अंतरराष्ट्रीय
बीजिंग, 15 अप्रैल । चौथा चीन अंतर्राष्ट्रीय उपभोग वस्तु एक्सपो (हाईनान एक्सपो) जारी है। वर्तमान एक्सपो में भाग लेने वाले देशों और ब्रांडों की संख्या दोनों इतिहास का नया रिकॉर्ड है। ब्रिटिश राष्ट्रीय मंडप पहली बार हाईनान एक्सपो में सामने आया।
14 ब्रांड अपने उत्पादों को लेकर एक्सपो में हिस्सा ले रहे हैं। ब्रिटिश उद्यम चीन के बाजार की निहित शक्ति पर विश्वास करते हैं। उन्हें आशा है कि एक्सपो के ज़रिए चीनी कंपनियों के साथ ज्यादा सहयोग किया जाएगा और उपभोक्ता रुझान समझेंगे।
एक्सपो के नंबर चार हॉल में जापान व कनाडा आदि देशों व हांगकांग और मकाओ आदि क्षेत्रों के मंडप स्थित हैं। उनमें अधिकांश उद्यमों ने कई बार हाईनान एक्सपो में भाग लिया है। वहीं, मलेशिया और मंगोलिया पहली बार सामूहिक रूप से एक्सपो में मौजूद हैं।
अधिक उपभोक्ताओं और साझेदारों का ध्यान आकर्षित करने के लिए मलेशिया और मंगोलिया के उद्यम विशेष और श्रेष्ठ उत्पाद प्रदर्शित कर रहे हैं। मलेशिया के चप्पल, बिस्कुट और क्यूबिलोज़ ने दर्शकों का ध्यान आकर्षित किआ। वहीं, मंगोलिया के उत्पादों की बिक्री दोगुनी हो गयी है। (आईएएनएस)
बीजिंग, 15 अप्रैल। हाल ही में एंटीगुआ और बारबुडा के प्रधानमंत्री गैस्टन ब्राउन ने पेइचिंग में सीएमजी के संवाददाता के साथ एक विशेष साक्षात्कार किया। प्रधानमंत्री ब्राउन इस वर्ष चीन की यात्रा करने वाले किसी लैटिन अमेरिकी और कैरेबियाई देश के पहले नेता हैं।
उन्होंने व्यक्तिगत रूप से चीन में स्थित एंटीगुआ और बारबुडा दूतावास के आधिकारिक उद्घाटन की पुष्टि की। साक्षात्कार में ब्राउन ने कहा कि थाईवान चीन का एक प्रांत है और उन्होंने एक-चीन सिद्धांत के प्रति अपना समर्थन दोहराया।
चीन और एंटीगुआ और बारबुडा के बीच राजनयिक संबंधों की स्थापना के बाद 41 वर्षों में दोनों देशों के बीच सहयोग के सार्थक परिणाम प्राप्त हुए हैं। उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि तथाकथित "ऋण जाल" वाली टिप्पणी चीन के खिलाफ निंदनीय है। साल में 365 दिन होते हैं, और एंटीगुआ और बारबुडा में बिल्कुल 365 खूबसूरत समुद्र तट हैं।
प्रधानमंत्री ब्राउन ने कैरेबियाई द्वीप शैली का अनुभव करने के लिए चीनी पर्यटकों का गर्मजोशी से स्वागत किया। गौरतलब है कि वर्ष 2018 में, चीन और एंटीगुआ और बारबुडा ने संयुक्त रूप से "बेल्ट एंड रोड" के सह-निर्माण में सहयोग पर एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए। यह एंटीगुआ और बारबुडा को चीन के साथ इस समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर करने वाला पूर्वी कैरेबियाई क्षेत्र का पहला देश बनाता है। दोनों पक्षों के बीच सहयोग से दोनों देशों के लोगों को ठोस लाभ हुआ है। (आईएएनएस)
इस्लामाबाद, 15 अप्रैल। पाकिस्तान के पूर्वी पंजाब प्रांत के चकवाल जिले में एक सड़क दुर्घटना में कम से कम दो लोगों की मौत हो गई और 50 से अधिक घायल हो गए। हाईवे पुलिस ने सोमवार को यह जानकारी दी।
समाचार एजेंसी सिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, हाईवे पेट्रोलिंग पुलिस ने बताया कि रविवार देर रात जिले के कल्लार कहार क्षेत्र के पास सर कलां इलाके में एक बस गहरी खाई में गिर गई।
पुलिस और बचाव दल घटनास्थल पर पहुंचे और मृतकों तथा घायलों को नजदीकी अस्पताल में पहुंचाया।
चकवाल के डिप्टी कमिश्नर कुरतुलैन मलिक ने मीडिया को बताया कि मरने वालों की संख्या बढ़ सकती है क्योंकि घायलों में से पांच की हालत गंभीर है।
पुलिस के अनुसार, दुर्घटना तेज गति के कारण तब हुई जब चालक ने वाहन पर से नियंत्रण खो दिया, जिससे वाहन सड़क के किनारे गहरी खाई में जा गिरा।
(आईएएनएस)
सिडनी, 15 अप्रैल । ऑस्ट्रेलिया के सिडनी में फिर से एक बार एक घटना ने सनसनी फैला दी है। यहां एक सामूहिक प्रार्थना के दौरान असीरियन पादरी को कैमरे पर चाकू मार दिया गया। इस घटना का वीडियो तेजी से सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।
अभी हाल ही में सिडनी के बॉन्डी जंक्शन के एक मॉल में एक चाकूबाज द्वारा छह लोगों की हत्या करने का मामला सामने आया था। इसके बाद यह घटना घटी है।
बता दें कि मीडिया से जो खबरें मिल रही है उसकी मानें तो सिडनी में एक प्रार्थना सभा के दौरान बिशप मार मारी इमैनुएल पर एक संदिग्ध ने हमला किया और उन पर चाकू से लगातार कई बार वार कर दिया। घटना सोमवार रात करीब 7 बजे वेकले के क्राइस्ट द गुड शेफर्ड चर्च में एक लाइव स्ट्रीम के दौरान हुआ।
घटना का जो वीडियो वायरल हो रहा है, उसमें बिशप इमैनुएल को लोगों से बात करते देखा जा सकता है, इसी बीच एक आदमी उनके पास आता है और उन पर कई बार चाकू से वार करता है। इसके बाद पर्शियन लोग उसे बचाने के लिए दौड़ पड़ते हैं।
बिशप मार मारी इमैनुएल ईसाई रूढ़िवादी, सीओवीआईडी आदेशों, लॉकडाउन, फ्रीमेसन और फिलिस्तीन के खिलाफ इजरायली आक्रामकता का विरोध करने के लिए प्रसिद्ध हैं।
(आईएएनएस)
नैरोबी, 15 अप्रैल तंजानिया में बाढ़ के कारण पिछले दो सप्ताह में कम से कम 58 लोगों की मौत हो गयी । इस पूर्वी अफ्रीकी देश में जबरदस्त बारिश जारी है । सरकार ने इसकी जानकारी दी ।
सरकार ने बताया कि तटीय इलाकों में बारिश से सबसे अधिक कहर ढाया और करीब 126,831 लोग प्रभावित हुये हैं ।
सरकारी प्रवक्ता मोभारे मतिन्यी ने बताया कि प्रभावित लोगों के लिए रविवार को भोजन समेत अन्य आवश्यक वस्तुओं का वितरण किया गया ।
उन्होंने बताया कि तंजानिया की योजना भविष्य से बाढ़ से बचने के लिये 14 बांध बनाने की है ।
पूर्वी अफ्रीका के कुछ हिस्सों में लोगों को भारी बारिश और बाढ़ की समस्या का सामना करना पड़ रहा है । केन्या में बाढ़ के कारण अब तक 13 लोगों की मौत हो चुकी है । अवसंरचना को भी गहरा नुकसान हुआ है । (एपी)
इस्लामाबाद, 15 अप्रैल । पाकिस्तान के प्रधान मंत्री शहबाज शरीफ और सऊदी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान के बीच हुए हाल ही में रियाद में हुए समझौतों को मूर्त रूप देने के लिए सऊदी का एक उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल सोमवार को इस्लामाबाद पहुंचेगा।
पाकिस्तान के विदेश कार्यालय ने यात्रा की पुष्टि करते हुए कहा कि उच्च स्तरीय सऊदी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व वहां के विदेश मंत्री प्रिंस फैसल बिन फरहान बिन अब्दुल्ला करेंगे। उनके साथ व्यापारियों व अन्य लोगों की एक टीम होगी।
सऊदी प्रतिनिधिमंडल में उद्योग और खनिज संसाधन मंत्री बंदर इब्राहिम अलखोरायफ, जल और कृषि मंत्री अब्दुल रहमान अब्दुल मोहसिन अल-फदले, निवेश उप मंत्री बद्र अल-बद्र, सऊदी विशेष समिति के प्रमुख मोहम्मद माजिद अल तोवैजरी और अन्य गण्यमान्य लोग शामिल होंगे।
यह प्रतिनिधिमंडल 15 और 16 अप्रैल को इस्लामाबाद में रहेगा। इसका उद्देश्य मक्का में हाल की बैठक के दौरान पाकिस्तान के प्रधान मंत्री शहबाज़ शरीफ और क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान के बीच हुए समझौतों को आगे बढ़ाना है।
सूत्रों ने बताया कि सऊदी प्रतिनिधिमंडल की पाकिस्तान के विभिन्न मंत्रालयों की प्रमुख हस्तियों के साथ बैठकें होंगी। इसमें राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी, प्रधान मंत्री शहबाज शरीफ, विदेश मंत्री इशाक डार, सेनाध्यक्ष (सीओएएस) जनरल सैयद असीम मुनीर आदि के साथ बैठक शामिल है।
गौरतलब है कि पीएम शहबाज और मुहम्मद बिन सलमान के बीच हुए समझौते में पाकिस्तान में पांच बिलियन डॉलर सऊदी निवेश की सहमति बनी थी।
पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस और इस्लामाबाद अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के अलावा, इस्लामाबाद ग्वादर परियोजना और रेको दिक में भी सऊदी अरब द्वारा एक बड़े निवेश की उम्मीद कर रहा है।
सऊदी प्रतिनिधिमंडल कृषि, ऊर्जा, निजीकरण और अन्य क्षेत्रों में व्यापार के अवसरों का भी पता लगाएगा।
(आईएएनएस)
जकार्ता, 15 अप्रैल। इंडोनेशिया के सुलावेसी द्वीप पर मूसलाधार बारिश के कारण हुए भूस्खलन से कम से कम 14 लोगों की मौत हो गई और एक अन्य लापता है। एक अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी।
राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन एजेंसी के प्रवक्ता अब्दुल मुहरी ने कहा कि दक्षिण सुलावेसी प्रांत के ताना तोराजा जिले में चार घर भूस्खलन में दब गए।
शनिवार की आधी रात से लगातार हुई भारी बारिश ने क्षेत्र में भारी तबाही मचाई। मुहारी ने कहा कि बचावकर्मी अभी भी पहाड़ी दक्षिण मकाले गांव में एक लापता ग्रामीण की तलाश कर रहे हैं।
हालांकि, बिजली की कमी, क्षेत्र में लगातार हो रही भारी बारिश और भूस्खलन के कारण ताना तोराजा के ऊंचे इलाकों में सड़कें अवरुद्ध होने से बचाव कार्य में बाधा आ रही है।
(डीपीए/आईएएनएस)
ब्रुसेल्स/रोम, 15 अप्रैल । यूरोपीय संघ (ईयू) और ग्रुप ऑफ सेवन (जी7) के नेताओं ने इजराइल पर ईरान के जवाबी हमलों के बाद मध्य पूर्व में स्थिति को और तनावपूर्ण होने से रोकने का आह्वान किया है।
यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष चार्ल्स मिशेल ने रविवार को सोशल मीडिया पर कहा," क्षेत्र में तनाव बढ़ने से रोकने के लिए सब कुछ किया जाना चाहिए। रक्तपात से बचा जाना चाहिए। हम अपने सहयोगियों के साथ स्थिति पर नजर रख रहेे हैं।"
यूरोपीय आयोग के अध्यक्ष उर्सुला वॉन डेर लेयेन ने सोशल मीडिया पर कहा, "सभी पक्षों को क्षेेत्र में तनाव बढ़ानेे से बचना चाहिए और स्थिरता बहाल करने के लिए काम करना चाहिए।"
यूरोपीय संघ के विदेश मामलों और सुरक्षा नीति के उच्च प्रतिनिधि जोसेप बोरेल ने सोशल मीडिया पर सभी पक्षों से संयम बरतने का आग्रह किया।
बोरेल ने कहा कि उन्होंने क्षेत्र में तनाव कम करने के लिए 16 अप्रैल को यूरोपीय संघ के विदेश मामलों के मंत्रियों की एक असाधारण बैठक बुलाई है।
समाचार एजेंसी शिन्हुआ की रिपोर्ट के अनुसार, रविवार को एक बैठक में जी7 के नेताओं ने सभी पक्षों से तनाव कम करने और संयम बरतने का आह्वान किया।
जी7 के नेताओं ने हमास द्वारा इजराइली बंधकों को रिहा करने व गाजा संघर्ष को समाप्त करने की भी बात कही।
ईरानी विदेश मंत्री होसैन अमीर-अब्दुल्लाहियन ने रविवार को कहा कि ईरान अब इज़राइल के खिलाफ जवाबी सैन्य कार्रवाई नहीं करेगा।
(आईएएनएस)
तेल अवीव, 15 अप्रैल । अपनी धरती पर ईरानी हमले को विफल करने के बाद, इजराइली सरकार चाहती है कि दुनिया ईरान के रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (आईआरजीसी) को एक आतंकवादी संगठन करार दे।
विदेश मंत्रालय के सूत्रों के मुताबिक, इजराइल के विदेश मंत्री इजराइल काट्ज ने अपने ब्रिटिश और फ्रांसीसी समकक्षों से इस बारे में बात की है।
इज़राइल ने आईआरजीसी पर कई आरोप लगाए हैं। आरोप है कि वह हमास, हिजबुल्लाह और हौथियों के हमलों में शामिल रहा है।
इजराइली प्रधानमंत्री कार्यालय के सूत्रों के मुताबिक, युद्ध कैबिनेट की बैठक में ईरान के खिलाफ जवाबी हमले को अंतिम रूप दिया गया है। लेकिन हमले के समय को अंतिम रूप नहीं दिया गया है।
इज़राइल ईरान के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय समुदाय का समर्थन जुटाना चाहता है।
इजराइल की खुफिया एजेंसी मोसाद के एक पूर्व मेजर जनरल ने आईएएनएस से बात करते हुए कहा कि ईरान पूरी ताकत से इजराइल पर हमला नहीं करेगा। रविवार को किया गया हमला, सिर्फ अपने लोगोें को यह समझाने के लिए था कि वह हमला कर सकता है।
उन्होंने कहा कि इजराइल ईरान की क्षमताओं को जानता है। अगर उसने इजराइल पर घातक हमला करने की कोशिश की, तो उसका गंभीर परिणाम हो सकता है। उन्होंने कहा कि ईरान यह जानता है।
हिब्रू और अरबी मीडिया ने बताया है कि इज़राइल जवाबी कार्रवाई की तैयारी कर रहा है और समय व तरीका अभी स्पष्ट नहीं है।
(आईएएनएस)
फ्रेंच-कनाडाई वैज्ञानिक मिषेल साडेलेन को कैंसर से लड़ने वाली जीन संवर्धित प्रतिरक्षी कोशिकाओं पर रिसर्च के लिए इस साल का "ऑस्कर्स ऑफ साइंस" पुरस्कार दिया गया है.
शनिवार को लॉस एंजेलेस में पुरस्कार देने के लिए हुए भव्य समारोह में इलॉन मस्क, बिल गेट्स, जेसिका चास्टेन और ब्रैडली कूपर समेत कई मशहूर हस्तियां मौजूद थीं. मिषेल साडेलेन के रिसर्च ने एक नई तरह की थेरेपी का विकास संभव किया जिसे सीएआर-टी कहा जाता है. ब्लड कैंसर के कुछ प्रकारों के इलाज में यह असाधारण रूप से कारगर है. ऑस्कर्स म्यूजियम में रेड कार्पेट पर साडेलेन ने समाचार एजेंसी एएफपी से कहा, "यह पुरस्कार एक असाधारण मान्यता है, यह सम्मान से कहीं ज्यादा है... क्योंकि मेरे वैज्ञानिक साथियों ने बहुत पहले मुझसे कहा था कि यह काम नहीं करेगा."
ऑस्कर्स ऑफ साइंस
2010 में शुरू हुआ ब्रेकथ्रू प्राइज दुनिया के "बेहद प्रतिभाशाली दिमागों" को हर साल जीवविज्ञान, भौतिकी और गणित के क्षेत्र में दिया जाता है. यह पुरस्कार खुद को सिलिकन वैली की ओर से 'नोबेल' के जवाब की तरह दिखाता है. इसे "ऑस्कर्स ऑफ साइंस" कहा जाता है. इसके शुरुआती प्रायोजकों में सर्गेइ ब्रिन, प्रिसिला चान और मार्क जकरबर्ग भी शामिल हैं.
30 लाख अमेरिकी डॉलर की पुरस्कार राशि को साडेलेन अमेरिकी प्रतिरक्षाविज्ञानी कार्ल जून के साथ बांटेंगे, जिन्होंने स्वतंत्र रूप से इस क्षेत्र में रिसर्च किया है.
साडेलेन ने यह भी कहा, "सबसे बड़ी खुशी हालांकि मरीजों को देख कर होती है...जिनके पास अब मौका नहीं बचा था और जो हमारा आभार जताते हैं, वे आज सीएआर-टी की वजह से जीवित हैं. साडेलेन ने पेरिस में मेडिसिन की पढ़ाई की, उसके बाद इम्यूनोलॉजी की पढ़ाई करने कनाडा गए. इसके बाद उन्होंने 1989 में मेसाचुसेट्स इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी से पोस्टडॉक्टरोरल रिसर्च की.
सीएआर-टी कोशिका
उस वक्त प्रतिरक्षा तंत्र को कैंसर कोशिकाओं की पहचान और उन्हें खत्म करने के लिए सक्षम बनाने वाली वैक्सीनों के विकास पर बहुत जोर था. शरीर जिस तरह बैक्टीरिया और वायरस जैसे बाहरी तत्वों से लड़ना सीख जाता है, उसी तरह से इसके लिए भी उसे तैयार करने की कोशिश की जा रही थी. न्यूयॉर्क के मेमोरियल स्लोन केटरिंग कैंसर सेंटर में आने के बाद साडेलेन ने एक निष्क्रिय वायरस को जेनेटिकली रिप्रोग्राम ह्यूमन टी-सेल के रूप में इस्तेमाल करने का एक तरीका विकसित किया. इसके जरिए वह पंजे जैसी रचनाएं विकसित करने में सफल हुए जिन्हें एंटीजेन रिसेप्टर कहा गया. इसके जरिए टी-कोशिकाएं खास कैंसर कोशिकाओं को निशाना बनाती हैं.
कैंसर की पहचान करने के अलावा शिमेरिक एंटीजन रिसेप्टर यानी सीएआर-टी कोशिकाओं को मारक अवस्था में जाने और मल्टीप्लाई करने के भी जेनेटिक इंसट्रक्शन दिए जाते हैं. इसका मतलब है कि शरीर के भीतर बाहरी शत्रु से लड़ने के लिए एक पूरी सेना तैयार हो जाती है. शिमेरिक एंटीजन रिसेप्टर को यह नाम साडेलेन ने ही दिया था. साडेलेन और जून के जमीनी स्तर पर काम की वजह से ही आधे दर्जन सीएआर-टी सेल थेरेपी को अमेरिका ने मंजूरी दे दी है. इसके अलावा सैकड़ों और थेरेपियों के लिए परीक्षण चल रहे हैं.
कैंसर का इलाज
इस इलाज में मरीजों के अपने टी-सेल्स जमा किये जाते हैं फिर उन्हें शरीर के बाहर जीन संवर्धित किया जाता है और फिर खून में वापस डाल दिया जाता है. इन्हें "लिविंग ड्रग्स " कहा जाता है. इस इलाज ने लिम्फोमा, ल्यूकेमिया के कुछ प्रकार और बेहद गंभीर और जटिल माइलोमा पर अपनी सफलता साबित की है. साडेलेन को उम्मीद है कि रिसर्चों के जरिए दूसरे कैंसरों के इलाज में भी इस का उपयोग हो सकेगा. एक बड़ी चुनौती इलाज के खर्च को घटाने की है. फिलहाल यह खर्च करीब 5 लाख अमेरिकी डॉलर है जो आमतौर पर इंश्योरेंस कंपनियां उठाती हैं.
शनिवार को ब्रेकथ्रू प्राइज में अलग-अलग वर्गों क्षेत्रों के करीब 20 और लोगों को सम्मानित किया गया.
एनआर/आरएस (एएफपी)
(ललित के झा)
वाशिंगटन, 15 अप्रैल। अमेरिका ने इजराइल पर ईरान द्वारा छोड़े गए 80 से अधिक ड्रोन और कम से कम छह बैलिस्टिक मिसाइलों को मार गिराया। पेंटागन ने रविवार को यह जानकारी दी।
अमेरिकी सेंट्रल कमांड ने बताया कि इसमें एक बैलिस्टिक मिसाइल और यमन के हूती नियंत्रित इलाकों में नष्ट किए गए सात मानवरहित यान या ड्रोन शामिल हैं जिन्हें छोड़ने से पहले ही नष्ट कर दिया गया।
ईरान ने इजराइल पर 300 से अधिक ड्रोन और मिसाइलें दागीं जिसे तेहरान ने सीरिया में ईरान के दूतावास पर एक अप्रैल को किए उसके हमले की प्रतिक्रिया बताया है।
ईरान के लगभग सभी ड्रोन और मिसाइलों को इजराइली, अमेरिकी और सहयोगी सेनाओं ने लक्ष्य तक पहुंचने से पहले हवा में ही मार गिराया।
एक प्रेस विज्ञप्ति में बताया गया है कि शनिवार और रविवार सुबह अमेरिकी सेंट्रल कमांड ने 80 ड्रोन और कम से कम छह बैलिस्टिक मिसाइलें मार गिरायीं जो ईरान तथा यमन की ओर से इजराइल की ओर छोड़ी गयी थीं।
इसमें कहा गया है, ‘‘ईरान का निरंतर अभूतपूर्व, दुर्भावनापूर्ण और लापरवाह बर्ताव क्षेत्रीय स्थिरता और अमेरिका एवं उसके गठबंधन बलों की सुरक्षा को खतरे में डालता है। अमेरिकी सेंट्रल कमांड ईरान के इन खतरनाक कृत्यों के खिलाफ इजराइल की रक्षा में मदद करने के लिए प्रतिबद्ध है। हम क्षेत्रीय सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए अपने सभी क्षेत्रीय साझेदारों के साथ मिलकर काम करते रहेंगे।’’
जी-7 देशों के नेताओं ने इजराइल के खिलाफ ईरान के सीधे और अप्रत्याशित हमलों की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए रविवार को कहा कि इस घटनाक्रम के कारण क्षेत्र में अनियंत्रित तनाव बढ़ने का खतरा है।
इजराइल ने इस हमले को संयुक्त राष्ट्र चार्टर और अंतरराष्ट्रीय कानून का ‘‘स्पष्ट उल्लंघन’’ बताया और ईरान पर क्षेत्रीय अस्थिरता को बढ़ावा देने का आरोप लगाया।
वहीं, ईरान ने कहा कि उसने संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुच्छेद 51 के तहत आत्मरक्षा के अधिकार का प्रयोग करते हुए यह अभियान शुरू किया। (भाषा)
इस्लामाबाद, 15 अप्रैल। अफगानिस्तान में भारी बारिश के कारण अचानक आयी बाढ़ के कारण तीन दिन में कम से कम 33 लोगों की मौत हो गयी और 27 अन्य घायल हो गए हैं।
प्राकृतिक आपदा प्रबंधन मंत्रालय के लिए तालिबान के प्रवक्ता अब्दुल्ला जनान सैक ने रविवार को बताया कि राजधानी काबुल और कई प्रांतों में अचानक बाढ़ आ गयी है।
उन्होंने बताया कि बाढ़ के कारण 600 से अधिक मकान नष्ट या क्षतिग्रस्त हो गए हैं जबकि करीब 200 मवेशियों की मौत हो गयी है।
सैक ने बताया कि बाढ़ से 800 हेक्टेयर कृषि भूमि भी नष्ट हो गयी है और 85 किलोमीटर से अधिक की सड़कें क्षतिग्रस्त हो गयी हैं।
उन्होंने बताया कि बाढ़ के कारण पश्चिमी फराह, हेरात, दक्षिणी जाबुल और कंधार प्रांतों में सबसे अधिक नुकसान पहुंचा है।
मौसम विभाग ने अफगानिस्तान के 34 प्रांतों में से अधिकांश में आने वाले दिनों में और बारिश का अनुमान जताया है। (एपी)
इस्लामाबाद, 14 अप्रैल। बलूच उग्रवादियों ने पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में अलग-अलग हमलों में 11 लोगों की हत्या की जिम्मेदारी ली है। मीडिया की एक खबर से यह जानकारी मिली।
पंजाब प्रांत के रहने वाले नौ युवकों को शनिवार को बलूचिस्तान प्रांत के नोशकी इलाके में बंदूकधारियों ने एक बस से जबरन उतार दिया और उनकी पंजाबी जातीयता की पुष्टि करने के बाद उन्हें अगवा कर लिया। बाद में बंदूकधारियों ने उनकी हत्या कर दी और उनके शवों को पास के एक पुल के नीचे फेंक दिया।
एक अलग घटना में, उसी राजमार्ग पर दो लोगों की मौत हो गई जब बंदूकधारियों ने उनकी कार पर गोलीबारी की।
‘डॉन’ अखबार की खबर के अनुसार, प्रतिबंधित बलूचिस्तान लिबरेशन आर्मी ने हत्याओं की जिम्मेदारी ली है। खबर के मुताबिक, पंजाब के नौ लोग ईरान जा रहे थे, जहां से वे तुर्किये के रास्ते यूरोप में प्रवेश करने वाले थे।
सरकार ने उग्रवादियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने की बात कही है।
बलूच राष्ट्रवादी अक्सर पंजाब के लोगों के खिलाफ हिंसा की ऐसी वारदातों को अंजाम देते रहते हैं। उनका आरोप है कि बलूचिस्तान की खनिज संपदा का दोहन करने में पंजाब के लोग शामिल हैं। (भाषा)
ऑस्ट्रेलियाई पुलिस का कहना है कि ऐसा लग रहा है कि सिडनी के मॉल में चाकू से हमला करने वाले व्यक्ति के निशाने पर महिलाएं थीं.
40 वर्षीय जोएल कॉची ने शनिवार को भीड़भाड़ वाले वेस्टफ़ील्ड बोंडी जंक्शन कॉम्प्लेक्स में चाकू से हमला किया था.
इस हमले में मारे जाने वाले छह लोगों में से पांच महिलाएं हैं. एक बच्ची समेत कई लोग इस हमले में घायल हुए हैं.
न्यू साउथ वेल्स के पुलिस कमिश्नर ने ऑस्ट्रेलियाई प्रसारक एबीसी न्यूज़ से कहा है कि ‘ज़ाहिर तौर पर कॉची ने महिलाओं को निशाना बनाया.’
इस हमले में 30 वर्षीय सुरक्षा गार्ड फ़राज़ ताहिर की भी मौत हो गई थी. फ़राज़ ताहिर ने हमलावर को रोकने की कोशिश की थी.
फ़राज़ ताहिर एक शरणार्थी थे और उन्हें ऑस्ट्रेलिया आए हुए लंबा समय नहीं हुआ था.
फ़राज़ ताहिर इस हमले में मारे गए एकमात्र पुरुष हैं.
पुलिस कमिश्नर ने कहा, “वीडियो में सबकुछ स्पष्ट है. मैं भी ये देख पा रहा हूं, जांचकर्ता भी ये देख पा रहे हैं कि हमलावर ने महिलाओं को निशाना बनाया और पुरुषों को छोड़ दिया.”
अधिकारियों ने हमले के बाद कहा था कि इस हमले की वजह हमलावर की मानसिक सेहत भी हो सकती है. (bbc.com/hindi)
ईरान ने शनिवार-रविवार की दरम्यानी रात अपने धुर विरोधी देश इसराइल पर हमला किया.
इसराइली सेना ने रविवार को बताया कि ईरान ने 300 से अधिक ड्रोन और मिसाइलें इसराइल पर दाग़ीं.
ईरान ने इसराइल पर पहली बार सीधा हमला किया है.
ईरान ने कहा कि इस हमले ने 'उसके सभी उद्देश्यों' को पूरा किया है और ये हमला एक अप्रैल को सीरिया की राजधानी दमिश्क में उसके वाणिज्य दूतावास पर हमले की प्रतिक्रिया है. इसराइल ने न तो इस हमले की पुष्टि की और न ही इससे इनकार किया था.
इसराइल ने अपनी टिप्पणी में कहा था कि वो विदेशी मीडिया रिपोर्ट्स पर टिप्पणी नहीं करते हैं. हालांकि इसराइल ने सीरिया पर हाल के वर्षों में टार्गेटेड हमले करने की बात स्वीकार की थी.
इसराइल के रक्षा मंत्री योआव गैलांट ने कहा है कि इसराइल के सुरक्षा क्षेत्र के लिए वरिष्ठ अधिकारियों के साथ पूरी स्थिति का आकलन कर लिया गया है.
योआव गैलांट ने कहा, ‘’अमेरिका और बाकी सहयोगियों के साथ मिलकर हम इसराइल के क्षेत्र को सुरक्षित रखने में कामयाब रहे हैं. बेहद ही मामूली नुकसान हुआ है.’’
इसराइल ने कहा कि वो सही समय पर ईरान से 'इसकी क़ीमत' वसूलेगा.
इसराइल के वॉर कैबिनेट मंत्री बेनी गांट्ज़ ने कैबिनेट की बैठक शुरू होने से पहले कहा कि हम क्षेत्रीय स्तर पर एक गठजोड़ बनाएंगे और ईरान से अपने हिसाब से उपयुक्त समय पर इस हमले की क़ीमत वसूलेंगे.
अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन का कहना है कि उन्हें विश्वास है कि इसराइल पर ईरान का हमला एक व्यापक युद्ध की शक्ल नहीं लेगा.
ईरान के विदेश मंत्री हुसैन अमीर-अब्दुल्लाह्यान कहा कि ईरान ने अपने पड़ोसियों और सहयोगियों को इसराइल पर हमले के बारे में पहले ही जानकारी दे दी थी.
उन्होंने कहा, "हमारे ऑपरेशन से क़रीब 72 घंटे पहले हमने अपने दोस्तों और इस क्षेत्र के पड़ोसियों को जानकारी दी थी कि ईरान की इसराइल के ख़िलाफ़ कार्रवाई निश्चित, अटल और वैध है."
भारत की प्रतिक्रिया
पश्चिमी एशिया की स्थिति पर भारत के विदेश मंत्रालय की ओर से प्रतिक्रिया जारी की गई है.
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने पश्चिमी एशिया की स्थिति पर चिंता ज़ाहिर की है.
जारी बयान में कहा गया, ''इसराइल और ईरान के बीच तनाव की वजह से इस क्षेत्र की शांति और सुरक्षा को खतरा है और हम इस बात को लेकर बेहद चिंतित हैं.''
''हम हिंसा से पीछे हटने और कूटनीति के ज़रिए समाधान निकालने की वकालत करते हैं.'' (bbc.com/hindi)
अमेरिका ने इसराइल को चेताया है कि अगर वह ईरान पर जवाबी कार्रवाई करेगा तो अमेरिका उसमें साथ नहीं देगा.
व्हाइट हाउस के वरिष्ठ अधिकारियों ने ये जानकारी दी है.
शनिवार देर शाम ईरान ने इसराइल पर 300 से अधिक ड्रोन और मिसाइलें दाग़ी थीं.
ईरान का कहना है कि यह हमला 1 अप्रैल को सीरिया में ईरान के दूतावास पर इसराइल के हमले के जवाब में किया गया था.
ईरान की तरफ़ से दाग़े गए लगभग सभी हमलावर ड्रोन और मिसाइलों को इसराइल ने अपने सहयोगियों अमेरिका और ब्रिटेन के साथ मिलकर हवा में ही मार गिराया था.
अमेरिकी अधिकारियों के मुताबिक़ इस हमले के बाद इसराइली प्रधानमंत्री नेतन्याहू से बात करते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने कहा है कि इसराइल को अपनी प्रतिक्रिया में संयम से काम लेना चाहिए.
अमेरिकी अधिकारियों के मुताबिक़, राष्ट्रपति जो बाइडन ने नेतन्याहू से कहा है कि उन्हें ‘बहुत ध्यानपूर्वक और रणनीतिक तरीक़े से सोचना चाहिए.’
ये इसराइल पर अभी तक ईरान का पहला सीधा हमला था.
अमेरिका ने इसराइल पर हुए हमले के दौरान ईरान की तरफ़ से दाग़े गए क़रीब 80 ड्रोन और कम से कम छह बैलिस्टिक मिसाइलों को मार गिराने का दावा किया है.
ओटावा, 14 अप्रैल । कनाडा के वैंकूवर के सनसेट इलाके में 24 साल के एक भारतीय छात्र की उसकी कार में गोली मारकर हत्या कर दी गई। पुलिस ने रविवार को यह जानकारी दी।
वैंकूवर पुलिस ने एक बयान में कहा, 24 वर्षीय चिराग एंटिल को इलाके में एक वाहन के अंदर मृत पाया गया।
सीबीसी न्यूज ने पुलिस प्रवक्ता तानिया विसिंटिन के हवाले से बताया कि गोलियों की आवाज सुनने के बाद, पड़ोस के लोगों ने आपातकालीन सेवा को बुलाया।
वैंकूवर पुलिस ने कहा, "लोगों द्वारा गोलियों की आवाज सुनने के बाद अधिकारियों को ईस्ट 55वें एवेन्यू और मेन स्ट्रीट पर बुलाया गया। 24 वर्षीय चिराग एंटिल को इलाके में एक वाहन के अंदर मृत पाया गया।"
पुलिस ने कहा कि मामले में कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है और जांच जारी है।
कांग्रेस एनएसयूआई प्रमुख वरुण चौधरी ने विदेश मंत्रालय को टैग करते हुए छात्र के परिवार को सहायता देने का अनुरोध किया।
उन्होंने पोस्ट किया: "कनाडा के वैंकूवर में एक भारतीय छात्र चिराग एंटिल की हत्या के संबंध में तत्काल ध्यान दें। हम विदेश मंत्रालय से जांच की प्रगति की बारीकी से निगरानी करने का आग्रह करते हैं ताकि न्याय तेजी से मिले।"
उन्होंने मंत्रालय से इस कठिन समय के दौरान मृतक के परिवार को सभी आवश्यक सहायता मुहैया कराने का भी अनुरोध किया।
स्थानीय मीडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, चिराग के शव को वापस लाने के लिए उनका परिवार क्राउडफंडिंग के जरिए पैसे जुटा रहा है।
हरियाणा के रहने वाले चिराग के भाई रोमित एंटिल ने स्थानीय मीडिया को बताया कि वह हर दिन अपने भाई-बहन से बात करते थे।
रोमित ने कहा कि जिस दिन हादसा हुआ उस दिन उन्होंने चिराग से बात भी की थी।
सितंबर 2022 में वैंकूवर चले गए चिराग ने यूनिवर्सिटी कनाडा वेस्ट से एमबीए पूरा किया और हाल ही में उन्हें अपना वर्क परमिट मिला था।
(आईएएनएस)
वाशिंगटन, 14 अप्रैल अमेरिका, कनाडा, संयुक्त राष्ट्र, जर्मनी आदि देशों ने इजराइल पर ईरान के हवाई हमले की निंदा की है।
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने यहूदी राष्ट्र इजराइल के प्रति अमेरिका की ‘दृढ़ प्रतिबद्धता’ दोहरायी और हालात पर विचार विमर्श तथा आगे की कार्रवाई के लिए जी-7 देशों के नेताओं की एक बैठक बुलाने की बात कही।
इजराइली सेना ने रविवार को कहा कि शनिवार देर रात ईरान ने हमला किया और उस पर सैंकड़ों ड्रोन, बैलेस्टिक मिसाइल तथा क्रूज मिसाइल दागीं। एक सैन्य प्रवक्ता ने कहा कि 300 से अधिक ड्रोन और मिसाइल दागी गईं जिनमें से 99 प्रतिशत को हवा में ही नष्ट कर दिया गया।
बाइडन ने कहा, ‘‘हमने लगभग सभी ड्रोन और मिसाइल को मार गिराने में इजराइल की मदद की।’’
बाइडन ने इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से शनिवार को फोन पर बात की। उन्होंने कहा, ‘‘ईरान तथा यमन, सीरिया एवं इराक के उसके हमदर्दों ने आज इजराइल में सैन्य प्रतिष्ठानों को निशाना बनाते हुए अप्रत्याशित हमला किया। मैं इन हमलों की कड़े शब्दों में निंदा करता हूं।’’
ईरान के ‘इस्लामिक रेवोल्यूशन गार्ड कॉर्प्स’ (आईआरजीसी) ने कहा कि हमला ‘‘खास ठिकानों’’ को निशाना बनाकर किया गया था।
सीरिया में एक अप्रैल को हवाई हमले में ईरानी वाणिज्य दूतावास में एक शीर्ष कमांडर सहित आईआरजीसी के सात अधिकारियों के मारे जाने के बाद ईरान ने बदला लेने का प्रण लिया था। ईरान ने इस हमले के पीछे इजराइल का हाथ होने का आरोप लगाया था। हालांकि इजराइल ने इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी थी।
नेतन्याहू ने ईरानी हमले के बाद कैबिनेट की बैठक बुलाई और बाद में अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन से बात की। नेतन्याहू ने कहा कि बाइडन ने ‘‘इजराइल की सुरक्षा के प्रति अमेरिका की प्रतिबद्धता’’ दोहराई है।
बाइडन ने कहा कि इजराइल की मदद करने के उनके निर्देश पर अमेरिकी सेना ने पिछले सप्ताह क्षेत्र में विमान और बैलेस्टिक मिसाइल रक्षा विध्वंसक भेजे थे।
उन्होंने कहा, ‘‘मेरी टीम पूरे क्षेत्र में अपने समकक्षों के साथ बातचीत करेगी और हम इजराइल के नेता के साथ संपर्क में रहेंगे। हालांकि हमने आज अपनी सेनाओं या प्रतिष्ठानों पर हमले नहीं देखे हैं, लेकिन हम सभी खतरों के प्रति सतर्क रहेंगे और हमारे लोगों की सुरक्षा के लिए सभी आवश्यक कार्रवाई करने में संकोच नहीं करेंगे।’’
विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि अमेरिका इजराइल पर ईरान के हमले की कड़े शब्दों में निंदा करता है। न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने हमले की निंदा की। उन्होंने कहा, ‘‘मैं इस शत्रुता को तत्काल समाप्त करने का आग्रह करता हूं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘क्षेत्र में विनाशकारी हमले से जुड़े वास्तविक खतरे को लेकर मैं बेहद चिंतित हूं। मैं सभी पक्षों से किसी भी ऐसी कार्रवाई से बचने के लिए अधिकतम संयम बरतने का आग्रह करता हूं जो पश्चिम एशिया में कई मोर्चों पर बड़े सैन्य टकराव का कारण बन सकता है।’’
संयुक्त राष्ट्र महासभा के डेनिस फ्रांसिस ने पश्चिम एशिया में हालत पर गहरी चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा, ‘‘ईरान ने दमिश्क में ईरानी दूतावास पर हाल के हमले के बाद इजराइल पर हमले को संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुच्छेद 51 के संदर्भ में अपनी कार्रवाई बताया है। ईरान के इस कदम ने पश्चिम एशिया में पहले से ही तनावपूर्ण और नाजुक शांति एवं सुरक्षा की स्थिति को और खराब कर दिया है।’’
कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने इजराइल के खिलाफ ईरान के हवाई हमलों की स्पष्ट रूप से निंदा की। उन्होंने कहा, ‘‘हम इजराइल के साथ हैं। हमास के सात अक्टूबर के हमले का समर्थन करने के बाद ईरानी शासन का यह कदम इस क्षेत्र को और अस्थिर कर देगा।’’
इस बीच अमेरिकी रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन ने कहा कि अमेरिकी सेना क्षेत्र में अपने सैनिकों और भागीदारों की रक्षा करने, इजराइल की रक्षा के लिए और अधिक सहायता प्रदान करने और क्षेत्रीय स्थिरता को बढ़ाने के लिए तत्पर है।
ऑस्टिन ने कहा कि वह स्थिति पर करीब से नजर रखना और अमेरिकी सहयोगियों और साझेदारों के साथ परामर्श करना जारी रखेंगे। उन्होंने इजराइल के रक्षा मंत्री योव गैलेंट से भी बात की और इजराइल की रक्षा के लिए अमेरिका का समर्थन दोहराया। (भाषा)
कराची, 14 अप्रैल ईरान के सीमावर्ती शहर ताफ्तान से रसायन लेकर पाकिस्तान जा रही एक मालगाड़ी बलूचिस्तान प्रांत में पटरी से उतर गई, जिससे दोनों देशों के बीच रेल परिचालन ठप हो गया।
यह हादसा शनिवार को बलूचिस्तान के तोजगी स्टेशन के पास हुआ।
पाकिस्तान रेलवे के प्रवक्ता आमिर बलूच ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘ताफ्तान से करीब 70 किलोमीटर दूर रेलगाड़ी पटरी से उतर गई और हम आतंकवादी हमले की आशंका से इनकार नहीं कर रहे हैं।’’
यह रेलगाड़ी ईरान से फॉस्फोरस और अन्य रसायन लेकर पाकिस्तान जा रही थी, घटना से रेल इंजन को काफी नुकसान हुआ।
इस घटना से पहले शुक्रवार रात प्रांत में नोशकी राजमार्ग पर आतंकवादियों ने पंजाब प्रांत के नौ मजदूरों का एक यात्री बस से अपहरण कर लिया था और उनकी हत्या कर दी थी।
मजदूरों को ले जाने और उनकी हत्या करने से पहले आतंकवादियों ने उनके राष्ट्रीय पहचान पत्र से उनकी पहचान की थी। आतंकवादियों ने एक निजी वाहन में सवार दो अन्य लोगों की भी गोली मारकर हत्या कर दी थी। (भाषा)
वाशिंगटन, 14 अप्रैल । अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से स्पष्ट कहा है कि वाशिंगटन ईरान के खिलाफ इजरायल के किसी भी जवाबी हमले का विरोध करेगा।
अमेरिकी समाचार पोर्टल एक्सिऑस ने व्हाइट हाउस के एक वरिष्ठ अधिकारी के हवाले से बताया कि बाइडेन ने ईरान के हमले को विफल करने के लिए इजरायल, अमेरिका तथा अन्य देशों के सम्मिलित प्रयासों की सराहना करते हुए नेतन्याहू से कहा, "आपकी जीत हुई है, जीत को स्वीकार कीजिये।"
समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने अधिकारी के हवाले से बताया कि जब बाइडेन ने नेतन्याहू से कहा कि अमेरिका ईरान के खिलाफ किसी भी आक्रमक ऑपरेशन में शामिल नहीं होगा और न ही ऐसे किसी ऑपरेशन का समर्थन करेगा, तो नेतन्याहू ने कहा कि वह उनकी बात समझ गये हैं।
पेंटागन के प्रेस सचिव पैट राइडर ने एक बयान में कहा कि शनिवार की रात अमेरिकी रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन ने अपने इजरायली समकक्ष योव गैलेंट के साथ दूसरी बार बात की। इस दौरान पेंटागन प्रमुख ने इजरायल की रक्षा के लिए वाशिंगटन के "लौह कवच" समर्थन को दोहराया।
एक्सिऑस की खबर में एक वरिष्ठ इजरायली अधिकारी के हवाले से कहा गया है, ऑस्टिन ने गैलेंट से कहा कि अमेरिका चाहता है कि ईरान के खिलाफ किसी भी प्रतिक्रियात्मक कार्रवाई से इजरायल पहले वाशिंगटन को सूचित करे।
(आईएएनएस)
जब आपको गुस्सा आए तो साथियों पर भड़कने या फिर तकिये में मुंह छिपा कर रोने की बजाय, उसे लिख डालिए और फिर उसे फाड़ कर फेंक दीजिए. यह तरीका आपका गुस्सा शांत करने में काफी असरदार है.
जापानी रिसर्चरों की एक टीम शोध करने के बाद इस नतीजे पर पहुंची है. भावनाओं को लिख कर उन्हें अपने से दूर धकेला या फिर अलग किया जा सकता है.
साइंटिफिक रिपोर्ट्स जर्नल में इस हफ्ते छपी रिसर्च रिपोर्ट के प्रमुख लेखक नोबुयुकी कवाई का कहना है, "हमने उम्मीद की थी कि हमारा तरीका गुस्से को कुछ हद तक दबाएगा. हालांकि गुस्से को पूरी तरह खत्म होते देख कर हम हैरान रह गए." कवाई नागोया यूनिवर्सिटी में कॉग्निटिव साइंस के प्रोफेसर हैं.
कैसे हुआ प्रयोग
इस प्रयोग में करीब 100 छात्रों ने हिस्सा लिया. इसमें उनसे सामाजिक मुद्दों पर अपनी संक्षिप्त राय लिखने को कहा गया. इसके लिए उन्हें 'सार्वजनिक जगहों पर धूम्रपान की पाबंदी होनी चाहिए' जैसे कुछ विषय दिए गये थे. रिसर्चरों ने उनसे कहा था कि नागोया यूनिवर्सिटी का एक पीएचडी छात्र उनकी लिखित राय का मूल्यांकन करेगा.
हालांकि प्रयोग में शामिल लोगों ने चाहे जो कुछ भी लिखा हो, मूल्यांकन करने वाले ने उन्हें बुद्धिमता, रुचि, मित्रता, तर्क और औचित्य के आधार पर बहुत कम अंक दिए. इतना ही नहीं उन्हें अपमानजनक फीडबैक भी दिए गए. एक फीडबैक था, "मुझे यकीन नहीं होता कि एक पढ़ा लिखा इंसान इस तरह से सोच सकता है. मुझे उम्मीद है कि यह आदमी यूनिवर्सिटी में पढ़ने के दौरान कुछ सीखेगा."
इसके बाद प्रयोग में शामिल छात्रों ने अपनी भावनाओं को लिखा. छात्रों के दो गुट थे. आधे छात्रों के एक समूह ने जिन कागजों पर अपनी भावनाएं दर्ज की थीं उनके टुकड़े टुकड़े कर दिए या फिर उन्हें फेंक दिया. दूसरे गुट ने उन कागजों को पारदर्शी फोल्डर या फिर बॉक्स में रख दिया.
खत्म हो गया गुस्सा
रिसर्च रिपोर्ट में कहा गया है कि सभी छात्रों में अपमान के बाद गुस्से का अलग अलग स्तर दिखाई दिया. हालांकि जिस समूह ने कागज पर अपनी भावनाओं को लिखने के बाद उन्हें संभाल कर रखा उनके अंदर गुस्सा उच्च स्तर पर बना रहा जबकि दूसरे समूह में यह घटते घटते पूरी तरह खत्म हो गया.
रिसर्चरों की दलील है कि उनकी खोज का गुस्से के निवारण करने के अनौपचारिक तरीके के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है. उनका यह भी कहना है, "घर या काम की जगह पर गुस्से को नियंत्रित करना हमारी निजी जिंदगी और नौकरी में नकारात्मक नतीजों को घटा सकता है."
एनआर/सीके (एएफपी)
यरूशलम, 14 अप्रैल । ईरान ने बैलिस्टिक मिसाइल और ड्रोन से शनिवार रात और रविवार तड़के इजराइल पर हमला किया जिसके बाद पूरे इजरायल में हवाई हमले की चेतावनी जारी कर दी गई।
हमले मुख्य रूप से यरूशलेम, दक्षिण में नेगेव रेगिस्तान और डेड सी, उत्तर में इजरायली-कब्जे वाले गोलन हाइट्स और साथ ही कब्जे वाले वेस्ट बैंक में किए गए।
इज़राइल रक्षा बल (आईडीएफ) के प्रवक्ता डैनियल हगारी ने एक प्रेस ब्रीफिंग के दौरान पुष्टि की कि इजरायल पर ईरान से बैलिस्टिक मिसाइलों और ड्रोन से हमला किया गया है। उन्होंने कहा, हवाई रक्षा प्रणालियों ने कुछ मिसाइलों को रोक दिया है।
इज़राइल के कान टीवी समाचार ने बताया कि लॉन्च किए गए लगभग 400-500 में से लगभग 100 ड्रोन को अमेरिका, जॉर्डन और ब्रिटिश सेनाओं सहित सहयोगी देशों द्वारा इजराइल पहुंचने से पहले ही रोक दिया गया।
इज़राइल की बचाव सेवा ने एक बयान में कहा कि नेगेव के बेडुइन गांव में 10 साल का एक बच्चा गंभीर रूप से घायल हो गया। उत्तरी इजरायल के एक अरब शहर उम्म अल फहम के पास मिसाइल के कुछ हिस्से गिरे, जिससे कोई हताहत नहीं हुआ।
कान टीवी समाचार ने एक वरिष्ठ इजराइली अधिकारी का हवाला देते हुए रविवार को बताया कि इजराइल ईरानी हवाई हमले का जवाब देने की योजना बना रहा है।
अधिकारी ने कहा, "ईरान ने पहली बार अपनी धरती से इजरायल पर मिसाइलें दागी हैं, इसका जवाब दिया जाएगा, जल्द ही।"
ईरान के इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड्स कॉर्प्स (आईआरजीसी) ने शनिवार रात एक बयान में पुष्टि की कि उसने इज़राइल पर मिसाइल और ड्रोन से हमले किए हैं।
कान टीवी समाचार ने बताया कि ड्रोन ईरान के साथ-साथ ईरान के मित्र देशों से भी लॉन्च किए गए।
इजरायली सेना ने पहले एक बयान में कहा था कि "आईडीएफ हाई अलर्ट पर है, साथ ही इजरायली वायु सेना के लड़ाकू जेट और इज़रायली नौसेना के जहाज भी रक्षा मिशन पर हैं"।
इस बीच, दो इजरायली अधिकारियों ने नाम न छापने की शर्त पर सिन्हुआ समाचार एजेंसी से पुष्टि की कि ईरान से इजरायल की ओर कई क्रूज मिसाइलें भी लॉन्च की गईं।
अप्रैल की शुरुआत में सीरिया के दमिश्क में ईरानी कांसुलर भवन में सात ईरानी अधिकारियों की हत्या का बदला लेने के लिए ईरान ने इजरायल पर हमले किए हैं।
(आईएएनएस)
संयुक्त राष्ट्र, 14 अप्रैल । संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की रविवार को एक आपातकालीन बैठक बुलाई गई है। इसमें ईरान द्वारा इजराइल पर किए जा रहे ड्रोन और मिसाइल हमले पर चर्चा की जाएगी। संयुक्त राष्ट्र के महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने मध्य पूर्व मेें तनाव बढ़ने पर चिंता जताई है।
शनिवार को ईरानी हमलों के कुछ ही मिनटों के भीतर, इज़राइल ने माल्टा की परिषद अध्यक्ष वैनेसा फ्रैज़ियर से बैठक बुलाने का आग्रह किया।
गुटेरेस ने कहा, "मैं इस्लामी गणतंत्र ईरान द्वारा इज़राइल पर किए गए हमले की निंदा करता हूं।"
उन्होंने कहा, "मैं सभी पक्षों से अधिकतम संयम बरतने का आग्रह करता हूं।"
ईरान ने कहा कि यह हमला 1 अप्रैल को सीरिया में उसके राजनयिक मिशन पर इजराइल के हमले का जवाब है। उस हमले में उसके दो जनरलों की मौत हो गई थी।
इज़राइल ने कहा कि ईरान ने शनिवार को लगभग 200 मिसाइलें और ड्रोन दागे, इनमें से अधिकांश को मार गिराया गया और कोई बड़ा नुकसान नहीं हुआ।
तेहरान से संबंध रखने वाले हिजबुल्लाह की भी इजराइल के साथ झड़प हुई है।
गुटेरेस और फ्रेज़ियर को लिखे एक पत्र में, ईरान के स्थायी प्रतिनिधि अमीर सईद इरावानी ने कहा कि उनका देश संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुच्छेद 51 के तहत आत्मरक्षा के अपने अधिकार का उपयोग कर रहा है।
एक्स पर एक पोस्ट में ईरान के संयुक्त राष्ट्र मिशन ने यह भी कहा, "मामले को समाप्त माना जा सकता है।"
महासभा के अध्यक्ष डेनिस फ्रांसिस ने क्षेत्र में तनाव बढ़ने के खतरे पर चिंता व्यक्त की और कहा, "मुझे उम्मीद है कि ईरानी अधिकारी अपने वचन का सम्मान करेंगे कि आज की उनकी कार्रवाई से मामले को समाप्त माना जा सकता है।"
बैठक के लिए परिषद अध्यक्ष को लिखे अपने पत्र में, इज़राइल के स्थायी प्रतिनिधि गिलाद एर्दान ने हमले के लिए ईरान की निंदा करने और ईरान के इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स को एक आतंकवादी संगठन करार देने का आह्वान किया।
गुटेरेस ने एक अप्रैल को "दमिश्क में ईरान के राजनयिक परिसरों प इजराइली हमले की निंदा की थी और सभी से संयम बरतने का आह्वान किया था।
(आईएएनएस)
(योषिता सिंह)
संयुक्त राष्ट्र, 14 अप्रैल। संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस ने ईरान द्वारा इजराइल पर किये गए हमले के कारण तनाव में गंभीर बढ़ोतरी की कड़ी निंदा की और आगाह किया कि न तो क्षेत्र और न ही दुनिया एक और युद्ध बर्दाश्त कर सकती है।
संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने सभी पक्षों से ऐसी किसी भी कार्रवाई से बचने के लिए अधिकतम संयम बरतने का आग्रह किया, जिससे पश्चिम एशिया में कई मोर्चों पर बड़े सैन्य टकराव छिड़ सकते हैं।
गुतारेस ने शनिवार को एक बयान में कहा, ‘‘आज शाम इस्लामी गणराज्य ईरान द्वारा इजराइल पर बड़े पैमाने पर किए गए हमलों की वजह से तनाव में गंभीर बढ़ोतरी की मैं कड़ी निंदा करता हूं। मैं शत्रुता को तत्काल समाप्त करने का आह्वान करता हूं।”
उन्होंने कहा कि वह तनाव के पूरे क्षेत्र में फैलने और इसके वास्तविक खतरे को लेकर बहुत चिंतित हैं। संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने कहा, “मैंने बार-बार इस बात पर जोर दिया है कि न तो क्षेत्र और न ही दुनिया एक और युद्ध बर्दाश्त कर सकती है।”
संयुक्त राष्ट्र में ईरान के स्थायी मिशन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद को एक पत्र के जरिए सूचित किया है कि ईरान ने 13 अप्रैल की देर रात इजराइल के सैन्य ठिकानों पर सैन्य हमले किए हैं।
ईरानी मिशन ने कहा कि ईरान ने संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुच्छेद 51 के तहत आत्मरक्षा के अधिकार के तहत यह कार्रवाई की है जो इजराइली सैन्य आक्रामकता के जवाब में है, खासकर एक अप्रैल को सीरिया के दमिश्क में ईरानी राजनयिक परिसरों पर इज़राइल के हमले की प्रतिक्रिया में है।
ईरानी मिशन ने कहा, “अफसोस की बात है कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा बनाए रखने के अपने कर्तव्य में विफल रही है, जिससे इजराइली शासन को अंतरराष्ट्रीय कानून के बुनियादी सिद्धांतों का उल्लंघन करने की अनुमति मिल गई है। इस तरह के उल्लंघनों ने क्षेत्र में तनाव बढ़ा दिया है और क्षेत्रीय और अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा को खतरे में डाल दिया है।”
इसमें कहा गया है कि जरूरत पड़ने पर ईरान आत्मरक्षा के अपने अंतर्निहित अधिकार का प्रयोग करने में संकोच नहीं करेगा। मिशन ने कहा कि अगर इजराइल सरकार ने फिर से सैन्य आक्रामकता दिखायी तो ईरान का जवाब निश्चित रूप से बहुत कड़ा होगा।
ईरानी मिशन ने कहा, “इजराइली शासन द्वारा किसी भी अन्य सैन्य उकसावे को लेकर चेतावनी देते हुए ईरान किसी भी खतरे या आक्रामकता के खिलाफ अपने लोगों, राष्ट्रीय सुरक्षा और हितों, संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा करने और ऐसे धमकी या आक्रामकता का अंतरराष्ट्रीय कानून के अनुसार कड़ाई से जवाब देने के अपने अटूट दृढ़ संकल्प को दोहराता है।”
स्थिति पर चर्चा के लिए संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद रविवार शाम को बैठक करेगी।
संयुक्त राष्ट्र महासभा के अध्यक्ष डेनिस फ्रांसिस ने भी पश्चिम में बदलते हालात पर गहरी चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि दमिश्क में ईरानी दूतावास पर हाल में हुए इजराइली हमले के बाद ईरान ने संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुच्छेद 51 के संदर्भ में अपनी कार्रवाई को स्पष्ट किया है।
फ्रांसिस कहा, "ईरानी प्रतिक्रिया ने पश्चिम एशिया में पहले से ही तनावपूर्ण और शांति एवं सुरक्षा की नाजुक स्थिति को और खराब कर दिया है।"
फ्रांसिस ने क्षेत्र में तनाव को और बढ़ने से रोकने के लिए सभी पक्षों से अत्यधिक संयम बरतने का आह्वान किया। (भाषा)
यरूशलम, 14 अप्रैल। ईरान ने एक अप्रत्याशित कदम उठाते हुए रविवार तड़के इजराइल पर हमला कर दिया और उस पर सैंकड़ों ड्रोन, बैलेस्टिक मिसाइल तथा क्रूज मिसाइल दागीं। एक सैन्य प्रवक्ता ने कहा कि 300 से अधिक ड्रोन और मिसाइल दागी गईं जिनमें से 99 प्रतिशत को हवा में ही नष्ट कर दिया गया।
ईरान के इस हमले ने पश्चिम एशिया को क्षेत्रीय युद्ध के करीब धकेल दिया है। हमले के बाद से इजराइल में हर कहीं साइरन की आवाजें सुनाईं दे रहीं हैं।
सीरिया में एक अप्रैल को हवाई हमले में ईरानी वाणिज्य दूतावास में दो ईरानी जनरल के मारे जाने के बाद ईरान ने बदला लेने का प्रण लिया था। ईरान ने इस हमले के पीछे इजराइल का हाथ होने का आरोप लगाया था। हालांकि इजराइल ने इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी थी।
यह पहली बार है जब ईरान ने देश की 1979 की इस्लामी क्रांति के बाद शुरू हुई दशकों की दुश्मनी के बाद इजराइल पर सीधे तौर पर हमला किया है। अमेरिका, संयुक्त राष्ट्र, फ्रांस, ब्रिटेन आदि देशों ने इजराइल पर ईरान के हमले की निंदा की है।
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने वाशिंगटन में कहा कि अमेरिकी सेना ने ‘लगभग सभी’ ड्रोन और मिसाइलों को मार गिराने में इजराइल की मदद की। साथ ही उन्होंने समन्वित कार्रवाई के लिए सहयोगियों की बैठक बुलाई है।
इजराइली सेना के प्रवक्ता रियर एडमिरल डैनियल हैगारी ने कहा कि ईरान ने बड़ी संख्या में ड्रोन, क्रूज मिसाइल और बैलेस्टिक मिसाइल दागीं, जिनमें से अधिकतर को इजराइल की सीमाओं के बाहर नष्ट कर दिया गया।
उन्होंने कहा कि युद्धक विमानों ने इजराइली हवाई क्षेत्र के बाहर 10 से अधिक क्रूज मिसाइलों को तबाह कर दिया, लेकिन कुछ मिसाइल इजराइल में गिरीं।
बचावकर्ताओं ने बताया कि एक हमले में दक्षिणी इजराइल के बदूइन अरब शहर में 10 वर्षीय लड़की गंभीर रूप से घायल हो गई। हैगारी ने कहा कि एक अन्य मिसाइल सैन्य अड्डे पर गिरी जिससे वहां मामूली नुकसान हुआ है।
हैगारी ने कहा, ‘‘ईरान ने बड़े पैमाने पर हमला किया है और तनाव बढ़ाया है।’’
यह पूछे जाने पर कि क्या इजराइल इस हमले का जवाब देगा, उन्होंने कहा इजराइल की रक्षा के लिए जो भी आवश्यक है, सेना वह करेगी। प्रवक्ता ने कहा कि हमला अभी समाप्त नहीं हुआ है और दर्जनों इजराइली युद्धक विमान आकाश में चक्कर लगा रहे हैं।
एक अमेरिकी रक्षा अधिकारी और दो अमेरिकी अधिकारियों के अनुसार अमेरिकी सेना ने ईरान की ओर से इजराइल की तरफ दागे गए कुछ ड्रोन को मार गिराया।
इजराइल की सेना ने कहा कि बैलेस्टिक मिसाइलों को मार गिराने वाले उसके ‘एरो सिस्टम’ ने अधिकतर मिसाइलों और ड्रोन को हवा में ही नष्ट कर दिया और इसमें ‘रणनीतिक साझेदारों’ ने उसकी मदद की।
इजराइल और हमास के बीच छह माह से युद्ध जारी है और इसे लेकर भी इजराइल और ईरान के बीच भीषण तनाव था। यह युद्ध शुरू होने के कुछ ही दिन बाद लेबनान में ईरान समर्थित आतंकवादी समूह हिजबुल्ला ने इजराइल की उत्तरी सीमा पर हमला किया था और इसके बाद दोनों ओर से लगभग रोज ही एक दूसरे के ठिकानों पर हमले किए जा रहे थे। इराक, सीरिया और यमन में ईरान समर्थित समूह इजराइल को निशाना बनाते हुए रॉकेट और मिसाइल दाग रहे थे। हालात पहले भी काफी गंभीर थे और अब ईरान के प्रत्यक्ष तौर पर हमला करने के बाद खतरनाक स्थिति पर पहुंच गए हैं।
हमले के बाद इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन ने रविवार तड़के बात की। बाइडन ने एक बयान में कहा कि उन्होंने इजराइल की सुरक्षा के लिए ‘‘अमेरिका की प्रतिबद्धता’’ दोहराई है।
बाइडन ने कहा कि इजराइल की मदद करने के उनके निर्देश पर अमेरिकी सेना ने पिछले सप्ताह क्षेत्र में विमान और बैलेस्टिक मिसाइल रक्षा विध्वंसक भेजे थे।
उन्होंने कहा, ‘‘इन तैनाती और हमारे सैनिकों की दक्षता के कारण हम लगभग सभी ड्रोन और मिसाइलों को मार गिराने में इजराइल की मदद कर पाए।’’
बाइडन ने कहा, ‘‘मैंने अभी प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू से बात की और इजराइल को अमेरिका का मजबूत समर्थन को दोहराया।’’
अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा,‘‘ ईरान के हमले पर एकजुट कूटनीतिक कार्रवाई के लिए जी7 नेताओं के साथ बैठक करूंगा।’’
ईरान की सरकारी समाचार समिति ‘आईआरएनए’ की ओर से शनिवार देर रात जारी एक बयान में देश के अर्धसैनिक रिवोल्यूशनरी गार्ड ने स्वीकार किया कि‘‘ यहूदी शासन के कब्जे वाले क्षेत्रों और ठिकानों की ओर दर्जनों ड्रोन और मिसाइलें दागी गईं।’’
एक अन्य बयान में रिवोल्यूशनरी गार्ड ने अमेरिका को सीधी चेतावनी जारी करते हुए कहा, ‘‘आतंकवादी अमेरिकी सरकार को चेतावनी दी जाती है कि यदि वह ऐसी कोई भी मदद या भागीदारी में शामिल होती है जिससे ईरान के हितों को नुकसान पहुंचता हो, तो इसके बदले में ईरान के सशस्त्र बल निर्णायक कार्रवाई करेंगे।’’
इजराइल पर हमले के बाद उत्तरी इजराइल, दक्षिणी इजराइल, उत्तरी वेस्ट बैंक और जॉर्डन सीमा के पास मृत सागर सहित कई स्थानों पर हवाई हमले के सायरन बजने लगे।
इजराइल की सेना ने सीरियाई और लेबनानी सीमाओं के पास गोलान हाइट्स के निवासियों तथा दक्षिणी शहरों नेवातिम और डिमोना और आस पास के निवासियों को सुरक्षित स्थानों पर जाने का आदेश दिया। डिमोना में इजराइल का प्रमुख परमाणु केन्द्र है और नेवातिम में प्रमुख हवाई अड्डा है। यरूशलम और उत्तरी तथा दक्षिणी इजराइल में भी तेज़ आवाज़ें सुनी गईं।
सेना के ‘होम फ्रंट कमांड’ ने रविवार को स्कूल बंद करने के आदेश दिए और सार्वजनिक समारोहों में 1,000 से अधिक लोगों के शामिल होने पर पाबंदी लगाई। हमले के कारण इजराइल और क्षेत्र के कुछ अन्य देशों ने अपने हवाई क्षेत्र बंद कर दिए हैं।
इससे पहले नेतन्याहू ने चेतावनी देते हुए कहा था, ‘‘जो कोई भी हमें नुकसान पहुंचाएगा, हम उन्हें नुकसान पहुंचाएंगे।’’
अमेरिका, संयुक्त राष्ट्र , फ्रांस, ब्रिटेन आदि देशों ने इजराइल पर ईरान के हमले की निंदा की है। फ्रांस ने कहा कि ईरान ‘‘संभावित सैन्य हमलों का खतरा बढ़ रहा है।’’ (एपी)