राष्ट्रीय
कोलकाता, 18 अप्रैल । पश्चिम बंगाल विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष सुवेंदु अधिकारी ने गुरुवार को राज्यपाल सीवी आनंदा बोस को पत्र लिखा है। पत्र में कहा गया है कि बुधवार शाम से रामनवमी जुलूस के दौरान कुछ इलाकों में हिंसा देखने को मिल रही है।
नेता प्रतिपक्ष ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को राज्य में ऐसी हिंसात्मक गतिविधियों को बढ़ावा देने का आरोप लगाया है।
नेता प्रतिपक्ष ने अपने पत्र में कहा, "बुधवार को रामनवमी के मौके पर जुलूस निकालने के दौरान हुए हमले के संदर्भ में राज्यपाल को अवगत कराया है और मैंने उनसे निवेदन किया है कि वो कानून-व्यवस्था को सुदृढ़ करने के मकसद से जल्द से जल्द हस्तक्षेप करें। फिलहाल, आने वाले दिनों में पूरे मामलेे की एनआईए द्वारा जांच की जाएगी, ताकि पूरी वस्तुस्थिति स्पष्ट हो सके।"
नेता प्रतिपक्ष द्वारा लिखा गया पत्र आईएएनएस के पास उपलब्ध है। जिसमें दावा किया है कि बुधवार को मुर्शिदाबाद के बेलडांगा इलाके में शक्तिपुर में हिंसा भड़की, जिसके बाद जुलूस पर कुछ शरारती तत्वों के लोगों ने पथराव कर यात्रा में खलल डालने की कोशिश की। जिसकी जद में आकर कई लोग घायल भी हो गए।
पत्र में आगे कहा गया, "एगरा पूर्वी मिदनापुर जिले में भी कुछ इसी तरह की हिंसा भड़की। जुलूस में हिस्सा लेने वाले पांच लोग बुरी तरह से जख्मी हो गए, जिन्हें बाद में स्थानीय अस्पताल में भर्ती करवाया गया।"
पत्र में मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों पर भी आरोप लगाया गया है। पुलिसकर्मियों पर आरोप है कि उन्होंने इस हिंसा को रोकने की दिशा में कोई कोशिश नहीं की।
नेता प्रतिपक्ष ने पत्र में आरोप लगाया है कि अब तक ना ही इस पूरे मामले पर जिला प्रशासन की ओर से कोई प्रतिक्रिया सामने आई है और ना ही मुर्शिदाबाद और पूर्वी मिदनापुर की ओर से इस पर कोई प्रतिक्रिया सामने आई है। इसके अलावा टीएमसी की ओर से इस पर कोई जवाब नहीं आया है।
(आईएएनएस)
पटना, 18 अप्रैल । बिहार में शुक्रवार को पहले चरण की चार सीटों पर चुनाव होना है। प्रदेश में आरोप प्रत्यारोप का भी दौर जारी है। इस बीच, चर्चित चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने गुरुवार को राजद नेता तेजस्वी यादव पर जोरदार निशाना साधा है। उन्होंने साफ़ लहजे में कहा कि तेजस्वी जैसे नेता अगर देश को नई दिशा देने लगेंगे तो देश का वही हाल होगा जैसे लालू-राबड़ी ने बिहार का किया था।
उन्होंने कहा कि इससे देश का कोई भला होने वाला नहीं है। इसके बावजूद उन्होंने तेजस्वी यादव को शुभकामनाएं दी।
उन्होंने साफ लहजे में कहा कि तेजस्वी के पिताजी लालू प्रसाद और माता जी राबड़ी देवी बिहार में मुख्यमंत्री रहे और तेजस्वी खुद उपमुख्यमंत्री रहे, बिहार को तो इन्होंने दिशाहीन कर दिया।
उन्होंने कहा कि बिहार की जनता ने अगर तेजस्वी को जिम्मेदारी दी है तो बिहार में कुछ विभागों की दशा ठीक कर दें। बिहार में अस्पतालों की दशा सुधार दें, बिहार में सड़कों की दशा सुधार दें, बिहार में ग्रामीण कार्य मंत्रालय में आने वाले नालियों-गलियों की दशा सुधार दें।
उन्होंने तेजस्वी को सलाह देते है कहा कि उन्हें अपनी बात करनी चाहिए। ऐसी बात करने वालों को बड़बोलापन कहा जाता है। बिहार में लोगों को इस चीज की बहुत आदत है।
प्रशांत किशोर ने यहां तक कहा कि तेजस्वी यादव को न भाषा का ज्ञान है न विषय का, लेकिन तीखा टिप्पणी करनी होगी तो बैठ कर इजराइल और फिलिस्तीन पर करेंगे। बिहार में गरीब बच्चों के शरीर पर कपड़ा नहीं है, खाने के लिए खाना नहीं है, रोजगार नहीं है लेकिन तीखा टिप्पणी ये कर रहे हैं कि गाजा में क्या हो रहा है।
उन्होंने साफ लहजे में कहा कि बेवकूफ़ी को यहां पर नेताओं ने जमीनी हकीकत मान लिया है। ऊलजलूल बात करने वालों को समाज के लोग जमीनी नेता मानते हैं, जिसको न भाषा का ज्ञान है, न विषय का।
(आईएएनएस)
मेरठ, 18 अप्रैल । लोकसभा चुनाव के पहले चरण का मतदान 19 अप्रैल को है। बिजनौर और मुजफ्फरनगर लोकसभा क्षेत्रों के मतदान के लिए पोलिंग पार्टियां सुबह मेरठ के विक्टोरिया पार्क पहुंची। विक्टोरिया पार्क में बनाए गए स्ट्रांग रूम में भारी सुरक्षा व्यवस्था के बीच पोलिंग पार्टियां ईवीएम मशीन के साथ रवाना हुईं।
जिला निर्वाचन अधिकारी दीपक मीणा के आलावा अन्य अधिकारी सुबह से ही सभी व्यवस्थाओं का जायजा लेने पहुंचे।
चुनाव को लेकर 742 पोलिंग पार्टियां गठित की गई हैं, वहीं प्रत्येक पार्टी में एक पीठासीन अधिकारी और तीन मतदान अधिकारी शामिल हैं।
चुनाव में करीब 2968 कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई है। अन्य कर्मचारियों को रिजर्व में रखा गया है।
जिला निर्वाचन अधिकारी दीपक मीणा ने बताया कि बिजनौर और मुजफ्फरनगर संसदीय क्षेत्रों में पोलिंग पार्टी प्रस्थान कर रही है और सभी पोलिंग पार्टियों को ईवीएम मशीन चलाने के लिए प्रशिक्षण भी दिया गया है।
उन्होंने बताया कि मेरठ के हस्तिनापुर विधानसभा क्षेत्र में 369 और सरधना विधानसभा क्षेत्र में 373 पोलिंग बूथों की व्यवस्था की गई है।
(आईएएनएस)
लखनऊ, 18 अप्रैल । गोरखपुर के सांसद रवि किशन पर आरोप लगाने वाली महिला अपर्णा ठाकुर सहित छह लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। महिला ने दावा किया था कि भाजपा सांसद रवि किशन उनकी बेटी के पिता हैं।
यह एफआईआर रवि किशन की पत्नी प्रीति शुक्ला ने दर्ज करवाई है।
महिला अपर्णा ठाकुर के अलावा एफआईआर में उनके पति राजेश सोनी, बेटी शेनोवा सोनी, बेटे सोनक सोनी, समाजवादी पार्टी नेता विवेक कुमार पांडे और एक पत्रकार खुर्शीद खान का नाम भी शामिल है।
पुलिस ने कहा कि आरोपियों पर आईपीसी की धारा 120-बी (साजिश), 195 (झूठे सबूत देना), 386 (धमकी देकर जबरन वसूली), 388 (धमकी देकर वसूली), 504 (जानबूझकर अपमान) और 506 (आपराधिक धमकी) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
बीजेपी सांसद की पत्नी ने एफआईआर में यह भी आरोप लगाया कि अपर्णा सोनी उर्फ अपर्णा ठाकुर ने उन्हें धमकी देते हुए कहा था कि उनके अंडरवर्ल्ड से संबंध हैं।
पुलिस ने बताया, ''महिला ने कथित तौर पर 20 करोड़ रुपये की फिरौती मांगी थी। साथ ही धमकी दी थी कि अगर उसकी मांग पूरी नहीं हुई तो वह रवि किशन को झूठे बलात्कार के मामले में फंसाकर उनकी छवि खराब कर देगी।''
एफआईआर में कहा गया है कि इस मामले में मुंबई पुलिस से शिकायत की गई, लेकिन अपर्णा ने 15 अप्रैल को लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर झूठे आरोप लगाए। प्राथमिकी में दावा किया गया है कि अन्य नामजद भी इसमें शामिल हैं।
भाजपा ने लोकसभा चुनाव के लिए रवि किशन को फिर से गोरखपुर से उम्मीदवार बनाया है।
(आईएएनएस)
जयपुर, 18 अप्रैल । जयपुर के जवाहर सर्किल थाने में बुधवार को अवैध किडनी प्रत्यारोपण, फर्जी एनओसी जारी करने और एक अंतर्राष्ट्रीय अंग तस्करी रैकेट की संलिप्तता के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई।
अंग प्रत्यारोपण के लिए रिश्वत लेकर फर्जी एनओसी जारी करने की जानकारी मिलने पर चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव शुभ्रा सिंह ने मामले का स्वत: संज्ञान लिया।
सिंह ने उच्च स्तरीय बैठक कर मामले की त्वरित जांच के निर्देश दिये।
भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो ने मामले में कथित संलिप्तता के लिए जयपुर के एक निजी अस्पताल से जुड़े कुछ लोगों को गिरफ्तार किया है।
इस मामले में एक अंतर्राष्ट्रीय रैकेट के शामिल होने की बात कही जा रही है।
जांच से पता चला कि जयपुर के एक निजी अस्पताल में कुछ बांग्लादेशी नागरिकों का अवैध किडनी प्रत्यारोपण किया गया था, जिसमें दाता और रिसीवर न तो रिश्तेदार थे और न ही वे एक-दूसरे को जानते थे। ऑपरेशन के बाद मरीजों को गुरुग्राम भेज दिया गया।
हाल ही में गुरुग्राम के एक होटल में छापेमारी के बाद इस रैकेट का भंडाफोड़ हुआ, जहां एक बांग्लादेशी नागरिक पाया गया, जिसकी जयपुर में संदिग्ध वित्तीय व्यवस्था के तहत किडनी निकलवाने की सर्जरी हुई थी।
पीड़ितों के बयान के मुताबिक, उनसे अस्पताल प्रशासन या किसी अन्य डॉक्टर द्वारा एनओसी जमा करने के लिए भी नहीं कहा गया। दाता और प्राप्तकर्ता के बीच रक्त संबंध साबित करने के लिए कोई दस्तावेज़ नहीं मांगा गया था।
इसके बदले उनसे कुछ कोरे कागजों पर हस्ताक्षर कराए गए, जबकि रिश्वत के बदले फर्जी एनओसी जारी की गई।
इस रैकेट का मास्टरमाइंड झारखंड का मूल निवासी मोहम्मद मुर्तजा अंसारी नाम का शख्स है, जो अभी फरार है।
(आईएएनएस)
भारत के लोकसभा चुनाव में 21 करोड़ से ज्यादा युवा मतदाता अपने वोट का इस्तेमाल करेंगे. इस वजह से युवा मतदाताओं की लोकसभा चुनावों में निर्णायक भूमिका रहेगी.
भारत में लोकसभा चुनाव के लिए 97 करोड़ मतदाता अपना मताधिकार का इस्तेमाल करेंगे. सबसे अहम बात यह है कि चुनाव में पहली बार वोट देने वाले यानी 18-19 साल के मतदाताओं की संख्या 1.82 करोड़ है. इसके अलावा 20 से 29 साल के युवा वोटरों की संख्या 19.74 करोड़ है. ये युवा मतदाता किसी भी हार जीत में अहम भूमिका निभा सकते हैं
समाचार एजेंसी एएफपी ने ऐसे चार युवा मतदाताओं से बात की जो पहली बार वोट डालने जा रहे हैं. उनके माध्यम से यह जानने की कोशिश है कि वे किसका समर्थन करेंगे. इसके साथ ही यह भी पता लगाने की कोशिश हुई कि कौन से ऐसे मुद्दे हैं जो उन्हें प्रभावित करते हैं.
मुंबई यूनिवर्सिटी के 22 साल के छात्र अभिषेक धोत्रे ने कहा कि वह सरकार के सशक्त हिंदू राष्ट्रवाद के परिणामस्वरूप "पूरे भारत में दिख रहे सांप्रदायिक मनमुटाव" से नाखुश हैं.
ऐसा कहा जाता है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार ने भारत की बहुसंख्यक हिंदू आस्था को राजनीतिक जीवन में सबसे आगे खड़ा कर दिया है. इससे मुसलमानों और दूसरे अल्पसंख्यकों के मन में धर्मनिरपेक्ष देश में अपने भविष्य को लेकर चिंता पैदा हो गई है.
फिर भी, भारत की अर्थव्यवस्था बहुत तेज गति से बढ़ रही है और वह 2022 में पूर्व औपनिवेशिक शासक ब्रिटेन को पछाड़कर दुनिया की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गई. धोत्रे चाहते हैं कि मोदी और उनकी भारतीय जनता पार्टी फिर से जीत हासिल करे.
उन्होंने एएफपी से कहा, "जिस तरह से विकास हो रहा है. इंफ्रास्ट्रक्चर बढ़ रहा है और जो कुछ भी चल रहा है, मैं चाहूंगा कि मौजूदा सरकार बनी रहे."
कितने उत्साहित हैं युवा वोटर
तमिलनाडु की रहने वाली 20 साल की त्रिशालिनी द्वारकनाथ सॉफ्टवेयर डेवलपर हैं और वह भारत के आर्थिक बदलावों का प्रतीक हैं. अब वह अपने गृह राज्य से टेक हब बेंगलुरु ट्रांसफर ले रही हैं.
पहली बार वोट देने जा रही द्वारकनाथ कहती हैं, "मैं भारतीय लोकतंत्र का हिस्सा बनने और पहली बार अपनी राय जाहिर करने को लेकर उत्साहित हूं. मुझे खुशी है कि मेरी आवाज मायने रखती है."
वह मोदी सरकार के कार्यकाल में हासिल उपलब्धियों की तारीफ करती हैं लेकिन कहती हैं कि लाखों बेरोजगार युवा भारतीयों को काम खोजने में मदद करने के लिए और अधिक कोशिश करने की जरूरत है.
नौकरी है बड़ा मुद्दा
पिछले साल अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में भारत की जीडीपी ग्रोथ रेट 8.4 फीसदी थी जबकि, सितंबर तिमाही में भारत ने 7.6 फीसदी की जीडीपी ग्रोथ दर्ज की थी. लेकिन अंतरराष्ट्रीय श्रम संगठन का अनुमान है कि 2022 में देश में 29 प्रतिशत यूनिवर्सिटी ग्रेजुएट बेरोजगार थे. यह दर उन लोगों की तुलना में लगभग नौ गुना अधिक है जिनके पास कोई डिप्लोमा नहीं है और आमतौर पर कम वेतन वाली नौकरियों या कंस्ट्रक्शन सेक्टर में काम करते हैं.
पहली बार वोट डालने वाले 22 वर्षीय गुरप्रताप सिंह निश्नित तौर पर बीजेपी को सपोर्ट नहीं करेंगे. गुरप्रताप एक किसान हैं और उनका नाता पंजाब से है. साल 2021 में पंजाब के किसानों ने तीन कृषि कानून के खिलाफ साल भर विरोध प्रदर्शन किया था जिसके बाद सरकार ने उन तीनों कृषि कानूनों को वापस ले लिया था. इसे एक तरह से प्रधानमंत्री मोदी की हार के तौर पर देखा गया.
किसानों का कहना है कि उनकी मांगें अभी तक पूरी नहीं हुई है. गुरप्रताप कहते हैं, "कई किसान विरोध प्रदर्शन के दौरान मारे गए. उन्हें इंसाफ नहीं मिला है."
देश के किसान चुनाव के दौरान अहम भूमिका निभाते हैं और उनका वोट सभी पार्टियों के लिए बहुत मायने रखता है. गुरप्रताप ने कहा, "जो सरकार किसानों, युवाओं के बारे में सोचती है...वही सरकार सत्ता में आनी चाहिए." उन्होंने कहा कि बीजेपी उस टेस्ट में फेल हो चुकी है.
अधिकार के लिए आवाज उठाते ट्रांसजेंडर
देश की करीब 1.4 अरब आबादी अलग-अलग पृष्ठभूमियों से आती है, जिसमें ट्रांसजेंडर समुदाय भी शामिल है. इनकी संख्या कई लाख होने का अनुमान है. हिंदू आस्था में "तीसरे लिंग" के कई संदर्भ हैं.
2014 में सुप्रीम कोर्ट ने ट्रांसजेंडर को पुरूष या महिला के बजाए एक तीसरे लिंग का दर्जा दिया था. कोर्ट ने अपने ऐतिसाहिक आदेश में सरकार से कहा था कि ट्रांसजेंडर को सामाजिक और आर्थिक रूप से पिछड़ा समुदाय माना जाए और उन्हें नौकरी और शिक्षा के क्षेत्र में आरक्षण दिया जाए. इससे भारत के करीब तीस लाख से अधिक ट्रांसजेंडर को फायदा हुआ और उन्हें भी आम नागरिकों की तरह हर अधिकार मिलने लगे.
चुनाव आयोग के मुताबिक देश में इस वक्त 48,044 थर्ड जेंडर मतदाता पंजीकृत है. वहीं साल 2019 में यह संख्या 39,075 थीं.
हालांकि इन सबके बावजूद ट्रांसजेंडर समुदाय के सदस्यों को आज भी भेदभाव का सामना करना पड़ता है. वाराणसी की एक ट्रांसजेंडर मुस्लिम महिला सलमा ने कहा कि उन्हें उम्मीद नहीं है कि बीजेपी सरकार के एक और कार्यकाल में यह बदलाव आएगा.
सलमा ने कहा, "जब से यह सरकार सत्ता में है, उसने हमारे लिए कुछ भी अच्छा नहीं किया." उन्होंने यह कहने से इनकार कर दिया कि वह किस पार्टी को वोट देंगी. उन्होंने कहा, "हमें समान अधिकार मिलना चाहिए."
एए/एनआर (एएफपी)
रामनवमी के त्योहार पर अयोध्या के राम मंदिर में भगवान राम की मूर्ति का सूर्यतिलक किया गया. वैज्ञानिक उपकरणों की मदद से सूरज की रोशनी पांच मिनट तक मूर्ति के माथे पर पड़ती रही.
रामनवमी पर अयोध्या के राम मंदिर में भगवान राम का सूर्यतिलक किया गया. हजारों भक्त रामनवमी पर रामलला के दर्शन करने अयोध्या पहुंचे हैं. बुधवार को दोपहर करीब 12:15 बजे रामलला का सूर्याभिषेक किया गया. विशेषज्ञों ने वैज्ञानिक उपकरणों की मदद से इसे संभव बनाया और सूरज की रोशनी करीब पांच मिनट तक मूर्ति के माथे पर पड़ती रही.
रामनवमी और सूर्याभिषेक को ध्यान में रखते हुए आयोजन की तैयारियां पहले ही कर ली गई थीं. बुधवार को मंदिर के कपाट सुबह साढ़े तीन बजे खोल दिए गए थे. आमतौर पर कपाट सुबह साढ़े छह बजे खोले जाते हैं. रात में भी साढ़े ग्यारह बजे तक भक्तों के दर्शन करने के इंतजाम किए गए हैं. फिर शयन आरती के बाद कपाट बंद कर दिए जाएंगे.
कब से थी सूर्याभिषेक की योजना
फरवरी 2023 में जब मंदिर निर्माण चल ही रहा था, तब श्रीराम मंदिर निर्माण कमेटी के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्र ने मीडिया से बातचीत में इसकी जानकारी दी थी. उन्होंने बताया था, "पुणे के एक एस्ट्रोनॉमिकल इंस्टिट्यूट और रुड़की के सेंट्रल बिल्डिंग रिसर्च इंस्टिट्यूट के लोगों ने इसका अध्ययन किया है. उन्होंने अगले 19-20 वर्षों का डेटा तैयार किया है, जिसे आप पंचांग ही कहें. उसमें जानकारी है कि अगले 19-20 वर्षों तक सूर्य किस दिशा से, किस कोण से 12 बजे यहां आएगा. फिर उन्होंने देखा कि इसे रिफ्लेक्ट कैसे करें. अपर्चर कहां लिया जाए और किस उपकरण से अपर्चर से रोशनी रिसीव होगी, जिससे वह सीधे भगवान के माथे पर गिरे."
फिर अपने अध्ययन के आधार पर ही विशेषज्ञों ने पीतल के पाइप और लेंस की मदद से यह व्यवस्था बनाई, जिससे सूर्याभिषेक किया गया. सूरज की गोलाकार रोशनी पांच मिनट तक मूर्ति के माथे पर पड़ती रही.
क्या है तकनीक
रामलला की मूर्ति मंदिर के भूतल पर विराजमान है. मंदिर की तीसरी मंजिल पर एक दर्पण और उसके साथ पीतल का पाइप लगाया गया है. सूरज की किरणें दर्पण पर गिरकर पाइप में जाती हैं. फिर रोशनी पाइप में लगे दर्पण से टकराकर 90 डिग्री परावर्तित होती है.
भूतल की ओर जा रहे इस पाइप में थोड़ी-थोड़ी दूरी पर तीन लेंस लगाए गए हैं. इन लेंस से गुजरने के बाद रोशनी पाइप के गर्भगृह वाले सिरे पर लगे दर्पण से टकराती है. फिर वहां से रोशनी 90 डिग्री परावर्तित होकर और पाइप से निकलकर सीधे मूर्ति के माथे पर पड़ती है.
सिर्फ रामनवमी पर होगा सूर्याभिषेक
भगवान राम के सूर्याभिषेक के लिए 2043 तक का डेटा इकट्ठा किया गया है. हर साल रामनवमी के दिन ही रामलला का सूर्याभिषेक किया जाएगा. इस साल भी रामनवमी को ध्यान में रखते हुए नए कपड़ों और छप्पन भोग जैसी तैयारियां की गई थीं. इस मौके पर रामलला की मूर्ति बनाने वाले कलाकार अरुण योगीराज को भी आमंत्रित किया गया था.
भारत में ओडिशा के कोणार्क सूर्य मंदिर, आंध्र प्रदेश के वेद-नारायण मंदिर, महाराष्ट्र के महालक्ष्मी मंदिर और कर्नाटक के विद्याशंकर जैसे कई मंदिर हैं, जहां सूरज की रोशनी मंदिर में या भगवान की मूर्ति पर सीधे पड़ती है. इसे मान्यताओं और आस्था के साथ-साथ वास्तुशिल्प कौशल और वैज्ञानिक चेतना का भी संकेत माना जाता है.
वीएस/एनआर (एजेंसियां)
छत्तीसगढ़ के बस्तर क्षेत्र में सुरक्षाबलों ने नक्सली विरोधी अभियान को किस तरह से सफल बनाया जिसमें 29 नक्सली मारे गए.
डॉयचे वैले पर आमिर अंसारी की रिपोर्ट-
16 अप्रैल को छत्तीसगढ़ के बस्तर क्षेत्र में सुरक्षाबलों ने इलाके के सबसे बड़े नक्सल विरोधी ऑपरेशन को अंजाम दिया. इस मुठभेड़ में 29 नक्सली मारे गए. सुरक्षाबलों ने इस ऑपरेशन को बहुत बारीकी से अंजाम दिया.
मंगलवार को बस्तर क्षेत्र के कांकेर जिले के गहरे जंगलों में माओवादियों और सुरक्षाबलों के बीच अब तक की सबसे बड़ी मुठभेड़ हुई थी. इस मुठभेड़ में 29 माओवादी मारे गए. मारे गए नक्सलियों में 50 लाख रुपये से अधिक का इनाम रखने वाले वरिष्ठ कैडर शामिल हैं.
इस मुठभेड़ के होने के दो दिन बाद इस ऑपरेशन से जुड़ी जानकारी मीडिया में सामने आ रही है. इन जानकारियों से पता चल रहा है कि सुरक्षाबलों ने कैसे ऑपरेशन को सफलता के साथ अंजाम दिया और खुद को कम से कम जोखिम में डाला.
खुफिया जानकारी और रात को ट्रैकिंग
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक 200 सुरक्षाकर्मियों की एक टीम ने रात के अंधेरे में अबूझमाड़ के पहाड़ी इलाके में 50 किलोमीटर से कुछ कम की दूरी तय की.
ट्रेक करते हुए वे एक पहाड़ी की चोटी पर गए. जहां वे सीपीआई (माओवादी) के दो डिवीजनल कमेटी के सदस्यों समेत 29 नक्सलियों को घेरने में कामयाब रहे.
छत्तीसगढ़ के बस्तर क्षेत्र का अबूझमाड़ वन क्षेत्र है और यह नक्सलियां का गढ़ माना जाता है, यहां तक सुरक्षाबलों आ जाना वामपंथी उग्रवाद के खिलाफ राज्य की लड़ाई में एक मील का पत्थर है.
इंडियन एक्सप्रेस ने सुरक्षा सूत्रों के हवाले से लिखा कि मुठभेड़ से पहले सबसे बड़ी चुनौती 200 मीटर से 550 मीटर के बीच अलग-अलग ऊंचाई की पांच या छह पहाड़ियों पर अंधेरे में चलना था.
ऑपरेशन का हिस्सा रहे एक सूत्र ने अखबार से कहा, "कलपर पहाड़ी तक पहुंचने से पहले हम कम से कम 48 किलोमीटर चले, जहां से माओवादी केवल दो किलोमीटर दूर थे. फिर हमने पहाड़ी को घेर लिया और एक घेरा बना लिया. नक्सलियों के पास भागने का कोई रास्ता नहीं था, उन्हें पता था कि वे फंस गए हैं."
इस सूत्र ने आगे कहा, "उन्होंने हम पर फायरिंग की और हमने जवाबी कार्रवाई की. हमारे तीन लोगों को चोटें आईं, लेकिन सावधानीपूर्वक योजना के कारण हम हताहत होने से बचने में सफल रहे. हम इस क्षेत्र से अच्छी तरह परिचित थे, जिससे मदद मिली."
बुधवार को मीडिया से बात करते हुए बस्तर रेंज के पुलिस महानिरीक्षक सुंदरराज पी ने कहा कि यह पिछले तीन दशकों में सबसे बड़ी मुठभेड़ है. उन्होंने कहा कि इस साल जनवरी से लेकर अब तक 79 नक्सली मारे गए हैं और नक्सलवाद के खिलाफ लड़ाई अब निर्णायक मोड़ पर पहुंच चुकी है.
चार घंटे चली मुठभेड़
सुंदरराज ने कहा कि मंगलवार दोपहर नक्सलियों और सुरक्षाबलों के बीच मुठभेड़ शुरू हुई थी, जो करीब चार घंटे चली. उन्होंने कहा, "डिस्ट्रिक्ट रिजर्व गार्ड (डीआरजी) और सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) की टीमों ने इलाके की घेराबंदी करते हुए सर्च अभियान छेड़ा, ऑपरेशन के बाद 29 नक्सलियों के शव बरामद हुए." पुलिस के मुताबिक इनमें 15 महिला नक्सलियों के शव हैं.
मारे गए नक्सलियों में शंकर राव और ललिता शामिल हैं, जो सीपीआई (माओवादी) के डिविजनल कमेटी के सदस्य थे. दोनों की गिरफ्तारी पर 25-25 लाख रुपये का इनाम था और साइट पर उनकी मौजूदगी की विशिष्ट खुफिया जानकारी के आधार पर यह ऑपरेशन चलाया गया था.
यह मुठभेड़ लोकसभा चुनाव से कुछ दिन पहले हुई है, जबकि बस्तर में शुक्रवार को मतदान होगा. कांकेर में 26 अप्रैल को मतदान होगा. हर चुनावी मौसम की तरह इस बार भी अबूझमाड़ में माओवादियों ने ग्रामीणों से चुनावी प्रक्रिया का बहिष्कार करने के लिए कहा है. नक्सलियों ने चुनाव का बहिष्कार करने के लिए क्षेत्र में पोस्टर और बैनर लगाए हैं. (dw.com)
अहमदाबाद, 18 अप्रैल । एक दुःखद घटना में बुधवार को वडोदरा-अहमदाबाद एक्सप्रेसवे पर एक ओवरलोडेड निजी वाहन के ट्रक से टकरा जाने से 10 लोगों की मौत हो गई।
जानकारी के मुताबिक, एक तेज रफ्तार इनोवा कार, जिसका इस्तेमाल एक्सप्रेसवे पर यात्रियों को ले जाने के लिए शटल वाहन के रूप में किया जाता था, ट्रक से टकरा गई। आठ लोगों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि दो अन्य ने इलाज के दौरान अस्पताल में दम तोड़ दिया।
गुजरात प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष शक्तिसिंह गोहिल ने कहा, ''यह दुर्घटना गुजरात में सड़क सुरक्षा पर सवाल उठाती है।
“नियमों के बावजूद, निजी वाहन अपनी क्षमता से कहीं अधिक यात्रियों को ले जा रहे हैं। सरकार को परिवहन कानूनों का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित करना चाहिए।"
(आईएएनएस)
बेंगलुरु, 18 अप्रैल । कर्नाटक पुलिस ने बेंगलुरु में 'जय श्री राम' के नारे लगाने वाले कार सवार तीन युवकों पर हमला करने के आरोप में दो लोगों को गिरफ्तार किया। पुलिस ने एक नाबालिग को भी हिरासत में लिया है।
घटना राज्य की राजधानी के विद्यारण्यपुरा थाना क्षेत्र के अंतर्गत हुई। उत्तर-पूर्व के डीसीपी लक्ष्मी प्रसाद ने कहा कि मामले में आईपीसी की संबंधित धाराओं के तहत केस दर्ज किया गया है।
डीसीपी ने कहा, "कार में झंडे लिए यात्रा कर रहे युवकों ने 'जय श्री राम' के नारे लगाए थे। आरोपियों ने गाड़ी रोकी और हंगामा किया। कार सवार युवकों के साथ भी मारपीट की गई। इस संबंध में केस दर्ज किया गया है। पुलिस ने युवकों पर हमला करने वाले अन्य आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है।"
सूत्रों ने बताया कि पीड़ित रामनवमी मनाकर लौट रहे थे तभी उन पर हमला किया गया। पीड़ितों की पहचान विनायक, राहुल और पवन के रूप में हुई है।
(आईएएनएस)
बिजनौर (यूपी), 18 अप्रैल । बिजनौर के रेहर क्षेत्र के माधोवाला गांव में लोगों के आवास पर हाईटेंशन बिजली लाइन गिर गई। जिस कारण आग लगने से हड़कंप मच गया। आग की चपेट में आने से दूल्हा और दो अन्य लोग झुलस गए।
घटना बुधवार रात की है। मोनू सिंह (24), मनोज कुमार (27) और उनकी पत्नी यशोदा देवी (25) उसकी शादी की तैयारियों में जुटी थीं, तभी यह घटना घटी थी।
हाईटेंशन लाइन गिरने के बाद तीन रसोई गैस सिलेंडर भी फट गए, जिससे आग फैल गई। दमकल की गाड़ियां और पुलिस मौके पर पहुंची और आग पर काबू पाया।
रेहर के एसएचओ धीरज सोलंकी ने बताया कि घायलों को नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां डॉक्टरों ने उनकी हालत स्थिर बताई। बाद में विवाह समारोह आयोजित किया गया।
(आईएएनएस)
टोरंटो, 18 अप्रैल । टोरंटो हवाईअड्डे पर कनाडा की सबसे बड़ी सोने की डकैती के आरोप में गिरफ्तार किए गए पांच दक्षिण एशियाई लोगों में से दो भारतीय मूल के हैं।
कनाडा के सबसे बड़े टोरंटो हवाई अड्डे पर 17 अप्रैल, 2023 को एक बड़ी सोने की डकैती हुई थी, जिसमें 6,600 सोने की छड़ें चोरी हो गई थी। इसकी कीमत 20 मिलियन कनाडाई डॉलर से अधिक थी।
पुलिस ने कहा कि गिरफ्तार किए गए लोगों में ब्रैम्पटन का 54 वर्षीय परमपाल सिद्धू भी शामिल है, जो एयर कनाडा का कर्मचारी है। गिरफ्तार किए गए एक अन्य भारतीय-कनाडाई का नाम अमित जलोटा (40) है, जो टोरंटो के पास ओकविल से है।
इस मामले में गिरफ्तार किए गए अन्य तीन लोग ब्रैम्पटन के पास जॉर्जटाउन के 43 वर्षीय अम्माद चौधरी, टोरंटो के 37 वर्षीय अली रजा और ब्रैम्पटन के 35 वर्षीय प्रसाद परमलिंगम थे।
इसके अलावा, पुलिस ने ब्रैम्पटन की 31 वर्षीय सिमरन प्रीत पनेसर, जो चोरी के समय एयर कनाडा की कर्मचारी थी, ब्रैम्पटन के 36 वर्षीय अर्चित ग्रोवर और मिसिसॉगा के 42 वर्षीय व्यक्ति अर्सलान चौधरी के खिलाफ भी वारंट जारी किया है।
400 किलोग्राम से अधिक वजन वाली सोने की छड़ें दो स्विस बैंक -- रायफिसेन और वालकैम्बी द्वारा 17 अप्रैल, 2023 को ज्यूरिख से टोरंटो ले जाई गई थीं। स्विस बैंकों ने टोरंटो में शिपमेंट की सुरक्षा के लिए मियामी स्थित सुरक्षा कंपनी ब्रिंक को काम पर रखा था। सोने की छड़ों को टोरंटो हवाई अड्डे पर एयर कनाडा स्टोरेज डिपो में रखा गया था।
तीन घंटे बाद, एक अज्ञात व्यक्ति आया और नकली दस्तावेज देकर सोना ले गया।
रात करीब साढ़े नौ बजे उसी दिन जब कनाडा में ब्रिंक के कर्मचारी शिपमेंट लेने के लिए एयर कनाडा कार्गो डिपो पहुंचे, तो सोना पहले ही जा चुका था।
ब्रिंक का कहना है कि एयर कनाडा कर्मियों ने अज्ञात व्यक्ति को शिपमेंट जारी कर दिया, जो इसे लेकर फरार हो गया।
(आईएएनएस)
भोपाल, 18 अप्रैल । मध्य प्रदेश में पहले चरण में छह संसदीय क्षेत्रों में शुक्रवार 19 अप्रैल को मतदान होने वाला है। पहले चरण के चुनाव की सबसे हाॅट सीट छिंदवाड़ा है, जिसे कमल नाथ परिवार का गढ़ माना जाता है। बीते 45 साल में हुए चुनाव में सिर्फ एक बार कमल नाथ को हार का सामना करना पड़ा है।
बीते साढ़े चार दशक में छिंदवाड़ा में आए बदलाव का जिक्र करते हुए कमल नाथ ने कहा कि इस समय छिंदवाड़ा में जितना काम हुआ है, उतना शायद ही किसी सांसद ने किया हो।
छिंदवाड़ा संसदीय क्षेत्र में कांग्रेस उम्मीदवार नकुल नाथ का भाजपा उम्मीदवार विवेक बंटी साहू से मुकाबला है। इस चुनाव में दोनों ही दलों ने अपनी ताकत झोंक रखी है। कांग्रेस जहां विकास का हवाला दे रही है, वहीं भाजपा कमल नाथ के परिवार को बाहरी बता रहे हैं।
पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ ने छिंदवाड़ा वासियों को दिए एक संदेश में बीते 45 साल और क्षेत्र से अपने संबंधों का जिक्र करते हुए कहा, "पिछले 45 साल से मैं छिंदवाड़ा की सेवा कर रहा हूं और मैं गर्व से कह सकता हूं कि आप सब के सहयोग से छिंदवाड़ा में इतना काम हुआ है जितना किसी सांसद ने शायद ही अपने क्षेत्र में कराया हो। जिस छिंदवाड़ा के सिर्फ 440 गांव में बिजली हुआ करती थी, आज वहां सभी 2000 से अधिक गांव में बिजली पहुंच गई है।"
छिंदवाड़ा में हुए विकास कार्यों का जिक्र करते हुए कमल नाथ ने कहा, देश में सबसे अधिक 6000 किलोमीटर ग्रामीण सड़क छिंदवाड़ा जिले में बनी है जो अपने आप में एक रिकॉर्ड है। कोविड के समय जब पूरे देश में लोग परेशान हो रहे थे, तब भी छिंदवाड़ा एकमात्र ऐसा जिला रहा जहां लोगों को ऑक्सीजन की कमी नहीं हुई और दवाई तथा इंजेक्शन समय पर मिले। मध्य प्रदेश का सबसे बड़ा हनुमान मंदिर छिंदवाड़ा के सिमरिया में बना और हम सबको भगवान हनुमान जी की कृपा प्राप्त करने का अवसर मिला।
कमलनाथ ने आगे कहा, जिस छिंदवाड़ा और आसपास के क्षेत्र में लोग रेलगाड़ी देखने को तरसते थे आज वहां से देश के प्रमुख शहरों के लिए रेल गाड़ियां चल रही हैं। मुख्यमंत्री रहते मेडिकल कॉलेज और कृषि विश्वविद्यालय स्वीकृत किए जिनका काम भाजपा ने धीमा कर दिया।
उन्होंने आरोप लगाया कि इस चुनाव में दबाव, प्रलोभन का सहारा लिया जा रहा है। इस चुनाव में ऐसे लग रहा है जैसे चुनाव नहीं बल्कि युद्ध हो रहा है। छिंदवाड़ा के विकास को रोकने के लिए विरोधी दल पूरी तरह सक्रिय हैं।
(आईएएनएस)
लखनऊ, 18 अप्रैल । बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती ने पहले चरण के मतदान से पहले वोटरों को आगाह किया है कि धनबल, मंदिर-मस्जिद आदि के नाम पर आपके वोट का गलत इस्तेमाल न हो।
बसपा प्रमुख मायावती ने गुरुवार को सोशल मीडिया मंच से 19 अप्रैल को होने वाले मतदान से पहले मतदाताओं से कहा, देश में 18वीं लोकसभा के लिए सात चरणों में हो रहे आम चुनाव में मतदान के पहले चरण से ही, ’पहले मतदान, फिर जलपान’ के संकल्प के साथ अपने वोट के बहुमूल्य संवैधानिक अधिकार का निर्भय होकर इस्तेमाल कर देश में गरीबों, मेहनतकशों, वंचितों की बहुजन-हितैषी सरकार चुनें, यही पुरजोर अपील है।"
उन्होंने आगे कहा कि बाबासाहेब भीमराव आंबेडकर के अनुपम संविधान के तहत बिना किसी भेदभाव के एक वोट का मिला अधिकार ऐसी लोकतांत्रिक शक्ति है जिसके जरिए सत्ता की मास्टर चाबी प्राप्त कर गरीब, कमजोर व उपेक्षित लोग अपना उद्धार खुद करने योग्य बनकर अपनी गरीबी व लाचारी का जीवन दूर कर सकते हैं।
मायावती ने कहा कि वोट के अधिकार की रक्षा पूरे जी-जान से करनी है। सावधान रहें, आपका कोई वोट खरीदा न जा सके। लूटा न जा सके। कोई वोट पड़ने से न रह जाए तथा धनबल, मंदिर-मस्जिद आदि के नाम पर आपके वोट का गलत इस्तेमाल न हो। वोट जरूर डालें। यही सबसे बड़ा कर्तव्य व बाबा साहेब को श्रद्धांजलि है।
उन्होंने कहा कि निर्वाचन आयोग ने यह लोकसभा चुनाव ’स्वतंत्र, निष्पक्ष, सहभागी, सुगम, समावेशी, पारदर्शी व शांतिपूर्ण तरीके से संचालन के लिए तैयारियों' का आश्वासन देश को दिया है, जिस पर खरा उतरने के लिए खासकर सरकारी मशीनरी का दुरुपयोग व रूलिंग पार्टी द्वारा आचार संहिता का उल्लंघन रोकना जरूरी है।
यूपी में पहले चरण की आठ लोकसभा सीटों के लिए मतदान 19 अप्रैल को होगा। प्रथम चरण में सहारनपुर, कैराना, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, नगीना (अजा), मुरादाबाद, रामपुर और पीलीभीत में प्रत्याशियों के भविष्य का फैसला ईवीएम में लॉक हो जाएगा।
(आईएएनएस)
लखनऊ, 18 अप्रैल । यूपी के उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक की मौजूदगी में भाजपा प्रदेश मुख्यालय में गुरुवार को कन्नौज के पूर्व ज़िला पंचायत अध्यक्ष संजीव कटियार ने बड़ी संख्या में अपने समर्थकों के साथ पार्टी की सदस्यता ग्रहण की। इस दौरान पाठक ने कहा कि सनातनियों का विरोध करना इंडी गठबंधन के नेताओं की सोची समझी नीति है।
उन्होंने कहा कि वे वोट बैंक की राजनीति में तुष्टिकरण के लिए किसी भी सीमा तक जा सकते हैं। जनता को ऐसे लोगों को बायकॉट करना चाहिए, इनका हुक्का पानी भी बंद कर देना चाहिए।
उप मुख्यमंत्री ने कहा कि जब रामनवमी के दिन अयोध्या में श्रद्धालुओं का तांता लगा था, लाखों धर्मावलंबी पहली बार अपने प्रभु बालकराम के जन्मोत्सव पर उनके भव्य मंदिर में दर्शन पूजन को आये थे, तब अपने पापों का प्रायश्चित करने के बजाय राम भक्तों पर गोली चलवाने वाली पार्टी के नेता पूजा-पाठ करने वालों को पाखंडी बोल रहे थे।
ब्रजेश पाठक ने कहा कि लाखों श्रद्धालुओं की भीड़ देखकर इनके सीने पर सांप लोट गया। ये प्रभु बालकराम का भव्य सूर्य तिलक देखकर बदहवास हो गए और अनर्गल बयानबाजी कर सनातन को गाली देने लगे। इनकी गलतजुबानी का चेन्नई से लेकर श्रीनगर तक एक भी इंडी अलायंस के नेता ने इसका विरोध नहीं किया। इनका मूल एजेंडा भी सनातन की साख पर चोट करना है, आस्था पर कुठाराघात करना है। लेकिन 2014 से सनातनियों ने अपमान का बदला लेना सीख लिया है और देश एवं प्रदेश में सनातन को मानने वाली सरकार संस्कृति की पुनर्प्रतिष्ठा करने का काम भी कर रही है। जो 14 में हारे थे उनकी वापसी सनातनी 24 में भी नहीं होने देंगे।
(आईएएनएस)
हैदराबाद, 18 अप्रैल । तेलंगाना में कांग्रेस की सरकार है। सत्ता में आने के चार महीने बाद कांग्रेस लोकसभा चुनाव में राज्य की 17 में से 12 सीटें जीतने की कोशिश कर रही है। लेकिन कांग्रेस के लिए राहें आसान नहीं हैं। मतदाताओं के एक वर्ग को लगता है कि विधानसभा चुना में दी गई छह गारंटियों में से कई को पूरा करने में कांग्रेस की सरकार विफल रही है।
7 दिसंबर 2023 को कांग्रेस सरकार के सत्ता संभालने के 48 घंटों के भीतर महिलाओं के लिए मुफ्त बस यात्रा की शुरुआत की गई। साथ ही कुछ अन्य योजनाओं के लॉन्च से कांग्रेस के लिए सकारात्मक माहौल बना, लेकिन बड़ी संख्या में छूटे हुए आवेदक नाखुश हैं। किसान विशेष रूप से दुखी हैं। उनसे किए गए किसी भी वादे पर अमल नहीं किया गया।
आईएएनएस ने मतदाताओं के जिस वर्ग से बात की, वे गारंटियों के लागू के बारे में अपनी राय में विभाजित थे। जबकि जिन लोगों को प्रति माह 200 यूनिट मुफ्त बिजली और 500 रुपये की रसोई गैस सिलेंडर योजना से लाभ हुआ, वे खुश हैं। उनका कहना है कि वे फिर से कांग्रेस को वोट देंगे। वहीं जो लोग वंचित रह गए, वे निराश महसूस कर रहे हैं। वे भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) का समर्थन करना चाहते हैं।
पिछले चार महीनों के अपने अनुभव को देखते हुए, ये मतदाता राष्ट्रीय स्तर पर पार्टी की नई गारंटियों पर संदेह जता रहे हैं। उनमें से कई इस पर दोबारा भरोसा करने के लिए तैयार नहीं हैं।
चार महीने किसी भी सरकार के प्रदर्शन का आकलन करने के लिए बहुत कम समय है। कांग्रेस 100 दिनों के भीतर छह गारंटियों को लागू करने के अपने वादे पर कायम रहने में विफल रही है। कई लोगों का मानना है कि सरकार ने योजनाएं सिर्फ इसलिए शुरू कीं ताकि उनका लाभ सीमित संख्या तक पहुंच सके।
लाभार्थियों के चयन के लिए सफेद राशन कार्ड बुनियादी मानदंड थे, लेकिन जिनके पास यह नहीं है, वे छूट जाने से नाखुश हैं। यहां तक कि कई सफेद कार्ड धारकों की शिकायत है कि सरकार के 'प्रजा पालन' अभियान के दौरान आवेदन जमा करने के बावजूद उन्हें नजरअंदाज कर दिया गया।
घरेलू सहायिका टी नीलम ने कहा, "हमारे पास एक सफेद राशन कार्ड है। हमने बिजली, गैस, पेंशन और अन्य लाभों के लिए आवेदन किया था लेकिन हमें कुछ नहीं मिला।" जब कांग्रेस ने वादे किए तो उन्हें बहुत उम्मीदें थीं लेकिन अब वह निराश हैं।
नीलम का कहना है कि अब तक हमें जो एकमात्र लाभ मिला है वह टीएसआरटीसी बसों में मुफ्त यात्रा है।
हैदराबाद में एक निजी फर्म के कर्मचारी भूम्या नाइक ने कहा, "जब वे पूरा नहीं कर सकते तो उन्होंने वादे क्यों किए? यह स्पष्ट है कि वादे चुनाव जीतने के लिए किए गए थे लेकिन पार्टी ने लोगों का विश्वास खो दिया है। हमें कुछ नहीं मिला।"
उन्होंने कहा, "अब हमें लगता है कि बीआरएस सरकार बेहतर थी। हम लोकसभा चुनाव में बीआरएस को वोट देंगे। पहले जो भी समस्याएं रही हों, बीआरएस सरकार विभिन्न योजनाओं के तहत नियमित रूप से वित्तीय सहायता दे रही थी।"
किसान सबसे ज्यादा नाखुश हैं। कांग्रेस ने कई वादों के साथ उनकी उम्मीदें जगाई थीं। लेकिन वे अब मांग कर रहे हैं कि सरकार कम से कम पिछले बीआरएस शासन द्वारा शुरू की गई योजनाओं जैसे रायतु बंधु को लागू करे।
कांग्रेस ने रायतु भरोसा के तहत हर साल 15 हजार रुपये प्रति एकड़ देने का वादा किया था। लेकिन आरोप है कि वह पिछली सरकार द्वारा भुगतान किए गए 10 हजार रुपये भी देने में विफल रही।
पार्टी ने बटाईदार किसानों को भी वित्तीय सहायता देने के साथ-साथ खेतिहर मजदूरों को 12 हजार रुपये की वार्षिक वित्तीय सहायता देने का वादा कर बड़ी उम्मीदें जगाई थीं।
किसानों ने कांग्रेस के उस वादे को भी याद किया, जब 9 दिसंबर को कांग्रेस नेता सोनिया गांधी के जन्मदिन पर नई सरकार के सत्ता संभालने के तुरंत बाद कहा गया कि 2 लाख रुपये तक के कृषि ऋण माफ कर दिए जाएंगे। हालांकि, चार महीने बाद भी वादा अधूरा है।
मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी ने अब घोषणा की है कि 15 अगस्त तक कृषि ऋण माफ कर दिए जाएंगे। उनका कहना है कि चुनाव कार्यक्रम की घोषणा के साथ लागू हुई आदर्श आचार संहिता के कारण इस योजना को लागू नहीं किया जा सका।
किसानों को धान पर 500 रुपये प्रति क्विंटल बोनस भी नहीं मिला, जबकि मुख्यमंत्री ने अगली फसल से इसका भुगतान करने का वादा किया था। सूखे जैसी स्थिति के कारण राज्य के कुछ हिस्सों में फसलों का सूखना, किसानों को सिंचाई के पानी की आपूर्ति करने और उन्हें 24 घंटे बिजली सुनिश्चित करने में कथित विफलता ने भी उन्हें परेशान कर दिया है।
नवंबर 2023 में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस ने छह गारंटियों के हिस्से के रूप में 13 वादे किए थे। छह गारंटियों -- 'महालक्ष्मी', 'रायतु भरोसा', 'गृह ज्योति', 'इंदिरम्मा इंदलू', 'युवा विकासम' और 'चेयुथा' के तहत महिलाओं, किसानों, युवाओं, बेघरों और बुजुर्गों जैसे विभिन्न वर्गों के लिए वादे किए गए थे। सोनिया गांधी ने 17 सितंबर 2023 को हैदराबाद के पास तुक्कुगुडा में एक जनसभा में गारंटियों का अनावरण किया था।
उसी स्थान पर, कांग्रेस ने 6 अप्रैल को राहुल गांधी की उपस्थिति में आगामी लोकसभा चुनावों के लिए अपनी राष्ट्रीय गारंटी का तेलुगु वर्जन जारी किया।
सत्ता संभालने के दो दिन बाद 9 दिसंबर को रेवंत रेड्डी के नेतृत्व वाली सरकार ने तेलंगाना राज्य सड़क परिवहन निगम (टीएसआरटीसी) की बसों में महिलाओं को मुफ्त यात्रा प्रदान करने के लिए महालक्ष्मी योजना शुरू की और राजीव आरोग्यश्री (गरीबों के लिए स्वास्थ्य बीमा योजना) के तहत कवरेज को 5 लाख रुपये से बढ़ाकर 10 लाख रुपये कर दिया।
अन्य गारंटियों को लागू करने में देरी हुई क्योंकि सरकार ने छह में से पांच गारंटियों के लिए पात्र लाभार्थियों से आवेदन प्राप्त करने के लिए बड़े पैमाने पर कवायद शुरू की। 28 दिसंबर से 6 जनवरी तक राज्य भर में आयोजित 'प्रजा पालन' कार्यक्रम के दौरान 1.28 करोड़ से अधिक आवेदन प्राप्त हुए, जिसमें कुल 1,11,46,293 परिवार शामिल थे।
जिनके पास सफेद राशन कार्ड नहीं थे उनसे भी आवेदन प्राप्त हुए। इनमें से 1.05 करोड़ से अधिक आवेदन पांच गारंटियों के तहत लाभ प्राप्त करने के लिए थे, जबकि शेष आवेदन अन्य जरूरतों के लिए थे।
मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने 27 फरवरी को प्रत्येक घर को 200 यूनिट मुफ्त बिजली और 500 रुपये में एक रसोई गैस सिलेंडर की गारंटी की शुरुआत की। उन्होंने 11 मार्च को गरीबों के लिए आवास योजना इंदिरम्मा इंदलू लॉन्च की, जिसके तहत महिलाओं के नाम पर घर की जगहें वितरित की जानी थी और घर निर्माण के लिए 5 लाख रुपये की वित्तीय सहायता। सरकार ने 22,500 करोड़ रुपये की लागत से 4.50 लाख इंदिराम्मा घरों को मंजूरी दी है।
प्रति माह 200 यूनिट तक बिजली की खपत करने वाले और सफेद राशन कार्ड रखने वाले परिवारों को मार्च से 'शून्य बिल' मिलना शुरू हो गया। बिजली वितरण कंपनियों ने कहा कि 10 लाख से अधिक उपभोक्ताओं को 'शून्य बिल' जारी किए गए। हालांकि, कई आवेदकों ने शिकायत की कि पात्र होने के बावजूद उन्हें योजना के तहत लाभ से वंचित कर दिया गया।
इसी तरह केवल सफेद राशन कार्ड धारकों को ही 500 रुपये में रसोई गैस सिलेंडर मिल रहा है। जबकि सरकार ने कहा है कि कुल 40 लाख परिवारों को फायदा होगा, सिलेंडर की संख्या पिछले तीन वर्षों की उनकी औसत खपत तक सीमित है।
तीनों योजनाओं का लाभ उठा रहे लोग सरकार से खुश हैं।
आदिलाबाद शहर के एक निजी कर्मचारी ई. प्रवीण ने आईएएनएस को बताया, "उन्हें पिछले दो महीनों से शून्य बिजली बिल मिल रहा है। मुझे रसोई गैस सिलेंडर भी केवल 500 रुपये में मिल रहा है। इन दो लाभों के अलावा, हमारे परिवार की महिला सदस्य टीएसआरटीसी बसों में भी मुफ्त यात्रा कर रही हैं।"
आदिलाबाद के एक व्यवसायी हाफिज अहमद भी तीन योजनाओं के तहत लाभ मिलने से खुश हैं। उन्होंने लोकसभा चुनाव में कांग्रेस का समर्थन करने का फैसला किया है।
हालांकि, रंगारेड्डी जिले में एक छोटा स्टेशनरी व्यवसाय चलाने वाले सैयद आमेर इकबाल लाभ से वंचित हैं क्योंकि उनके पास कोई सफेद राशन कार्ड नहीं है। उनका कहना है कि उन्होंने आवेदन नहीं किया क्योंकि हमारे जैसे लोगों को लाभ नहीं मिलता।
कुछ लोग आदर्श आचार संहिता लागू होने से सरकार के बचाव में विश्वास करते हैं।
आंगनवाड़ी टीचर पी. वसंता ने कहा, "हम न केवल टीएसआरटीसी बसों में मुफ्त यात्रा सुविधा का लाभ उठा रहे हैं, बल्कि मुफ्त बिजली के लिए हमारा आवेदन भी स्वीकार कर लिया गया है। हमारा मानना है कि आदर्श आचार संहिता के कारण शून्य बिल जारी करने में सच में कठिनाइयां हैं और उम्मीद है कि सरकार लोकसभा चुनाव के बाद अपनी बात रखेगी।"
हालांकि, सरकार को अभी भी किसानों से किए वादों के अलावा प्रत्येक महिला के लिए 2,500 रुपये की मासिक वित्तीय सहायता, बुजुर्गों के लिए 4,000 रुपये की मासिक पेंशन, छात्रों के लिए 5 लाख रुपये के विद्या भरोसा कार्ड और सभी मंडलों में तेलंगाना अंतर्राष्ट्रीय स्कूलों जैसे वादों को लागू करना बाकी है।
चेवेल्ला निर्वाचन क्षेत्र की एक गृहिणी टी. मनिअम्मा ने कहा, "हमें उम्मीद है कि सरकार लोकसभा चुनाव के बाद अन्य वादों का लागू करना सुनिश्चित करेगी। इस सरकार ने छह महीने भी पूरे नहीं किए हैं, इसलिए हमें इसे अपनी बात रखने के लिए कुछ और समय देना चाहिए।''
(आईएएनएस)
चमोली, 17 अप्रैल । उत्तराखंड में 19 अप्रैल को 5 लोकसभा सीटों पर मतदान होने हैं। चुनाव प्रचार के अंतिम दिन बीजेपी प्रत्याशी अनिल बलूनी ने चमोली जिले के गोपेश्वर पहुंचकर लोगों से जनसंपर्क करते हुए वोट देने की अपील की।
उन्होंने कहा कि चमोली जिले में भगवान गोपीनाथ की धरती गोपेश्वर में जनसभा की। आज प्रचार के अंतिम दिन सीमांत जिले की जनता से संवाद किया। उत्तराखंड के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कार्यकाल विकास के स्वर्णिम अवसर लेकर आया है। उनके तीसरे कार्यकाल में गढ़वाल का कायाकल्प होगा।
कार्यक्रम में प्रधानमंत्री मोदी के कार्यकाल और उनके विकसित भारत-विकसित उत्तराखंड के विजन से प्रभावित होकर विपक्ष के कई स्थानीय नेताओं ने भाजपा की सदस्यता ग्रहण की। इन सभी नेताओं का अनिल बलूनी ने पार्टी में स्वागत किया।
इस अवसर पर बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट, गढ़वाल सांसद और पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत, वर्तमान विधायक राजेंद्र सिंह भंडारी, पूर्व नगर पालिका अध्यक्ष प्रेम बल्लभ भट्ट समेत अन्य मौजूद रहे।
दूसरी तरफ अनिल बलूनी ने थराली में एक भव्य रोड शो करके जनता से अपने पक्ष में मतदान की अपील की। उन्होंने कहा कि देवतुल्य जनता के भाव और आशीर्वाद बताते हैं कि प्रधानमंत्री मोदी के तीसरे कार्यकाल हेतु जनता पूर्णतः संकल्पबद्ध है।
(आईएएनएस)
नई दिल्ली, 17 अप्रैल । आबकारी नीति मामले में प्रवर्तन निदेशालय द्वारा गिरफ्तार मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को न्यायिक हिरासत से सरकार चलाने के लिए सारी सुविधाएं मुहैया कराने की वकालत करते हुए दिल्ली उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर की गई है।
वकील श्रीकांत प्रसाद द्वारा दायर जनहित याचिका में निर्बाध शासन सुनिश्चित करने के लिए मुख्यमंत्री को कैबिनेट मंत्रियों के साथ बैठक के लिए वर्चुअल कॉन्फ्रेंसिंग की सुविधा देने की मांग की गई है।
साथ ही मीडिया को सीएम केजरीवाल के संभावित इस्तीफे और राष्ट्रीय राजधानी में राष्ट्रपति शासन लगाए जाने के बारे में सनसनीखेज खबरें प्रसारित करने से रोकने की भी मांग की गई है।
इसके अलावा, इसमें भाजपा दिल्ली अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा को निशाना बनाते हुए आरोप लगाया गया है कि उनके विरोध और बयान राजनीति से प्रेरित इरादों के साथ केजरीवाल के इस्तीफे के लिए अनुचित दबाव बनाते हैं और शांति तथा यातायात को बाधित करते हैं।
प्रसाद की याचिका में दिल्ली के शासन के सराहनीय ट्रैक रिकॉर्ड पर जोर दिया गया है, खासकर पिछले सात वर्षों में शिक्षा और स्वास्थ्य सेवा क्षेत्रों में। इसमें तर्क दिया गया है कि राष्ट्रीय राजधानी में वर्तमान परिस्थितियां भारतीय संविधान के अनुच्छेद 21, 14 और 19 के तहत मौलिक अधिकारों का उल्लंघन करती हैं।
यह कहते हुए कि न तो संविधान और न ही कोई कानून मुख्यमंत्रियों या प्रधानमंत्रियों सहित मंत्रियों को जेल से शासन करने से रोकता है, प्रसाद ने याचिका में "लोगों के कल्याण के लिए" शासन में निरंतरता सुनिश्चित करने की आवश्यकता का हवाला देते हुए मामले की तात्कालिकता पर जोर दिया है।
याचिका में प्रसाद ने कहा है, "चूंकि संविधान के निर्माता इस बात को लेकर काफी सतर्क थे कि ऐसी स्थिति आ सकती है जब देश की राजनीति सबसे बुरे दौर में पहुंच जाएगी और उस समय जनता के मौलिक अधिकारों को बरकरार रखने के लिए यह बहुत जरूरी है कि कोई बाध्यता या इस्तीफे के लिए कोई अनिवार्यता न हो, अन्यथा किसी भी मंत्री को इस्तीफा देने के लिए उसी कार्यप्रणाली को दोहराने से गंभीर परिणाम उत्पन्न हो सकते हैं।''
प्रसाद की याचिका में कहा गया है, "अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी ने 2020 के दिल्ली विधानसभा चुनाव में 70 में से 62 सीटें जीतकर प्रचंड बहुमत हासिल किया। इसके अलावा 7 फरवरी 2015 को हुए पिछले दिल्ली विधानसभा चुनाव में भी अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली आम आदमी पार्टी ने 70 में से 67 सीटें जीतीं। इससे पता चलता है कि श्री अरविंद केजरीवाल द्वारा दिल्ली का शासन भारत में एक अभूतपूर्व घटना है।”
याचिका में संवैधानिक सुरक्षा उपायों और मुख्यमंत्री की कानूनी कठिनाइयों के बावजूद शासन की निरंतरता बनाए रखने की अनिवार्यता पर जोर दिया गया है।
(आईएएनएस)
कोलकाता, 17 अप्रैल। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सी.वी. आनंदा बोस 19 अप्रैल को उत्तर बंगाल के कूच बिहार लोकसभा क्षेत्र में डेरा डालेंगे, जिस दिन इस क्षेत्र में पहले चरण का मतदान होगा।
कूचबिहार के अलावा, उत्तरी बंगाल के दो अन्य निर्वाचन क्षेत्रों, अलीपुरद्वार और जलपाईगुड़ी में भी उसी दिन मतदान हो रहा है।
सूत्रों ने कहा कि राज्यपाल ने पिछले चुनाव संबंधी हिंसा के रिकॉर्ड पर विचार करने के बाद यह फैसला किया।
राजभवन के सूत्रों ने कहा कि कार्यक्रम के अनुसार, राज्यपाल गुरुवार सुबह कोलकाता से कूच बिहार के लिए रवाना होंगे और चुनाव खत्म होने के बाद शुक्रवार शाम को निर्वाचन क्षेत्र से लौटेंगे।
राज्यपाल ने कहा, "16 मार्च को, जिस दिन चुनाव आयोग ने मतदान कार्यक्रम की घोषणा की, राज्यपाल ने कहा कि वह पहले चरण से ही मैदान में रहेंगे। मैं सुबह 6 बजे सड़कों पर उतरूंगा। मैं लोगों के लिए उपलब्ध रहूंगा। पिछले साल पंचायत चुनावों में हुई हिंसा की अब अनुमति नहीं दी जाएगी।''
पिछले महीने कोलकाता में गवर्नर हाउस में एक नया पोर्टल भी लॉन्च किया गया, जिसके माध्यम से राज्यपाल राज्य के आम मतदाताओं से सीधे बातचीत कर सकते हैं। पोर्टल में एक ईमेल है जिसके माध्यम से राज्य का कोई भी मतदाता सीधे अपनी शिकायत दर्ज करा सकता है।
(आईएएनएस)
नई दिल्ली, 17 अप्रैल । भाजपा ने आम आदमी पार्टी (आप) से पूछा है कि उनका यह कैसा राम राज्य है, जहां धार्मिक स्थलों के पास शराब की दुकानें खोली जा रही है। स्कूलों के नाम पर घोटाले हो रहे हैं। देश की राजधानी दिल्ली में शराब की बिक्री को बढ़ावा दिया जाता है।
दरअसल, आम आदमी पार्टी का कहना है कि दिल्ली और पंजाब में उनकी सरकार रामराज्य से प्रेरित होकर काम कर रही है। आम आदमी पार्टी ने बुधवार को लोकसभा चुनाव के लिए 'आप का रामराज्य' नामक वेबसाइट भी लॉन्च की।
'आप' का कहना है कि इस वेबसाइट के अंदर रामराज्य के सपने को पूरा करने के लिए अरविंद केजरीवाल के 10 सिद्धांत हैं। दिल्ली में पिछले 9 सालों और पंजाब में दो सालों के दौरान जनहित में किए गए सारे कामों की विस्तृत जानकारी वीडियो और कंटेंट के माध्यम से वेबसाइट पर उपलब्ध है, जिसे कोई भी देख सकेगा। वेबसाइट लॉन्च करते हुए ‘आप’ के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा कि अरविंद केजरीवाल के रामराज्य की अवधारणा में कोई भेदभाव और छोटा-बड़ा नहीं है, सिर्फ जनता के हित में काम करने का विचार है।
इसके जवाब में भाजपा दिल्ली प्रदेश के अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा का कहना है कि संजय सिंह किस तरह के 'राम राज्य' की बात कर रहे हैं। उनका यह कैसा राम राज्य है, जहां पर धार्मिक स्थलों के साथ-साथ शराब की नई दुकानें खोली जा रही हैं। स्कूल में नई कक्षाओं के नाम पर घोटाले हो रहे हैं। सरकारी अस्पतालों में नकली दवाएं दी जा रही हैं।
सचदेवा ने कहा कि आम आदमी पार्टी सबसे कम उम्र में सबसे अधिक भ्रष्टाचार करने वाली पार्टी बन गई है। ये रामराज्य की बात करते हैं, लेकिन आम आदमी पार्टी बताए कि यह कौन सा रामराज्य है, जहां एक के साथ एक शराब की बोतल फ्री बांटी जाती है।
(आईएएनएस)
साहिबगंज, 17 अप्रैल। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ आपत्तिजनक बयान देने वाले झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता नजरूल इस्लाम के खिलाफ साहिबगंज नगर थाने में प्रशासन ने एफआईआर दर्ज कराई है।
बता दें कि एक कार्यक्रम में नजरूल इस्लाम के भाषण का वीडियो वायरल है, जिसमें वह पीएम मोदी के “अबकी बार, 400 पार” के नारे का जिक्र करते हुए कह रहे हैं, “मैं आप लोगों से कहना चाहता हूं कि 400 सीट नहीं, 400 फीट के अंदर नरेंद्र मोदी को गाड़ दिया जाएगा।“
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी और झारखंड विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष अमर कुमार बाउरी ने झामुमो नेता के भाषण की वीडियो क्लिपिंग अपने सोशल मीडिया हैंडल पर शेयर करते हुए उन्हें अविलंब गिरफ्तार करने और इस मामले में चुनाव आयोग से कार्रवाई करने की मांग की थी।
साहिबगंज नगर थाना प्रभारी अमित कुमार ने बताया कि सदर बीडीओ सुबोध कुमार के बयान पर मामले में आदर्श आचार संहिता उल्लंघन और अमर्यादित भाषा का इस्तेमाल करने के आरोप में आईपीसी की धाराओं के तहत साहिबगंज नगर थाने में एफआईआर दर्ज की गई है।
प्रशासन ने अंचल के सीआई फनेश्वर कुमार, राजस्व कर्मचारी अजय कुमार और पंचायत सचिव सुशील मरांडी को 24 घंटे के अंदर मामले की जांच कर रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया है। इस मामले में नजरूल इस्लाम की ओर से सफाई आई है। उन्होंने कहा कि उनके भाषण के वीडियो को तोड़-मरोड़कर पेश किया गया है। उन्होंने राजनीतिक बयान दिया था, जिसे दूसरा रंग दे दिया गया है। बयान से किसी को ठेस पहुंची है तो वह इसके लिए खेद व्यक्त करते हैं।
(आईएएनएस)
चेन्नई, 17 अप्रैल । अन्नाद्रमुक नेता और दिवंगत जे. जयललिता सरकार में मंत्री रहे पोलाची वी. जयरामन (71) को बुधवार को बेहोश होने के बाद कोयंबटूर के एक निजी अस्पताल के आईसीयू में भर्ती कराया गया।
पोलाची विधानसभा क्षेत्र से मौजूदा विधायक जयरामन का इलाज कर रहे डॉक्टरों ने आईएएनएस को बताया कि उनकी हालत फिलहाल स्थिर है, हालांकि वह कुछ और दिनों तक अस्पताल में उपचाराधीन रहेंगे।
एआईएडीएमके नेताओं के मुताबिक, पिछले कुछ दिनों से जयरामन कोयंबटूर लोकसभा क्षेत्र में सक्रिय रूप से प्रचार कर रहे थे। वह अन्नाद्रमुक नेता के. पलानीस्वामी के करीबी सहयोगी हैं और पूर्व मुख्यमंत्री ओ. पन्नीरसेल्वम को पार्टी से निकालने में सबसे आगे थे।
(आईएएनएस)
लखनऊ, 17 अप्रैल । सात चरणों में होने वाले लोकसभा आम चुनावों में किसी भी आपदा से निपटने के लिए उत्तर प्रदेश शासन की ओर से एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर की व्यवस्था की गई है।
इस एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर की मदद से किसी भी आकस्मिक स्थिति में न सिर्फ मदद पहुंचाई जा सकेगी, बल्कि अर्द्धसैनिक बलों, पुलिस बलों के व्यवस्थापन के साथ ही मेडिकल सहायता पहुंचाने में भी मदद मिलेगी।
अलग-अलग चुनावी चरणों के हिसाब से इन एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर को अलग-अलग लोकेशंस पर तैनात किया जाएगा। एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर हरियाणा के गुरुग्राम स्थित एक निजी एविएशन कंपनी से लीज पर लिए गए हैं।
उत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव सात चरणों में होना है। इसके लिए किसी भी संकट की स्थिति का सामना करने के लिए एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर को हायर किया गया है।
शासन की ओर से मिली जानकारी के मुताबिक प्रत्येक चरण में चुनावों की लोकेशन के आधार पर एयर एंबुलेंस और हेलीकॉप्टर को तैनात किया जाएगा।
19 अप्रैल को पहले चरण में यूपी के पश्चिम क्षेत्र की सीटों पर मतदान होना है। इसके लिए हेलीकॉप्टर को 18 अप्रैल और 19 अप्रैल को मुरादाबाद में तैनात किया गया है, जबकि, एयर एंबुलेंस को 19 अप्रैल को बरेली में तैनात किया गया है।
इसी तरह दूसरे चरण यानी 26 अप्रैल को हेलीकॉप्टर अलीगढ़ और एयर एंबुलेंस मेरठ में तैनात किया गया है। 7 मई को तीसरे चरण में हेलीकॉप्टर आगरा और एयर एंबुलेंस को बरेली में लोकेट किया गया है।
13 मई को चौथे चरण में हेलीकॉप्टर कानपुर तो एयर एंबुलेंस लखनऊ में तैनात रहेगा। इसी प्रकार पांचवें चरण यानी 20 मई को हेलीकॉप्टर झांसी तो एयर एंबुलेंस लखनऊ में रहेगा। छठे चरण में हेलीकॉप्टर अयोध्या और एयर एंबुलेंस प्रयागराज में तैनात रहेगी। अंतिम चरण यानी सातवें फेज के चुनाव में एक जून को हेलीकॉप्टर गोरखपुर और एयर एंबुलेंस वाराणसी में तैनात होंगे।
अधिकारियों के मुताबिक आकस्मिक परिस्थितियों में मेडिकल सहायता उपलब्ध कराने के साथ ही सैनिकों को लाने और ले जाने में हेलीकॉप्टर और एयर एंबुलेंस मददगार साबित होंगे।
गुरुग्राम की जेट सर्व एविएशन प्रा. लि. से 5.60 लाख रुपए के न्यूनतम उपयोग (2 घंटे प्रतिदिन) के लिए लीज पर लिया गया है। 7 दिन के हिसाब से इस पर कुल 39.20 लाख रुपए का खर्च आएगा।
प्रदेश शासन की ओर से इसकी वित्तीय स्वीकृति भी दी जा चुकी है। भुगतान और जीएसटी के साथ नियमानुसार गणना का दायित्व उत्तर प्रदेश नागरिक उड्डयन विभाग और उत्तर प्रदेश पुलिस मुख्यालय, लखनऊ का होगा। खर्च के बाद भी यदि कोई धनराशि शेष बचती है तो उसे नियमानुसार राजकोष में जमा कराया जाएगा।
(आईएएनएस)
बेंगलुरु, 17 अप्रैल । कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार ने बुधवार को बेंगलुरु में कहा कि राहुल गांधी बहादुर इंसान हैं, वो किसी से नहीं डरते।
संवाददाताओं से बात करते हुए डिप्टी सीएम शिवकुमार ने कहा, "राहुल गांधी पूरे देश में चुनाव प्रचार कर रहे हैं। मैं भी कल वायनाड पहुंचकर चुनाव प्रचार में हिस्सा लूंगा। मुझे पूरा विश्वास है कि राहुल गांधी की मेहनत रंग लाएगी।"
वहीं, जब उनसे पूछा गया कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता लगातार बीजेपी पर यह आरोप लगा रहे हैं कि वो ईवीएम में फेरबदल कर नतीजों को अपने पक्ष में करने का प्रयास कर रहे हैं, तो डिप्टी सीएम ने कहा कि राहुल गांधी के पास इस बारे में ज्यादा जानकारी है। वो इस पर आपको अच्छी जानकारी दे सकते हैं।
उन्होंने कहा, "एनडीए सरकार नहीं बनाएगी, बल्कि अगर कोई केंद्र में सरकार बनाएगा, तो वो इंडिया गठबंधन है।"
केंद्रीय राज्य मंत्री शोभा करंदलाजे के इस बयान पर कि राहुल गांधी के दौरे से बीजेपी की संभावनाएं बढ़ेंगी, डिप्टी सीएम ने कहा, "कर्नाटक विधानसभा चुनाव में क्या हुआ? उडुपी चिकमंगलूर लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र जिसका वह प्रतिनिधित्व करती हैं, में क्या हुआ? कांग्रेस पार्टी ने चिकमंगलूर जिले की सभी छह सीटों पर जीत हासिल की। उन्होंने वह लोकसभा सीट क्यों खाली की जिसका वह वर्तमान में प्रतिनिधित्व करती हैं? लोगों ने उन्हें वापस जाने के लिए कहा।”
उपमुख्यमंत्री शिवकुमार ने आगे कहा, कांग्रेस के नेतृत्व वाला यूडीएफ केरल की सभी 20 लोकसभा सीटों पर जीत हासिल करने के लिए तैयार है।
उन्होंने कहा, "मैं वायनाड गया था और वहां के लोगों द्वारा दिए गए समर्थन को देखने के बाद, यह निश्चित है कि यूडीएफ केरल राज्य में जीत हासिल करने के लिए पूरी तरह तैयार है।"
शिवकुमार ने कहा, "कर्नाटक में बीजेपी के 14 सिटिंग सांसदों को टिकट नहीं दिया गया। आखिर बीजेपी ने उन्हें टिकट देने से क्यों इनकार किया? अगर उन्हें पूरा विश्वास था कि वो जीतेंगे, तो पार्टी को उन्हें चुनावी मैदान में उतारना चाहिए था। इस तरह से एनडीए ने अपने 100 सांसदों को टिकट देने से इनकार कर दिया।"
उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा समझ गयी है कि वह देश की सत्ता में नहीं आएगी।
शिवकुमार ने कहा, "जनता हमारे सिद्धांतों, ईमानदारी से वाकिफ है और महंगाई व बेरोजगारी के बारे में भी जानती है। कर्नाटक और तेलंगाना अपनी गारंटी लागू करने में सफल रहे, इसके बाद अब इसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गारंटी के तौर पर पेश किया जा रहा है।''
शिवकुमार ने आरोप लगाया कि हार के डर से भाजपा ने आंध्र प्रदेश में पूर्व सीएम चंद्रबाबू नायडू और कर्नाटक में जेडीएस के साथ गठबंधन किया है।
गारंटी बंद करने के बीजेपी के बयान पर कड़ी आपत्ति जताते हुए उपमुख्यमंत्री शिवकुमार ने कहा, "कर्नाटक बीजेपी अध्यक्ष बीवाई विजयेंद्र ने कहा था कि एनडीए के सत्ता में आने के बाद गारंटी जारी नहीं रखी जाएंगी। मैं बीजेपी नेताओं, पूर्व सीएम बीएस येदियुरप्पा, विजयेंद्र, विपक्ष के नेता आर अशोक और पूर्व सीएम एचडी कुमारस्वामी से कह रहा हूं कि वे गारंटी के साथ कुछ नहीं कर पाएंगे।"
डिप्टी सीएम ने कहा, "राज्य की जनता आपको ऐसा नहीं करने देगी> हम 20 से अधिक सीटें जीत रहे हैं।''
(आईएएनएस)
नयी दिल्ली, 17 अप्रैल किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि किसानों को भाजपा के लोकसभा चुनाव 2024 के घोषणापत्र पर भरोसा नहीं है और केंद्र में पार्टी की सरकार पूंजीपतियों के इशारे पर काम कर रही है।
टिकैत ने कहा कि भारत को सस्ते श्रम के स्रोत के रूप में देखा जा रहा है और सरकार पर कॉर्पोरेट घरानों का नियंत्रण बढ़ गया है। उन्होंने किसान संगठनों से मुद्दों से निपटने और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए मजबूत होने को कहा।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के घोषणापत्र के बारे में पूछे जाने पर भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के नेता टिकैत ने कहा, ‘‘यह पूंजीपतियों का एक गिरोह है जिसने राजनीतिक दल पर कब्जा कर लिया है।’’
उन्होंने कहा, "हमें घोषणापत्र पर भरोसा नहीं है। 2014 में भी घोषणापत्र में कहा गया था कि वे स्वामीनाथन समिति की सिफारिशों को लागू करेंगे। अब 10 साल हो गए हैं और सिफारिशें लागू नहीं की गई हैं।"
टिकैत ने दावा किया कि लोगों को बेवकूफ बनाने की कोशिश की जा रही है और ‘‘वे ‘ए2+एफएल’ फॉर्मूले का उपयोग कर रहे हैं तथा कह रहे हैं कि सिफारिशों को लागू कर दिया गया है’’।
फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के ‘ए2+एफएल’ फॉर्मूले का मतलब है कि इसमें किसान को फसल पर आने वाली लागत और परिवार के श्रम का मूल्य शामिल है। आयोग ने ‘सी2+50’ प्रतिशत फॉर्मूला की सिफारिश की थी जिसमें उत्पादन की व्यापक लागत को ध्यान में रखा गया था।
साल 2020-21 में किसान आंदोलन का नेतृत्व करने वाले संयुक्त किसान मोर्चा ने कहा है कि भाजपा के घोषणापत्र में स्वामीनाथन आयोग द्वारा सुझाए गए फॉर्मूले पर एमएसपी का कोई उल्लेख नहीं है और यह किसानों तथा खेत श्रमिकों के खिलाफ "खुली चुनौती" है।
टिकैत ने कहा कि न तो उन्होंने और न ही उनके संगठन ने 2014 में भाजपा का समर्थन किया था, हालांकि उन्होंने व्यक्तिगत तौर पर कुछ उम्मीदवारों का समर्थन किया होगा।
उन्होंने कहा कि भाजपा लोगों को बेवकूफ बनाने की कोशिश कर रही है और ''पूंजीपतियों के इशारे पर काम कर रही है।''
टिकैत ने कहा, "कारोबारियों के इस गिरोह ने राजनीतिक दल पर कब्जा कर लिया है। अगर यह सरकार होती तो किसानों और देश के अन्य लोगों के लिए काम करती। यह भाजपा सरकार नहीं है। इसलिए वे इसे एक व्यक्ति विशेष की सरकार कहते हैं।"
उन्होंने कहा, "...प्रधानमंत्री (नरेन्द्र मोदी) 2047 की बात करते हैं, अगर वे (भाजपा) अपने मकसद में कामयाब हो गए तो देश का 70 फीसदी हिस्सा पूंजीपतियों का हो जाएगा। जमीन उनका अगला लक्ष्य है।"
मोदी सरकार ने 2047 तक 'विकसित भारत' की संकल्पना की है।
साल 2020-21 के किसान आंदोलन का जिक्र करते हुए टिकैत ने कहा कि भूमि अधिकारों पर भी एक आंदोलन होगा।
उन्होंने कहा, "सर्वेक्षण कर लीजिए, जमीन महंगी होती जा रही है। उस महंगी जमीन को पूंजीपति खरीद लेंगे। जमीन के लिए भी आंदोलन होगा।"
टिकैत ने आरोप लगाया कि किसानों को अपनी जमीन कॉर्पोरेट घरानों को बेचने के लिए मजबूर किया जा रहा है।
उन्होंने कहा, ‘‘उदाहरण के तौर पर, अगर राजमार्ग के पास जमीन है तो वे कृषि भूमि को अवरुद्ध कर देते हैं और दीवारें खड़ी कर देते हैं। फिर वे सस्ती दरों पर जमीन खरीदते हैं। किसान अपनी जमीन खो रहे हैं। आने वाले समय में देश की स्थिति खराब होने जा रही है।’’
भाकियू नेता ने यह भी कहा कि भारत को सस्ते श्रम के स्रोत के रूप में देखा जा रहा है।
उन्होंने कहा, "चीन से मुकाबले के लिए उन्हें (कॉर्पोरेट घरानों को) ऐसे देश की जरूरत है जहां बड़ी आबादी हो, वे उद्योग लगा सकें और सस्ता श्रम उपलब्ध हो। यह देश मजदूरों का देश बन जाएगा, जहां उन्हें बाजार के साथ-साथ सस्ता श्रम भी मिलेगा।"
टिकैत ने कहा, "पिछले आठ-दस वर्षों को देखें, यही हो रहा है। वे लोगों को मुफ्त अनाज दे रहे हैं, लोग रोजगार के अवसरों से वंचित हैं... दिल्ली इतनी महंगी हो गई है कि लोग अपने गांवों में वापस जा रहे हैं। श्रम कानूनों में संशोधन किया गया है। इस देश में सस्ता श्रम उनका (कॉर्पोरेट घरानों) लक्ष्य है।’’
उन्होंने कहा कि किसान संगठनों को मजबूत होना होगा। टिकैत ने यह भी कहा कि आज हर राजनीतिक दल किसानों, गरीबों और युवाओं के बारे में बात कर रहा है।
भाकियू नेता ने कहा, ‘‘किसान संगठन मजबूत होंगे तो सबकुछ होगा। अगर किसान संगठन कमजोर होंगे तो कुछ नहीं होगा। अब राजनीतिक दल अपने घोषणापत्र में किसानों का जिक्र करने लगे हैं। नेता ट्रैक्टरों पर प्रचार कर रहे हैं। आज हर राजनीतिक नेता गरीबों, किसानों, युवाओं और आदिवासियों के बारे में बात कर रहा है, चाहे वे उनके लिए कुछ करें या नहीं, लेकिन वे उनके बारे में बात कर रहे हैं।’’ (भाषा)