकी सर्जन जनरल विवेक मूर्ति के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडेन की हेल्थकेयर टीम में बड़ी और अहम भूमिका के लिए चुने जाने की प्रबल संभावना है।
मूर्ति वर्तमान में बाइडेन-हैरिस ट्रांजिशन कोविड-19 टास्क फोर्स के सह-अध्यक्ष हैं।
विलमिंगटन (डेलावेयर) में बाइडेन ट्रांजिशन हेडक्वार्टर से आ रही खबरों के मुताबिक, बाइडेन द्वारा अगले सप्ताह स्वास्थ्य और मानव सेवा सचिव के लिए अपनी पसंद की घोषणा करने की उम्मीद है और मूर्ति कथित तौर पर इस पद के लिए दौड़ में आगे हैं और साथ ही सर्जन जनरल की अपनी पूर्व भूमिका के लिए एक शीर्ष पसंद हैं।
मूर्ति 15 दिसंबर, 2014 से 21 अप्रैल, 2017 तक अमेरिका के 19 वें सर्जन जनरल के रूप में काम कर चुके हैं।
अपने मृदुभाषी स्वभाव के लिए पहजाने जाने वाले, मूर्ति बेस्टसेलर 'टुगेदर : हीलिंग पॉवर ऑफ ह्यूमन कनेक्शन इन ए समटाइम्स लोनली वल्र्ड' के लेखक भी हैं।
मूर्ति को 2017 में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा इस्तीफा देने के लिए कहा गया था, हालांकि उन्हें 2014 में पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा द्वारा चार साल के कार्यकाल के लिए नामित किया गया था।
सर्जन जनरल के रूप में सेवा करते हुए, मूर्ति ने अन्य सार्वजनिक स्वास्थ्य चुनौतियों के बीच इबोला और जीका वायरस के प्रसार का मुकाबला किया।
बाइडेन ने गुरुवार को एंथनी फौची के साथ भी बात की, जो नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एलर्जी एंड इंफेक्शस डिजीज का नेतृत्व करते हैं।
बाइडेन ने 'सीएनएन' को बताया कि वह फौची को एक मुख्य चिकित्सा सलाहकार और अपनी कोविड-19 सलाहकार टीम का सदस्य बना रहे हैं।
--आईएएनएस
वाशिंगटन, 4 दिसम्बर | अमेरिकी सीनेट में अगले सप्ताह इस संबंध में मतदान होगा कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) को हथियारों की बिक्री करने के फैसले पर रोक लगाई जाए या नहीं। एक शीर्ष अधिकारी ने यह जानकारी दी। द हिल न्यूज वेबसाइट के मुताबिक, न्यूजर्सी के डेमोक्रेट सीनेटर बॉब मेनेंडेज ने गुरुवार को एक बयान में कहा कि वह अगले सप्ताह मतदान की उम्मीद करते हैं, जिसे वह हथियार बिक्री प्रस्तावों को नियंत्रित करने वाले नियमों के कारण रिपब्लिकन के समर्थन के बिना कर सकते हैं।
सीनेटर ने बयान में कहा, "यह तैयार है। हम इसके लिए समर्थन जुटा रहे हैं।"
घोषणा के बाद मेनेंडेज के साथ सीनेटर रैंड पॉल (रिपब्लिकन) और क्रिस मर्फी (डेमोक्रेट) ने यूएई को 23 अरब डॉलर की एफ -35 लड़ाकू जेट, सशस्त्र ड्रोन, मिसाइल और बमों की बिक्री को रोकने के लिए अस्वीकृति के चार प्रस्ताव पेश किए।
पिछले महीने, प्रशासन ने सूचित किया कि उसने संयुक्त अरब अमीरात को 10.4 अरब डॉलर का 50 एफ-35, 2.97 अरब डॉलर का 18 एमक्यू-9बी ड्रोन और 10 अरब डॉलर का एयर-टू-एयर और एयर-टू-ग्राउंड युद्ध सामग्री पैकेज के बिक्री को मंजूरी दी है।
यदि प्रत्येक डेमोक्रेट प्रस्ताव का समर्थन करते हैं तो पार्टी को 51 वोट प्राप्त करने के लिए तीन रिपब्लिकन सीनेटरों की आवश्यकता होगी।
द हिल न्यूज वेबसाइट के मुताबिक, चूंकि पॉल एक को-स्पॉन्सर हैं, जिसका अर्थ है कि उन्हें केवल दो रिपब्लिकन सीनेटरों के वोट की आवश्यकता होगी।
पिछले साल कांग्रेस ने पत्रकार और वाशिंगटन पोस्ट के स्तंभकार जमाल खशोगी की हत्या पर नाराजगी जताते हुए सऊदी अरब और यूएई को हथियारों की बिक्री को रोकने के लिए वोट किया था।
--आईएएनएस
पेरिस, 4 दिसंबर | फ्रांसीसी अधिकारियों ने उन मस्जिदों का निरीक्षण करना शुरू कर दिया है जिन पर उन्हें इस्लामिक कट्टरपंथ, अलगाववाद और चरमपंथ को बढ़ावा देने का संदेह है।
गृह मंत्री जेराल्ड डर्मेनिन ने इस बारे में घोषणा करते हुए कहा कि कुछ मस्जिदों को बंद किया जा सकता है अगर उन्हें आतंकवाद या अलगाववाद को बढ़ावा देते पाया गया।
यह कदम फ्रांसीसी अधिकारियों द्वारा अक्टूबर में छह महीने के लिए पेरिस के एक प्रसिद्ध मस्जिद को बंद करने के बाद आया है। हाल ही में फ्रांस में कई आतंकी हमले हुए हैं, जिसके मद्देनजर कड़े कदम उठाए जा रहे हैं। इन घटनाओं में एक चेचन शरणार्थी द्वारा एक शिक्षक सैमुएल पैटी की सिर काटकर हत्या कर देना भी शामिल है। इस मस्जिद, जिसमें लगभग 1,500 उपासक थे, ने पैटी के बारे में एक फेसबुक वीडियो पोस्ट किया था।
पैटी ने अभिव्यक्ति की आजादी को लेकर कक्षा में चर्चा के दौरान पैगंबर मुहम्मद के दो कार्टून दिखाए थे। इसे लेकर मस्जिद ने उनकी आलोचना की थी।
पैटी की हत्या के बाद, राष्ट्रपति इमैनुएल मैकों ने कहा कि फ्रांस इस्लामिक कट्टरवाद के खिलाफ अस्तित्ववाद की लड़ाई में लगा हुआ है।
पैटी की हत्या के दो हफ्ते बाद, फ्रांस के नीस शहर में एक गिरजाघर के अंदर चाकू से हमला करके तीन लोगों की हत्या कर दी गई थी।
डर्मेनिन ने कहा, "आगामी दिनों में, अलगाववाद को बढ़ावा देने के संदेहास्पद धार्मिक स्थलों का निरीक्षण किया जाएगा। जो ऐसा कर रहें होंगे उन्हें बंद कर दिया जाएगा।"
2015 के शार्ली हेब्दो हत्याकांड के बाद से फ्रांस में नवीनतम इस्लामिक आतंकवादी हमलों के कारण मैक्रों लगातार दबाव में हैं।
2015 से इस्लामिक हिंसा के कारण 240 से अधिक लोगों की मौत हो चुकी है। हमलों को लेकर विपक्ष सरकार पर लगातार निशाना साध रहा है।
आईएएनएस
नई दिल्ली, 4 दिसंबर| केंद्र सरकार ने शुक्रवार को एक बड़ा कूटनीतिक हमला करते हुए कनाडा की सरकार को चेतावनी जारी की है। केंद्र ने कहा है कि अगर कनाडा ने भारत के घरेलू मामलों में हस्तक्षेप करना जारी रखा तो द्विपक्षीय संबंधों को गंभीर नुकसान पहुंच सकता है। भारतीय विदेश मंत्रालय ने कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो को नसीहत दी है कि वह भारत के आंतरिक मामलों में दखल देने की कोशिश न करें। अब विदेश मंत्रालय ने कनाडाई उच्चायुक्त को इस मामले पर तलब किया है।
एक आधिकारिक बयान में कहा गया कि कनाडाई उच्चायुक्त को आज (शुक्रवार) विदेश मंत्रालय की ओर से तलब किया गया और उन्हें सूचित किया कि भारतीय किसानों से संबंधित मुद्दों पर कनाडाई प्रधानमंत्री, कुछ कैबिनेट मंत्रियों और संसद सदस्यों द्वारा की गई टिप्पणी हमारे आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप है, जो कि हमें अस्वीकार्य है।
बयान में चेतावनी देते हुए कहा गया है, इस तरह की टिप्पणियां भारत और कनाडा के संबंधों पर गंभीर रूप से हानिकारक प्रभाव डाल सकती हैं।
मंत्रालय ने कहा, इन टिप्पणियों ने कनाडा में हमारे उच्चायोग और वाणिज्य दूतावासों के सामने चरमपंथी गतिविधियों को इकट्ठा करने को प्रोत्साहित किया है, जो बचाव एवं सुरक्षा के मुद्दे को बढ़ाते हैं।
मंत्रालय ने आगे कहा, हम उम्मीद करते हैं कि कनाडा सरकार भारतीय राजनयिक कर्मियों की पूरी सुरक्षा सुनिश्चित करेगी। इसके अलावा राजनेताओं के ऐसे बयानों से परहेज करना चाहिए जो चरमपंथी सक्रियता को बढ़ावा देते हैं।
केंद्र की ओर से हाल ही में पारित किए गए कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली से लगती हरियाणा और उत्तर प्रदेश की कई सीमाओं पर किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। किसानों को देश और विदेश से समर्थन मिल रहा है। इसी क्रम में कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने किसानों के आंदोलन का समर्थन करते हुए सरकार से आग्रह किया था कि वे उनकी मांगों पर ध्यान दें।
यही नहीं ट्रूडो सरकार कनाडा में खालिस्तानियों की समर्थक भी रही है। न केवल मोदी सरकार ने इस पर अपना विरोध दर्ज कराया है, बल्कि पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह ने भी कनाडा के प्रधानमंत्री की राजनीति पर उनकी भारत यात्रा के दौरान नाराजगी व्यक्त की थी।
(आईएएनएस)
इस्लामाबाद, 4 दिसम्बर| कोविड-19 महामारी पर संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूएनजीए) के एक विशेष सत्र को संबोधित करते हुए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कोरोनावायरस महामारी के चलते कई विकासशील देशों में आर्थिक पतन को देखते हुए इससे उबरने के लिए 10 सूत्रीय कार्य योजना का प्रस्ताव रखा है। द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक, गुरुवार को इस दो दिवसीय सत्र में करीबन सौ वैश्विक नेताओं के साथ वर्चुअली शामिल हुए इमरान ने महामारी से लड़ने की बात पर अपनी राय जाहिर की।
अपने इस संबोधन में इमरान ने वैश्विक वित्तीय वास्तुकला में सुधार किए जाने की आवश्यकता पर भी जोर दिया, जिसके तहत एक समावेशी और न्यायसंगत ऋण प्रबंधन तंत्र का निर्माण किए जाने, एक लोकतांत्रिक एसडीजी-केंद्रित व्यापार प्रणाली का निर्माण और एक उचित अंतर्राष्ट्रीय कर व्यवस्था स्थापित करने जैसी बात शामिल रही।
प्रधानमंत्री ने कहा कि महामारी के प्रभाव को सभी ने झेला है, लेकिन विकासशील देश इससे कहीं ज्यादा प्रभावित रहे हैं।
उन्होंने कहा, "अगर कोविड-19 के चलते विकासशील देशों में पैदा हुए आर्थिक समस्याओं से उबरना है, तो अंतर्राष्ट्रीय समुदायों को कुछ प्राथमिक कार्यो की पहचान करनी होगी और उस दिशा में काम शुरू करना होगा।"
प्रधानमंत्री ने आगे कहा, "आर्थिक सुरक्षा के अभाव में दुनिया में संघर्ष और विवाद बने रहेंगे और इनमें इजाफा होगा।" (आईएएनएस)
सुमी खान
ढाका, 4 दिसंबर | मार्च 1971 में पाकिस्तानी सेना द्वारा बेरहमी से मार दिए गए शहीद मधुसूदन डे की ढाका यूनिवर्सिटी (डीयू) कैम्पस में लगी प्रतिमा को अज्ञात बदमाशों ने आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त कर दिया।
यह घटना बुधवार रात को हुई।
मधुसूदन डे के सबसे छोटे पुत्र और मधुर कैंटीन के वर्तमान संचालक अरुण कुमार डे ने कहा, "मैं कैंटीन के अंदर व्यस्त था। शाम को लगभग 7.45 बजे, मेरे एक कर्मचारी ने अचानक प्रतिमा को पहुंचे आंशिक नुकसान को नोटिस किया और मुझे इसके बारे में बताया।"
उन्होंने कहा, "मैंने तुरंत मामले की सूचना ढाका यूनिवर्सिटी के प्रॉक्टर और शाहबाग पुलिस स्टेशन के प्रभारी अधिकारी को दी। उन्होंने घटनास्थल का दौरा किया और इसे ठीक करने का उपाय किया।"
डीयू परिसर में उनके (मधूसूदन) नाम वाले प्रतिष्ठित कैफेटेरिया के सामने लगी प्रतिमा के बाएं कान को टूटा हुआ पाया गया और आधी रात को इसकी मरम्मत की गई।
मधुसूदन डे, जिन्हें प्यार से 'मधु दा' कहा जाता था, एक कैफेटेरिया संचालक से कहीं बढ़कर थे।
उन्होंने सभी प्रगतिशील दिमाग वाले लोगों और उनके विचारों और सपनों को बढ़ावा देने के लिए अपनी कैंटीन के दरवाजे हमेशा खुले रखे थे।
पाकिस्तान के दौर में, हर राजनीतिक आंदोलन से पहले, छात्र नेता और कार्यकर्ता ढाका यूनिवर्सिटी परिसर में स्थित उनकी कैंटीन में इकट्ठा होते थे और वहां से आंदोलन संबंधी गतिविधि को अंजाम देते थे।
उन्हें इसके लिए कीमत चुकानी पड़ी। 25 मार्च 1971 की रात को सेना की कार्रवाई के बाद, मधुसूदन डे को उनकी पत्नी, बड़े बेटे और बहू के साथ हत्या कर दी गई।
बांग्लादेश की स्वतंत्रता के बाद, कैंटीन का औपचारिक रूप से नाम बदलकर मधु की कैंटीन कर दिया गया।
घटना के बारे में पूछे जाने पर, डीयू प्रॉक्टर प्रोफेसर एकेएम गोलम रब्बानी ने कहा, "यह अभी तक ज्ञात नहीं है कि प्रतिमा को जानबूझकर या अनजाने में नुकसान पहुंचाया गया। संबंधित अधिकारियों को मामले की जांच करने के लिए कहा गया है।"
मधुसूदन डे के योगदान और स्मृति के सम्मान में, 18 अप्रैल, 1995 को प्रतिमा का अनावरण किया गया था।
यह घटना ऐसे समय में हुई है जब जमात-ए-इस्लाम और हिफाजत-ए-इस्लाम समर्थित कट्टरपंथियों के नेता मामूनुर और बाबूनगरी ने बंगबंधु शेख मुजीबुर रहमान की मूर्ति को बुरिगंगा नदी में फेंकने की धमकी दी है।
उन्होंने घोषणा की है कि 'प्रतिमाएं शरिया के खिलाफ हैं और वे देश भर में लगी मूर्तियों को गिरा देंगे।(आईएएनएस)
अमेरिका के नव निर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडेन अमेरिकियों से 100 दिन तक मास्क पहनने की अपील करेंगे, जिससे कोरोना के संक्रमण पर काबू पाया जा सके. साथ ही बाइडेन चाहते हैं कि अमेरिकी स्वास्थ्य सलाहकार डॉ. फाउची ही बने रहें.
जो बाइडेन ने कहा है कि राष्ट्रपति पद की शपथ लिए जाने के पहले 100 दिनों तक मास्क लगाने को लेकर वे एक आदेश जारी करने की योजना बना रहे हैं. इस आदेश में सरकारी भवनों, अंतरराज्यीय परिवहन, विमान और ट्रेन में अमेरिकियों से आवश्यक रूप से मास्क लगाने को कहा जाएगा. गुरुवार को बाइडेन ने समाचार चैनल सीएनएन से कहा, "शपथ लेने के पहले दिन ही मैं जनता से 100 दिनो तक मास्क लगाने को कहूंगा, सिर्फ 100 दिनों तक मास्क लगाना होगा, हमेशा के लिए नहीं. मुझे लगता है कि हम नए मामलों में एक महत्वपूर्ण कमी देखेंगे."
पिछले हफ्ते थैंक्स गिविंग की छुट्टियों के बाद देशभर में नए मामले और मौतों में वृद्धि हुई है. महामारी की वजह से वर्तमान में एक लाख से ज्यादा लोग अस्पतालों में भर्ती हैं. गुरूवार को देश में 2,10,000 नए मामले सामने आए और 2,907 लोगों की इस भयंकर वायरस के कारण मौत हुई.
इस बीच अमेरिकी सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (सीडीसी) ने कोरोना संक्रमण के दौरान क्वारंटीन किए जाने की समयावधि को लेकर अपने दिशा-निर्देशों को संशोधित किया है. क्वारंटीन रहने की अवधि 14 दिन से घटाकर 10 दिन कर दी गई है, हालांकि यह मरीज की जांच के नतीजे और लक्षणों पर निर्भर करेगा.
डॉ. एंथनी फाउची पद पर बने रहेंगे
इसी इंटरव्यू में बाइडेन ने कहा कि वे चाहते हैं कि शीर्ष अमेरिकी संक्रामक रोग विशेषज्ञ डॉ. एंथनी फाउची नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एलर्जी एंड इंफेक्शियस डिजीज के प्रमुख बने रहें. उन्होंने कहा, "मैंने उनसे उसी भूमिका में रहने के लिए कहा है जैसा उन्होंने पू्र्व राष्ट्रपतियों के साथ निभाई है और मैंने उनसे मेरे मुख्य चिकित्सा सलाहकार और साथ-साथ कोविड टीम का हिस्सा बने रहने के लिए कहा है."
बाइडेन ने साथ ही यह भी कहा कि वे वैक्सीन के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए सार्वजनिक रूप से टीका लगाने के लिए तैयार हैं. उन्होंने कहा, "अमेरिकी लोगों को यह संदेश देना महत्वपूर्ण है कि टीका सुरक्षित है."
तीन पूर्व राष्ट्रपति वैक्सीन के लिए तैयार
अमेरिका के तीन पूर्व राष्ट्रपति बिल क्लिंटन, जॉर्ज बुश और बराक ओबामा ने भी कहा है कि वे टीवी पर लाइव इवेंट के दौरान वैक्सिनेशन कराएंगे. एक रेडियो कार्यक्रम में पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने कहा, "अगर एंथनी फाउची मुझसे कहते हैं कि वैक्सीन सुरक्षित हैं और इसे लिया जा सकता है और इससे कोविड-19 के संक्रमण से बचा जा सकता है तो मैं बिल्कुल इसे लेने जा रहा हूं." ओबामा ने कहा है कि वे टीवी पर वैक्सीन लगवाने के लिए तैयार हैं या फिर उसकी रिकॉर्डिंग कराई जाए ताकि लोग यह विश्वास कर सके कि मुझे इस विज्ञान पर भरोसा है."
राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप कई बार कह चुके हैं कि जनता के लिए टीका जल्द ही उपलब्ध होगा. इसी महीने के अंत तक फाइजर-बायोएनटेक की वैक्सीन को अमेरिका में मंजूरी मिलने की उम्मीद है.
एए/सीके (एएफपी, रॉयटर्स)