सामान्य ज्ञान
लोगों को दुनियाभर में जनसंख्या से जुड़े मुद्दों के बारे में जागरूक करने के उद्देश्य से हर साल 11 जुलाई को विश्व जनसंख्या दिवस मनाया जाता है। वर्ष 2015 के विश्व जनसंख्या दिवस का विषय ‘आपात स्थिति में असुरक्षित जनसंख्या’ रखा गया। विस्थापित लोगों की बढ़ती संख्या के मद्देनजऱ यह विषय चुना गया। संयुक्त राष्ट्र के आंकड़ों के अनुसार-विस्थापित लोगों की संख्या 60 लाख है।
संयुक्त राष्ट्र विकास कार्यक्रम के संचालन परिषद ने वर्ष 1989 में अपने एक निर्णय (89/46) के माध्यम से 11 जुलाई को ‘विश्व जनसंख्या दिवस’ के रूप में मनाने की सिफारिश की। जिसका मुख्य उद्देश्य, वैश्विक जनसंख्या के मुद्दों को समग्र विकास योजनाओं एवं कार्यक्रमों के संदर्भ में देखना एवं उसके निराकरण का प्रयास करना है। विश्व जनसंख्या दिवस’ 11 जुलाई 1987 को विश्व की जनसंख्या 5 अरब होने के बाद, जनसंख्या के प्रति लोगों को सचेत करने हेतु प्रारंभ हुआ था। वर्ष 2011 में विश्व जनसंख्या वर्ष 1950 के की तुलना में 2.5 अरब से बढक़र 7 अरब हो गई।
भारत विश्व का दूसरा सबसे अधिक जनसंख्या वाला देश है और यहां स्वास्थ्य, परिवार और पोषण से संबंधित कई चुनौतियां हैं। चीन विश्व का पहला सर्वाधिक जनसंख्या वाला देश है। वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार भारत की जनसंख्या बढक़र 1 अरब 21 करोड़ हो गई है। दशक 2001-11 के दौरान जनसंख्या की वृद्धि दर 17.64 प्रतिशत रही।